गोल्ड लोन पर रिजर्व बैंक का अहम ऐलान, रॉकेट की तरह भागे इन कंपनियों के शेयर
मुथूट फाइनेंस लिमिटेड के शेयरों में 8% तक की तेजी आई, जबकि मणप्पुरम फाइनेंस लिमिटेड और आईआईएफएल फाइनेंस लिमिटेड के शेयरों में 5% तक उछाल आया।

केंद्रीय रिजर्व बैंक की ओर से गोल्ड लोन को लेकर अहम ऐलान किया गया है। इसके बाद शुक्रवार को शेयर बाजार में लिस्टेड कुछ कंपनियों के शेयर में हलचल सी मच गई। इनमें से एक मुथूट फाइनेंस लिमिटेड है। इस कंपनी के शेयरों में 8% तक की तेजी आई, जबकि मणप्पुरम फाइनेंस लिमिटेड और आईआईएफएल फाइनेंस लिमिटेड के शेयरों में 5% तक उछाल आया। ट्रेडिंग के दौरान मुथूट फाइनेंस लिमिटेड के शेयर 2470.25 रुपये तक पहुंच गए। वहीं, मणप्पुरम फाइनेंस लिमिटेड के शेयर 246.85 रुपये तक पहुंच गए। इसी तरह, IIFL फाइनेंस के शेयर 452 रुपये तक पहुंच गए। आइए जान लेते हैं कि आखिर गोल्ड फाइनेंस से जुड़ी कंपनियों के शेयर में क्यों तेजी आई।
रिजर्व बैंक के ऐलान
दरअसल, रिजर्व बैंक के गवर्नर संजय मल्होत्रा ने मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की 55वीं और चालू वित्त वर्ष में एमपीसी की दूसरी तीन दिवसीय द्विमासिक बैठक में लिए गए निर्णयों की जानकारी दी है। उन्होंने कहा कि लोन टू वैल्यू (एलटीवी) या प्रति उधारकर्ता 2.5 लाख रुपये तक के छोटे ऋणों को ब्याज घटक सहित पहले के 75% से संशोधित कर 85% कर दिया जाएगा।
उदाहरण से समझें
उदाहरण के लिए यदि सोने का मूल्य ₹1 लाख है, तो ₹75,000 के बजाय लोन टू वैल्यू में संशोधन के साथ ₹85,000 की राशि वितरित की जा सकती है। केंद्रीय बैंक द्वारा पहले जारी किए गए मसौदा नियमों के अनुसार, लोन टू वैल्यू रेश्यो 75% पर सीमित था जबकि बुलेट पेमेंट की अवधि 12 महीने तक सीमित है। मसौदा नियमों में NBFC को गोल्ड लोन पोर्टफोलियो पर सीमा निर्धारित करने का भी प्रस्ताव दिया गया है।
खुदरा लोन पर क्या बोले गर्वनर
इस बीच, आरबीआई गवर्नर ने खुदरा ऋण क्षेत्र में सुधार का संकेत देते हुए बताया कि असुरक्षित व्यक्तिगत ऋण और क्रेडिट कार्ड बकाया जैसे संवेदनशील पोर्टफोलियो में पहले जो तनाव देखा गया था, वह अब कम हो गया है। हालांकि, माइक्रोफाइनेंस क्षेत्र में तनाव अब भी बना हुआ है। इस संबंध में बैंक और एनबीएफसी अपने जोखिम प्रबंधन ढांचे को पुनर्गठित कर रहे हैं।