Students Embrace Robotics and Astrology Through AstroLab Initiative in 20 Schools पहले : जिले के 20 स्कूलों में एस्ट्रोलैब की शुरुआत, Biharsharif Hindi News - Hindustan
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पहले : जिले के 20 स्कूलों में एस्ट्रोलैब की शुरुआत

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Newswrap हिन्दुस्तान, बिहारशरीफSun, 1 June 2025 10:44 PM
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पहले : जिले के 20 स्कूलों में एस्ट्रोलैब की शुरुआत

पहले : जिले के 20 स्कूलों में एस्ट्रोलैब की शुरुआत छात्र सीख रहे हैं रोबोटिक्स और एस्ट्रोलॉजी का ज्ञान थ्योरी और प्रैक्टिकल के माध्यम से मिल रहीं जानकारियां नयी पहल से छात्रों में विकसित हो रही है वैज्ञानिक सोच फोटो 01 शेखपुरा 01 - एस्ट्रोलैब में पढ़ाई करते स्कूली बच्चे। शेखपुरा, हिन्दुस्तान संवाददाता। जिले के 20 सरकारी स्कूलों में ‘एस्ट्रोलैब की शुरुआत की गई है। इसके माध्यम से विद्यार्थियों को एस्ट्रोलॉजी, रोबोटिक्स, ड्रोन टेक्नोलॉजी और खगोल विज्ञान से जुड़ी जानकारियां थ्योरी और प्रैक्टिकल के माध्यम से दी जा रही हैं। जिला शिक्षा अधिकारी विनोद कुमार शर्मा बताते हैं कि सरकार की यह पहल छात्रों को पारंपरिक शिक्षा से आगे बढ़ाकर वैज्ञानिक सोच और तकनीकी क्षमताओं से लैस करने की दिशा में अहम कदम है।

एस्ट्रोलैब में बच्चे अपने हाथों से रोबोट और ड्रोन बनाना और उन्हें चलाना सीख रहे हैं। साथ ही तारों की गति, ग्रह-नक्षत्रों की स्थिति और खगोल विज्ञान के बारे में सरल भाषा में उन्हें समझाया जा रहा है। विद्यार्थी विभिन्न उपकरणों की मदद से ब्रह्मांड के रहस्यों को समझने का प्रयास कर रहे हैं। इससे उनकी वैज्ञानिक सोच विकसित हो रही हैं। बच्चे सीख रहे छोटे-छोटे ड्रोन बनाना : बरबीघा के तैलिक बालिका हाईस्कूल, शेखपुरा के डीएम हाई स्कूल, बरबीघा के टाउन हाई स्कूल बरबीघा, एकरामा के नव उत्क्रमित हाईस्कूल के अलावा लहाना, लोदीपुर, निमी सहित अन्य 20 स्कूलों में एस्ट्रोलॉजी और रोबोटिक्स लैब की स्थापना की गई है। छात्रों को रोबोटिक्स किट्स भी उपलब्ध कराई गई हैं। कई विद्यार्थियों ने छोटे-छोटे ड्रोन तैयार किए हैं। हल्के वजन के ये ड्रोन उड़ान भरने में पूरी तरह सक्षम हैं। डीएम हाई स्कूल की दसवीं कक्षा के छात्र आदित्य कुमार ने अपने साथियों की मदद से ह्यूमन राइट रोबोट सिस्टम बनाया है। एस्ट्रोलैब के प्रति बढ़ रही रुचि: स्कूलों में स्थापित एस्ट्रो लैब न सिर्फ तकनीकी शिक्षा का केंद्र बन रही है, बल्कि छात्राओं के बीच विज्ञान के प्रति रुचि बढ़ाने में भी अहम भूमिका निभा रही है। छात्राओं में खगोलीय विज्ञान को लेकर खासा उत्साह देखा जा रहा है। डीएम स्कूल की 10वीं कक्षा की छात्राएं आराध्य राज, सोनाक्षी कुमारी, निधि कुमारी व अन्य ने बताया कि एस्ट्रो लैब में कई ऐसे वैज्ञानिक उपकरण उपलब्ध हैं, जिन्हें उन्होंने पहली बार देखा है। इनमें लाइट रिफ्लेक्शन, टेलीस्कोप और सौरमंडल से जुड़े कई उपकरण शामिल हैं। इनकी मदद से वे खगोलीय घटनाओं और अंतरिक्ष विज्ञान की बारीकियों को बेहतर ढंग से समझ पा रही हैं। लैब में हाई-स्पीड इंटरनेट और कंप्यूटर भी: एस्ट्रोलॉजी और रोबोटिक्स लैब में हाई-स्पीड वाई-फाई और कंप्यूटर की सुविधा उपलब्ध कराई गई है। इससे छात्र गूगल और एआई आधारित प्लेटफॉर्म की सहायता से किसी भी विषय की जटिलता को सरलता से समझ पा रहे हैं। छात्रों का कहना है कि अब वे रोबोटिक्स के अलावा, सर्किट डिजाइनिंग, प्रोग्रामिंग और खगोलीय घटनाओं पर आधारित जटिल विषयों को भी आसानी से सीख पा रहे हैं।

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