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संभल हिंसा: लखनऊ से मिला था इनपुट, जताई गई थी गड़बड़ी और हिंसा की आशंका

लखनऊ से मिले इनपुट में भी संभल में हिंसा की आशंका जताई गई थी। गड़बड़ी की आशंका में ही पांच कंपनी पीएसी और पुलिस तैनात की गई थी। पुलिस की फायरिंग से मौत नहीं हुई है। पुलिस ने कहा है कि किसी के पास कोई साक्ष्य हो तो हमारे सामने लाएं।

Srishti Kunj हिन्दुस्तान, संभलWed, 27 Nov 2024 07:57 AM
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संभल हिंसा: लखनऊ से मिला था इनपुट, जताई गई थी गड़बड़ी और हिंसा की आशंका

मंडलायुक्त आन्जनेय कुमार सिंह ने कहा है कि संभल में बवाल पूर्व नियोजित था। भीड़ को इसके लिए उकसाया गया। लखनऊ से भी इनपुट मिला था कि कुछ गड़बड़ी की जा सकती। तभी पांच कंपनी पीएसी और पुलिस बल तैनात किया गया। मंडलायुक्त ने कहा कि जो लोग आरोप लगा रहे हैं कि पुलिस की फायरिंग से मौत हुई तो साक्ष्य दें। आजकल सभी के पास मोबाइल हैं। किसी ने तो वीडियो बनाया होगा। पुलिस ने एक ऐसा चाकू भी बरामद किया गया है जो दोनों ओर से चलता है जिसे भीड़ में इस्तेमाल किया जाता है। जो लोग मारे गए हैं उनमें से तीन की तहरीर हमें मिल चुकी है। उस एंगल से भी जांच की जा रही है। मृतकों के परिजनों को न्याय दिलाया जाएगा।

उन्होंने कहा कि जो सर्वे पूर्व में हुआ वह अधूरा था इस वजह से टीम दोबारा सर्वे के लिए जामा मस्जिद गई थी। सर्वे संबंधी जानकारी भी एक दिन पहले दी गई थी। इसका साक्ष्य प्रशासन के पास है। मंडलायुक्त ने कहा कि प्रशासन ने सर्वे टीम की सुरक्षा के लिहाज से इंतजाम किए पर अचानक इतनी भीड़ हो गई कि बेकाबू होकर पथराव करने लगी। इससे बचाव के लिए पुलिस ने तत्परता से कार्य किया। घटना के दौरान चार लोगों की मौत गोली लगने से हो गई। कोई भी मौत पुलिस की गोली से नहीं हुई है। वह कैसे मारे गए इसकी जांच की जा रही है। जो दोषी होगा उसके विरुद्ध कार्रवाई होगी।

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हिंसा से जुड़ी पांच अहम बातें
1. पुलिस की गोली से नहीं तो किसकी हुई किसी की मौत
जो लोग यह कह रहे हैं कि पुलिस की गोली से मौत हुई वह इसका कोई वीडियो या अन्य साक्ष्य दे सकते हैं क्या, प्रशासन जो भी कह रहा है, वह साक्ष्यों के आधार पर है। हम उसी दिशा में जांच भी कर रहे।

2. आखिर क्यों तोड़े गए सीसी टीवी कैमरे
बवालियों ने सीसीटीवी कैमरे क्यों तोड़े ? जब यह सब अचानक हुआ तो पहले कोई सीसी टीवी कैमरे कैसे तोड़ सकता है। कैमरे तोड़े जाने का प्रमाण संभल प्रशासन और पुलिस के पास है।

3. बाजार बंद था तो फिर लोग कैसे पहुंचे
कहा जा रहा है जो लोग घटनास्थल पर पहुंचे वे बाजार से सामान खरीदने गए थे जबकि बाजार बंद था। बाजार अहतियातन सर्वे के कारण बंद करवाया गया था।

4. नारा लगाने वाला वीडियो घटना स्थल का नहीं
कुछ लोग यह भी आरोप लगा रहे हैं कि सर्वे टीम के साथ गए लोग धार्मिक नारेबाजी कर रहे थे लेकिन नारे लगाने वालों का उस स्थल से कोई वास्ता नहीं है। वीडियो है वह बाहरी क्षेत्र का है।

5. बाहर लोगों ने कैसे देख लिया कि अंदर सर्वे टीम तोड़ फोड़ कर रही
यह कहा जा रहा है कि मस्जिद में हौज का पानी खाली करवाने को लेकर लोग भड़के। मस्जिद के अंदर आखिर कैसे बाहर खड़े लोगों ने यह देख लिया। यह योजना बद्ध तरीके से किया गया।

शासन को भेजी रिपोर्ट में भीड़ द्वारा अचानक धावा बोलने का जिक्र
मंडलायुक्त ने संभल प्रशासन की ओर से तैयार रिपोर्ट शासन को भेजी है। शासन को सभी पहलुओं से अवगत कराया गया है। रिपोर्ट में पहले दिन के सर्वे और बाद में हुए सर्वे के दौरान बवाल कैसे बढ़ा क्या साक्ष्य मिला सब कुछ भेजा गया है। घटना के दिन जब डीआईजी कमिश्नर भ्रमण कर रहे थे एक घर की छत से पथराव महिलाओं द्वारा किया जा रहा था। वहां दरवाजे तोड़ कर पुलिस अंदर पहुंची और डिटेन किया।

रिपोर्ट के प्रमुख बिंदु
- सर्वे की सूचना की लिखित तामील करवाई गई
- सर्वे में स्थानीय पुलिस प्रशासन सुरक्षा के लिहाज से रहा और उस दौरान मस्जिद के जिम्मेदारों के स्तर से कोई विरोध भी नहीं किया गया।
- अचानक भीड़ आई और पुलिस पर पथराव किया जिसमें तमाम पुलिस कर्मी घायल हुए। भीड़ को रोकने के लिए पुलिस ने पैलट गन का प्रयोग किया।
- जिन लोगों की दंगा भड़काने की भूमिका है उनके विरुद्ध एफआईआर दर्ज करवा दी है बाकी जांच की जा रही है सभी दोषियों पर कार्रवाई होगी।
- पहले दिन सर्वे में सांसद और विधायक पुत्र पहुंचे थे इसके बाद अगले सर्वे में विधायक पुत्र सुबह सात बजे पहुंचे जिन्हें वहां से कोर्ट कमिश्नर ने वापस भेज दिया था।
- बवाल की आशंका के पांच कंपनी पीएसी पुलिस बुला रखी थी पर भीड़ ज्यादा थी। पथराव रोकने के लिए पुलिस ने प्रयास किए जिसमें वह घायल भी हुए।
- पुलिस की गोली से किसी की मौत नहीं हुई है।

बहजोई की बैठकों को संभल में किया शिफ्ट
सर्वे को लेकर संभल में हुए बवाल के बाद डीएम व एसपी पूरी तरह से संभल में डेरा डाल रखा है। बवाल के बाद विकास कार्यों के सामान्य कामकाज भी ठप हैं। इसको देखते हुए डीएम ने बहजोई कलक्ट्रेट सभागार में होने वाली सभी बैठकों को संभल में शिफ्ट कर दिया है। मंगलवार को डीएम डा. राजेंद्र पैंसिया ने तहसील सभागार में कई विकास कार्यों की बैठक कर समीक्षा की। जिससे कि संभल की गतिविधियों पर आसानी से नजर रखी जा सके।