हर साल UPSC सिविल सेवा परीक्षा (CSE) में करीब लाखों से ज्यादा उम्मीदवार पंजीकरण कराते हैं। इनमें से केवल लगभग 10000 अभ्यर्थी प्रीलिम्स पास कर पाते हैं और 2000 के आसपास फाइनल मेरिट लिस्ट में जगह बना पाते हैं। लेकिन आईएएस बनने के लिए सबसे टॉप रैंक लाना जरूरी होता है। आइए जानते हैं आईएएस, आईपीएस, आईएफएस और अन्य सेवाओं के लिए कितनी रैंक तक चयन होता है, साथ ही जानेंगे कि कि किस कैटेगरी के उम्मीदवार को कितनी रैंक लाने पर कौन-सी सेवा मिलती है।
UPSC की परीक्षा तीन चरणों में होती है: सबसे पहले होता है प्रीलिम्स, जिसमें दो ऑब्जेक्टिव पेपर होते हैं- जनरल स्टडीज और CSAT की परीक्षा। इसके बाद आता है मेन्स एग्जाम, जिसमें नौ पेपर होते हैं जिनमें से सात पेपर मेरिट के लिए गिने जाते हैं। अंतिम चरण होता है इंटरव्यू यानी पर्सनालिटी टेस्ट, जिसमें आपकी सोच, बातचीत की शैली और निर्णय क्षमता को परखा जाता है।
अब सवाल ये उठता है कि आईएएस बनने के लिए कितनी रैंक लानी जरूरी होती है? तो बदा दें जनरल कैटेगरी के उम्मीदवारों को आमतौर पर टॉप 75-80 रैंक के अंदर रहना होता है। उदाहरण के लिए, 2021 में जनरल कैटेगरी से अंतिम आईएएस चयन रैंक 77 थी। ओबीसी कैटेगरी में यह सीमा कुछ आगे बढ़ जाती है, 2020 में OBC से एक उम्मीदवार ने 350 रैंक पर आईएएस प्राप्त किया था। वहीं, SC/ST कैटेगरी के लिए कट-ऑफ आमतौर पर 450 से 600 रैंक के बीच होता है। 2019 में SC कैटेगरी से अंतिम आईएएस रैंक 509 थी।
आईपीएस सेवा में जाने के लिए रैंक की सीमा थोड़ी विस्तृत होती है। जनरल कैटेगरी के लिए 1 से 229 रैंक तक के अभ्यर्थियों को आईपीएस मिलता है। 2021 में यह अंतिम जनरल रैंक 229 थी। OBC के लिए यह सीमा लगभग 250-400 रैंक तक जाती है जबकि SC/ST के लिए 400-600 रैंक तक के अभ्यर्थी आईपीएस पा सकते हैं। ध्यान देने वाली बात यह है कि आईपीएस के लिए चयन के बाद एक फिजिकल फिटनेस टेस्ट भी होता है, जिसमें ऊंचाई, छाती का फैलाव आदि मानदंडों को पूरा करना पड़ता है।
आईएफएस यानी इंडियन फॉरेन सर्विस की बात करें तो यह सेवा सीमित सीटों की वजह से बेहद दिलचस्प होती है। 2022 में आईएफएस के लिए जनरल कैटेगरी में अंतिम चयन रैंक 88 थी। OBC के लिए यह रैंक 250-300 के बीच हो सकती है, जबकि SC/ST उम्मीदवारों को 450-600 रैंक पर भी आईएपएस मिल सकता है, हालांकि सीटें बहुत कम होती हैं। आईएफएस सेवा में चयन के बाद विदेशी भाषा की ट्रेनिंग दी जाती है और अधिकारियों को अंतरराष्ट्रीय मंच पर भारत का प्रतिनिधित्व करना होता है।
आईएएस, आईपीएस और आईएफएस के अलावा UPSC अन्य कई महत्वपूर्ण सेवाओं के लिए भी चयन करता है। इनमें प्रमुख हैं, IRS (इंडियन रेवेन्यू सर्विस) जो आमतौर पर 200-300 रैंक तक मिलती है, IAAS (इंडियन ऑडिट एंड अकाउंट्स सर्विस) जो 500-700 रैंक वालों को मिलती है, और IRTS (इंडियन रेलवे ट्रैफिक सर्विस) जिसे 700-900 रैंक के अभ्यर्थी पाते हैं। इसके अलावा DANICS और AFHQCS जैसी सेवाएं 900 से ऊपर की रैंक वालों को मिलती हैं।
यदि सबसे प्रतिष्ठित सेवा आईएएस की बात करें तो अगर हम कैटेगरी वाइज अंतिम आईएएस रैंक की बात करें तो जनरल कैटेगरी के लिए यह 77 रही है, OBC के लिए 350, SC के लिए 509 और ST के लिए लगभग 620 तक गई है। इससे साफ है कि आईएएस बनने के लिए सिर्फ परीक्षा पास करना काफी नहीं है, बल्कि टॉप रैंक लाना अनिवार्य है।