पहलगाम अटैक पर गुस्से में पाकिस्तानी दामाद; आफताब बोले- घुसकर मारो, बीवी-बच्चे से ऊपर मुल्क
पाकिस्तानी दामाद और बिहार के मुजफ्फरपुर के रहने वाले आफताब आलम का गुस्सा सातवें आसमान पर है। उनकी बीवी सायना और बेटी आफिया फिलहाल कराची हैं फिर भी उन्होंने पाकिस्तान पर सीधा हमला करने और मुंहतोड़ जवाब देने की मांग की है।

पाकिस्तान समर्थित आतंकवादियों ने 22 अप्रैल को जम्मू कश्मीर के पहलगाम में 26 बेगुनाहों को मौत के घाट उतार दिया। धर्म पूछकर बीवी-बच्चों के सामने गोली मारी गई। इस वारदात से पूरा देश गुस्से में है और पाकिस्तान को उसी के स्टाइल में जवाब देने की मांग कर रहा है। पाकिस्तानी दामाद और बिहार के मुजफ्फरपुर के रहने वाले आफताब आलम का आक्रोश भी सातवें आसमान पर है। उनकी बीवी सायना कौसर और बेटी आफिया फिलहाल कराची हैं फिर भी उन्होंने पाकिस्तान पर सीधा हमला करने और मुंहतोड़ जवाब देने की मांग की है। कहा है कि उनके लिए वतन आगे है, परिवार पीछे।
आफताब आलम की बुआ पाकिस्तान में रहती हैं जिनकी बेटी सायना से उनका निकाह 2012 में तब हुआ जब एक रिलेटिव के फंक्शन में कराची गए थे। सायना कराची के एक कॉलेज में लेक्चरर हैं और आफिया पांचवी क्लास में एक प्राइवेट स्कूल में पढ़ती हैं। बुआ का परिवार सीतामढ़ी के बेलसंड का रहने वाला है लेकिन रेलवे की नकरी के सिलसिले ये लोग बांग्लादेश(उस समय भारत) में रहते थे। 1947 के बंटवारे में वहीं रह गए और 1971 में बांग्लादेश अलग होने पर पाकिस्तान आ गए। आफताब बताते हैं कि पुराने रिश्तों को जिंदा रखने के लिए शादी तो कर ली लेकिन फंस गए। बीवी और बेटी गर्मी की छुट्टियों में आते थे और वीजा की मियाद खत्म होने से पहले चले जाते थे। लेकिन पाकिस्तान की इस नापाक हड़कत से यह सिलसिला भी बंद होता दिख रहा है। लॉंग टाइम वीजा के लिए कई बार अप्लाई किया लेकिन नहीं मिला। आखिरी बार वह नवम्बर 2024 में आई थी और फरवरी 2025 में अटारी बॉर्डर के रास्ते पाकिस्तान चली गईं। अब आने की कोई उम्मीद नहीं दिखती।
आफताब इतने गुस्से में हैं कि पाकिस्तान पर सीधा अटैक करने की बात करते हैं। कहते हैं कि सरकार को सख्त होने की जरूरत है। पानी और वीजा बंद करने से कुछ नहीं होगा। जिस मुल्क को अपने बेटी-बहू की आबरू की फिक्र नहीं है वह इन पाबंदियों से कैसे मानेगा। डॉ आफिया सिद्दी को सुपरपावर के हाथों बेच दिया। इंडिया को डिस्टर्ब करना उनकी स्ट्रेटजी है।
आफताब दो बार पाकिस्तान जा चुके हैं। ट्रेवेल हिस्ट्री के कारण उन्हें एक बार एनआईए ने गिरफ्तार कर लिया था। लेकिन, कई दिनों की पड़ताल के बाद रिहा कर दिया गया। वे बताते हैं कि पाकिस्तान के हुक्मरान अपने सिटिजन की फिक्र नहीं करते। वहां सबकुछ फौज की मर्जी से चलता है।
आफताब बताते हैं कि पहलगाम में जो हुआ उसकी इजाजत इस्लाम या कोई मजहब नहीं देता। अब वक्त आ गया है कि पाकिस्तान पर सीधा हमला किया जाना चाहिए। चंदे पर चलने वाला मुल्क हिन्दुस्तान को आंख दिखाता है। उसे एक बार सबक सिखाना ही पड़ेगा। बीवी बच्चे अगर इससे प्रभावित होते हैं तो कोई गम नहीं।