Child Labor 12-Year-Old Tribal Girl Rescued After Abuse Medical Examination Delayed मारपीट की 1098 में हुई शिकायत दर्ज, 48 घंटे बाद भी बाल श्रमिक की मेडिकल जांच नहीं, Ranchi Hindi News - Hindustan
Hindi NewsJharkhand NewsRanchi NewsChild Labor 12-Year-Old Tribal Girl Rescued After Abuse Medical Examination Delayed

मारपीट की 1098 में हुई शिकायत दर्ज, 48 घंटे बाद भी बाल श्रमिक की मेडिकल जांच नहीं

रांची में एक 12 वर्षीय आदिवासी बच्ची के साथ पिछले पांच महीने से उत्पीड़न और मारपीट की जा रही थी। स्थानीय लोगों की शिकायत पर चाइल्डलाइन और पुलिस ने बच्ची को रेस्क्यू किया। हालांकि, दो दिनों बाद भी उसका...

Newswrap हिन्दुस्तान, रांचीThu, 12 June 2025 10:57 PM
share Share
Follow Us on
मारपीट की 1098 में हुई शिकायत दर्ज, 48 घंटे बाद भी बाल श्रमिक की मेडिकल जांच नहीं

रांची, वरीय संवाददाता। बाल श्रमिक आदिवासी बच्ची से मारपीट की शिकायत 1098 में दर्ज होने और रेस्क्यू के 48 घंटे के बाद भी बच्ची का मेडिकल नहीं हो पाया। मामला कांके स्थित कोंगे जयपुर में 12 वर्षीय बच्ची के साथ पिछले पांच माह से उत्पीड़न और मारपीट हो रही थी। पीड़िता की आवाज सुनकर मोहल्ले के लोगों ने सामाजिक कार्यकर्ताओं को घटना बताई। इसके बाद आठ-नौ जून को ट्रोल फ्री नंबर पर भी शिकायत की गई। शिकायत के आधार पर चाइल्ड लाइन और सामाजिक कार्यकर्ता पुलिस के साथ 10 जून को बच्ची को जयपुर निवासी बबिता देवी और उसके पुत्र हर्षचंद्र जो सीसीएल में सुरक्षाकर्मी हैं उनके आवास से रेस्क्यू किया।

सामाजिक कार्यकर्ता रोजालिया तिर्की, अर्पणा बाड़ा निर्मला एक्का, ऋतु ने बताया कि बच्ची अनगड़ा के जोन्हा की निवासी है। बच्ची के साथ घर में जहां कैमरे नहीं लगे है, वहां पर मारपीट की जाती थी। जिससे उसकी पीठ और चेहरे पर पिटाई से लाल निशान बन गए हैं। बच्ची को दिसंबर 2024 से घरेलू काम के लिए रखा गया था और हर बात पर मारपीट की जाती थी। जब हम लोग रेस्क्यू करने गए तो आरोपी परिवार वाले हम लोगों से उलझ गए और पुलिस की धमकी देने लगे थे। पिछले कई माह से बच्ची की रोने की आवाज सुनकर स्थानीय गांव वालों ने हमलोगों से मदद मांगी। इसके बाद हमलोग चाइल्ड लाइन और गोंदा पुलिस के साथ बच्ची को लेकर आए और 11 जून को सीडब्ल्यूसी में प्रस्तुत किया। कोट 11 जून को हमलोगों के पास सोशल वर्कर्स के माध्यम से मामला आया। इसकी शिकायत ट्रोल फ्री नंबर में की गई थी और थाने के माध्यम से रेस्क्यू किया गया। हमलोगों ने संबंधित थाने को मेडिकल कराने के लिए पत्र दिए हैं। बच्ची की काउंसिल हो चुकी है। प्रथम दृष्टि में उसके साथ मारपीट नहीं हुई, यह कहना ठीक नहीं होगा। मेडिकल रिपोर्ट आने के बाद भी आगे की कार्रवाई की जाएगी। - अंशुमाला करण, सदस्य, बाल कल्याण समिति, रांची।

लेटेस्ट   Hindi News ,    बॉलीवुड न्यूज,   बिजनेस न्यूज,   टेक ,   ऑटो,   करियर , और   राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।