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निर्दोष दामाद को भिजवाया था जेल, कोर्ट में बुरे फंसे ससुर; लग गया हर्जाना

  • जन्म के तुरंत बाद अपनी बेटी की मृत्यु से परेशान राहिला ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। उसकी पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कोई बाह्य चोट नहीं थी। कोर्ट में दोनों पक्ष की दलीलों को सुनकर माना कि मृतका के पिता ने मोहम्मद खलीलउल्ला ने निर्दोष शान मोहम्मद को दहेज़ हत्या के केस में जेल भिजवाया।

Ajay Singh हिन्दुस्तान, विधि संवाददाता, बरेलीTue, 11 March 2025 12:13 PM
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निर्दोष दामाद को भिजवाया था जेल, कोर्ट में बुरे फंसे ससुर; लग गया हर्जाना

लव मैरिज के बाद ससुराल में विवाहिता के सुसाइड पर निर्दोष दामाद के खिलाफ दहेज हत्या की रिपोर्ट दर्ज कराकर उसे जेल भिजवाना मृतका के पिता को बहुत महंगा पड़ गया। फास्ट ट्रैक प्रथम रवि कुमार दिवाकर की कोर्ट ने निर्दोष को जेल भिजवाने पर मृतका के पिता पर एक हजार रुपये का हर्जा ठोका है। वहीं ठोस सबूतों के अभाव में निर्दोष पति शान मोहम्मद को बरी किया। निर्दोष के खिलाफ दहेज हत्या में चार्जशीट पेश करने पर कोर्ट ने विवेचक सीओ को लापरवाह मानते हुए फैसले की कॉपी एसएसपी बरेली को भी भेजी है।

थाना फरीदपुर में कस्बा फतेहगंज पश्चिमी के मोहम्मद खलीउल्ला ने 23 अक्टूबर 2023 को रिपोर्ट दर्ज कराई थी।आरोप था कि उसने अपनी बेटी राहिला का निकाह 18 माह पूर्व शान मोहम्मद निवासी भगवंतापुर, फरीदपुर के साथ की थी। निकाह के बाद दहेज में दस लाख की मांग को लेकर पति और ससुराल वाले राहिला को परेशान करते थे। मांग पूरी ना होने पर ससुराल वालों ने 20 अक्टूबर 2023 को गला घोटकर उसकी हत्या कर दी। रिपोर्ट दर्ज होने के बाद सीओ फरीदपुर गौरव सिंह ने शान मोहम्मद को जेल भेजकर दहेज हत्या में चार्जशीट पेश की थी।

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दहेज हत्या के इस केस की सुनवाई ़फास्ट ट्रैक प्रथम रवि कुमार दिवाकर की कोर्ट में हुई। गवाही के दौरान खुलासा हुआ कि मृतका के निकाहनामा में मृतका के पिता गवाह नही थे। मृतका के चाचा मोहम्मद वसीम और भाई तस्लीम ने भी कहा कि निकाहनामा की कॉपी उनके पास नहीं है। मृतका के परिजनों की जिरह से कोर्ट में साबित हुआ की शान मोहम्मद और राहिला ने लवमैरिज की थी। जन्म के तुरंत बाद अपनी बेटी की मृत्यु से परेशान राहिला ने फांसी लगाकर आत्महत्या की थी। इसीलिये उसकी पोस्टमार्टम रिपोर्ट में कोई बाह्य चोट नहीं थी।

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फास्ट ट्रैक प्रथम रवि कुमार दिवाकर की कोर्ट में दोनों पक्ष की दलीलों को सुनकर माना कि मृतका के पिता ने मोहम्मद खलीलउल्ला ने निर्दोष शान मोहम्मद को दहेज़ हत्या के केस में जेल भिजवाया। वहीं विवेचक तत्कालीन सीओ फरीदपुर गौरव सिंह ने भी विवेचना में सत्य की खोज किये बगैर लापरवाह ढंग से विवेचना कर निर्दोष के खिलाफ दहेज हत्या में चार्जशीट दायर कर उसके संवैधानिक अधिकारों का उल्लंघन किया है।