एडीएम का फर्जी हस्ताक्षर कर बेची थी करोड़ों की जमीन
Bhadoni News - भदोही में भ्रष्टाचार का मामला सामने आया है, जिसमें एसडीएम का फर्जी हस्ताक्षर और दस्तावेज तैयार कर करोड़ों की जमीन बेच दी गई। इस मामले में एसडीएम ने खुद केस दर्ज कराया था। पिछले एक दशक में कई लेखपालों...

भदोही, संवाददाता। भ्रष्टाचार एवं भदोही तहसील का गहरा लगाव है। एसडीएम का फर्जी हस्ताक्षर और फर्जी कागजात तैयार कर करोड़ों की जमीन ही बेच दी थी। मामले में उस दौरान स्वयं एसडीएम रहे आशाराम यादव ने केस दर्ज कराया था। इतना ही नहीं, एक दशक में एक दर्जन से ज्यादा लेखपाल घूस लेते हुए दबोचे गए और जेल की हवा खाई। सूबे के सबसे छोटे जनपद भदोही का तहसील भदोही अक्सर सुर्खियों में रहता है। कभी घूस लेने का मामला तो कभी दो एसडीएम का आपस में विवाद भी। हैरान करने वाली बात यह है कि लंबे समय से जमे राजस्व कर्मियों को पकड़े जाने के बाद जब वे जेल से छूटकर आते हैं तो अफसर आसपास के ही गांवों एवं शहर के मोहल्लों में तैनाती देने का काम करते हैं।
शहर के हरियांव में करोड़ों की जमीन हड़पने का मामला सामने आया था। करीब दस करोड़ की कीमत के 24 विस्वा जमीन को एसडीएम का फर्जी हस्ताक्षर एवं कागजात बनाकर बेच दिया गया । मामले में एसडीएम की शिकायत पर पांच कर्मियों पर केस दर्ज किया गया था। एक बार फिर गुरुवार को 10 हजार रुपये घूस लेते समय लेखपाल दबोचा गया। मामले में विभागीय कार्रवाई क्या की गई, इसकी जानकारी को फोन करने पर एसडीएम एवं तहसीलदार ने फोन ही नहीं रीसिव किया। अब ऐसे में अफसर भ्रष्टाचार को लेकर कितने गंभीर हैं, इसका अंदाजा लगाया जा सकता है। तहसील में आज भी घूस लेने के आरोप में जेल गए अनुराग चौधरी, शैलेष यादव अपनी बैठ बनाए हुए हैं। शहर में नजूल की करोड़ों की जमीन होने के कारण लेखपालों की चांदी है। इसी तरह का मामला गांवों में भी देखा जा रहा है। छोटे-छोटे कार्यों में रिपोर्ट लगाने को इतना लोगों को दौड़ाया जाता है कि वह थक हारकर पैसा देने को बाध्य हो जाते हैं। शिकायत पर अफसर मामले को हमेशा ठंडे बस्ते में डालते चले आएं हैं। इसे लेकर लोगों में तरह-तरह की चर्चाएं आज भी बनी हुई हैं।
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