नोएडा, गाजियाबाद और हापुड़ के किसानों को बड़ा झटका, 1500 लोगों से वसूले जाएंगे 84 लाख रुपये
दो बैंकों से अलग-अलग केसीसी पर ऋण लेने वाले हापुड़ किसानों को झटका लगा है। 2022-23 वित्तीय वर्ष में दो बैंकों से केसीसी ले कर फायदा लेने वाले किसानों को 4 प्रतिशत के ब्याज की छूट नहीं दी जाएगी। जिनसे अबरुपये वसूले जाएंगे।

यूपी के 1500 किसानों को बड़ा झटका लगा है। दो बैंकों से अलग-अलग केसीसी पर ऋण लेने वाले किसानों से अब वसूली होगी। 2022-23 वित्तीय वर्ष में दो बैंकों से केसीसी ले कर फायदा लेने वाले किसानों को 4 प्रतिशत के ब्याज की छूट नहीं दी जाएगी। जिनसे अबरुपये वसूले जाएंगे। हापुड़ के 789 किसानों से 32 लाख और नोएडा-गाजियाबाद में 1500 से अधिक किसानों से 52 लाख की वसूली की जानी है।
केंद्र-प्रदेश सरकार किसानों को अच्छी खेती करने के लिए कम ब्याज पर बैंकों से लोन दिलाती है। जिसके लिए सरकार बैंकों को किसानों को दी जाने वाली छूट की रकम की अदायगी खुद करती है। नाबार्ड बैंक द्वारा सहकारी बैंकों को छूट वाली रकम सहकारी बैंकों को दी जाती थी। परंतु पिछले दिनों हुए खुलासे में एनसीआर के तीन जिले नोएडा, गाजियाबाद और हापुड़ समेत यूपी के सभी जिलों में ऐसे किसान भी पकड़ में आ गए जिन्होंने राष्ट्रीय बैंक और सहकारी बैंक तथा समिति से केसीसी (किसान क्रेडिट कार्ड बनाया हुआ था। परंतु सरकार की तरफ से 3 लाख रुपये तक के लोन पर किसान को 3 प्रतिशत ब्याज की छूट थी। सहकारी बैंक के लिए राज्य सरकार एक प्रतिशत की अलग से छूट दे रही थी। परंतु जांच में पता चला कि हापुड़ जिले के 789 किसानों ने दो बैंकों से लोन लेकर योजना का गलत तरीके से लाभ उठाया है।
नोटिस जारी, रिकवरी होगी
कॉपरेटिव एआर प्रेम शंकर ने बताया कि हापुड़ में 789 किसानों को नोटिस जारी कर दिए गए हैं। जिनसे में लगभग 32 लाख रुपये की रिकवरी होनी है। इसके अलावा गौतमबुद्धनगर और गाजियाबाद से भी करीब 52 लाख की रिकवरी किसानों से होनी है।
अब सीधे किसान को मिलेगी छूट
कॉपरेटिव एआर प्रेम शंकर ने बताया कि पहले नाबार्ड द्वारा सहकारी बैंक तथा समितियों को 3 प्रतिशत छूट वाली रकम भेजी जाती थी। परंतु अब जो किसान केसीसी कराएगा, छूट उसको सीधे खाते में पहुंचेगी। इसके अलावा वर्तमान में 2023-24 और 2024-25 वित्तीय वर्ष के खाते भी खंगाले जा रहे हैं।