डीबीआर के संचालक एनामुल हक के घर पुलिस ने चिपकाया इश्तेहार
रामगढ़वा में नौकरी के नाम पर युवाओं से ठगी करने वाले मास्टर माइंड एनामुल अंसारी के खिलाफ पुलिस ने इश्तेहार चिपकाया है। उसे एक सप्ताह के भीतर आत्मसमर्पण करने को कहा गया है, अन्यथा उसकी संपत्ति कुर्क की...

रामगढ़वा(पूर्वी चंपारण), एक संवाददाता। नौकरी के नाम पर युवक युवतियों से फर्जी कंपनी डीबीआर के माध्यम से ठगी करने मास्टर माइंड 25 हजार के इनामी एनामुल अंसारी उर्फ एनामुल हक के घर पर पुलिस ने इश्तेहार चिपकाया है। रविवार को एनामुल अंसारी के रामगढ़वा थाना क्षेत्र के बेला गांव स्थित घर पर रक्सौल पुलिस ने रामगढ़वा पुलिस के सहयोग से इश्तेहार चिपकाया है। न्यायालय से निर्गत इश्तेहार चिपकाने के दौरान पुलिस ने डुग़डुगी बजायी व माइकिंग भी की। साथ ही एनामुल अंसारी को एक सप्ताह के अंदर आत्मसमर्पण करने को कहा गया। एक सप्ताह के भीतर वह सरेंडर नहीं करता है तो उसकी संपति जप्त कर घर की कुर्की की जाएगी।
एसपी स्वर्ण प्रभात ने बताया कि 25 हजार रुपए का ईनामी और फरार चल रहे डीबीआर के मास्टरमाइंड इनामुल हक के विरुद्ध इश्तेहार चस्पाया गया है। सरेंडर नहीं करने पर कुर्की की जाएगी। 107 बीएनएसएस अंतर्गत सम्पत्ति जब्त करने की प्रक्रिया भी शुरू की गई है। 30 मार्च को एनामुल अंसारी के कई ठिकानों पर हुई थी छापेमारी बताया जाता है कि एनामुल हक रक्सौल में रहकर डीबीआर नाम के नेटवर्किंग मार्केटिंग के नाम से कंपनी चलाता था। जिस कंपनी में नौकरी देने के नाम पर युवक और युवतियों से पैसे की ठगी के साथ साथ कई अन्य कार्य कराया जाता था। जिसको लेकर 30 मार्च को रक्सौल डीएसपी धीरेंद्र कुमार के नेतृत्व में रक्सौल स्थित उसके कई ठिकानों पर छापेमारी की गई थी। छापेमारी के दौरान करीब 574 युवक और युवतियों को मुक्त कराया गया था। इसमें से नाबालिग किशोर व किशोरी को बाल गृह में भेजा गया था। युवक और युवतियों की मुक्त के दौरान रक्सौल पुलिस को लाखों रुपए के लेन देन का रिकॉर्ड के साथ साथ एक लैपटॉप मिला था। इसके साथ साथ इस कंपनी के तीन अधिकारी को गिरफ्तार कर पुलिस ने न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया था। वहीं डीबीआर के मास्टरमाइंड एनामुल हक भागने में सफल रहा था। जिस पर पुलिस ने 25 हजार रुपए की इनाम भी रखा है। इनके द्वारा कंपनी में नौकरी देने के नाम पर प्रति युवक और युवतियों से 15 से 20 हजार रुपए लिया जाता था। जिसमें अपने देश के कई राज्यों के साथ साथ नेपाल की युवतियां भी शामिल थी। पैसा लेने के बाद सभी लोगों को प्रशिक्षण दिया जाता था। प्रशिक्षण के दौरान सभी को अपने अपने सम्पर्क के लोगों को इस कंपनी में जुड़ने को कहा जाता था। शिकायत मिलने के बाद रक्सौल पुलिस एक साथ रक्सौल के कई मोहल्ले में स्थित डीबीआर ग्रुप के ठिकानों पर छापेमारी कर युवक और युवतियों को मुक्त कराई थी। वहीं इस कंपनी के संचालक एनामुल हक के अलावा प्रकाश कुमार, संजीत कुमार, विक्की कुमार मंडल सहित एक दर्जन सहित लोगों को आरोपित किया गया था। वहीं बंधक बनाने के मामले में तीन लोगों को गिरफ्तार कर पूछताछ के बाद न्यायिक अभिरक्षा में भेज दिया गया था।
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।