Parking spaces will be built for private buses in cities in UP, Yogi government is going to bring a new policy soon यूपी में प्राइवेट बसों के लिए बनेंगे पार्किंग स्थल, दुकान और रेस्टोरेंट की भी होगी सुविधा, Uttar-pradesh Hindi News - Hindustan
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यूपी में प्राइवेट बसों के लिए बनेंगे पार्किंग स्थल, दुकान और रेस्टोरेंट की भी होगी सुविधा

  • यूपी में शहरों में प्राइवेट बसों के लिए पार्किंग स्थल बनेंगे। इसके लिए योगी सरकार जल्द ही नई नीति लाने जा रही है। इन पार्किंग स्थलों पर बसों को खड़ी करने के साथ ही दुकान और रेस्टोरेंट की भी सुविधा दी जाएगी।

Deep Pandey हिन्दुस्तान, लखनऊ- शैलेंद्र श्रीवास्तवTue, 7 Jan 2025 07:04 AM
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यूपी में प्राइवेट बसों के लिए बनेंगे पार्किंग स्थल, दुकान और रेस्टोरेंट की भी होगी सुविधा

राज्य सरकार शहरों में दो पहिया व चार पाहिया गाड़ियों की तरह अब निजी क्षेत्रों में चलने वाले गैर प्रदेशों से उत्तर प्रदेश में आने वाली बसों के लिए पार्किंग स्थल बनाने जा रही है। उच्च स्तर पर इसको लेकर सहमति बन गई है। इन पार्किंग स्थलों पर बसों को खड़ी करने के साथ ही दुकान और रेस्टोरेंट की भी सुविधा दी जाएगी। इसके लिए उत्तर प्रदेश स्टेज कैरिज बस, कांट्रैक्ट कैरिज व ऑल इंडिया टूरिस्ट बस पार्क (स्थापना एवं विनियमन) नीति संबंधी प्रस्ताव जल्द ही कैबिनेट से पास कराने की तैयारी है।

बसों के लिए नहीं है पार्किंग स्थल

प्रदेश में निजी स्टेज कैरिज बस और कांट्रैक्ट बसों के लिए पार्किंग की सुविधा नहीं है। ऐसे में निजी बसें अधिकांशत: सड़कों या खुले सार्वजनिक स्थानों पर खड़ी की जाती है। इससे लोगों को असुविधाएं होती हैं। उत्तर प्रदेश में पर्यटन व धार्मिक स्थलों पर यात्रियों की संख्या में लगातार वृद्धि हो रही है। केंद्र सरकार की ऑल इंडिया टूरिस्ट बसों के लिए निर्धारित वार्षिक शुल्क जमा करा कर पूरे देश में संचालन की व्यवस्था प्रभावी होने से प्रतिकर की जरूरत समाप्त हो गई है। इससे टूरिस्ट बस आपरेटरों के लिए व्यवसाय करना सरल व सुविधाजनक हो गया है। इसे एक राज्य से दूसरे राज्यों में बसों का आना-जाना काफी आसान हो गया है। इसीलिए दूसरे राज्यों से आने वाली बसों की संख्या में इजाफा हुआ है। इसको देखते हुए पार्किंग की सुविधा देना जरूरी हो गया है।

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80 हजार बसों के लिए चाहिए पार्किंग

प्रदेश में 1 दिसंबर 2003 से 1 दिसंबर 2023 तक 112239 बसें पंजीकृत हैं। इसमें से 44865 निजी व शैक्षिक संस्थानों की बसें हैं। इनकी पार्किंग स्वयं वाहन स्वामी अपने परिसरों में करता है। इसके अतिरिक्त प्रदेश में स्टेज कैरिज की 10636, कांट्रैक्ट कैरिज की 14352 और ऑल इंडिया टूरिस्ट परमिट की 10825 बसें हैं। इस हिसाब से 80678 बसों के लिए पार्किंग की सुविधा विकसित करने की जरूरत है। इसी को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार इन बसों के लिए पीपीपी मॉडल पर पार्किंग की सुविधा विकसित कराने के लिए नीति लाने जा रही है।

शहर से बाहर पांच किमी के दायरे में बनेगा

प्रस्तावित नीति के मुताबिक, बसों के लिए पार्किंग स्थल नगर निगम, नगर पालिका परिषद और नगर पालिका परिषद की सीमा से अधिकतम पांच किलोमीटर की दूरी पर स्थापित किया जाएगा। इसे बनाने के लिए कंपनी को भूमि 10 साल के लीज पर दी जाएगी। बसों के लिए बनाए जाने वाले पार्किंग स्थलों पर यात्रियों के आने-जाने के लिए अलग से सड़कें बनाई जाएंगी। पार्किंग स्थल की कुल भूमि का 70 प्रतिशत भू-भाग खुले स्थान पर होगा। शेष 30 प्रतिशत भू-भाग पर निर्माण पर अनुमति दी जाएगी।

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