पिक्चर अभी बाकी है! राजा रघुवंशी मर्डर केस में पुलिस का अगला कदम क्या होगा, जानिए पूरी बात
राजा रघुवंशी मर्डर केस में पुलिस अभी सभी आरोपियों से पूछताछ करेगी। पुलिस आज क्राइम सीन रीक्रिएशन भी कर सकती है, ताकि पूरे कांड को ठीक से समझ सके और जरूरी सबूत जुटा सके।

इंदौर के कारोबारी राजा रघुवंशी की मेघालय में हनीमून के दौरान हुई सनसनीखेज हत्या ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। यह कहानी किसी बॉलीवुड थ्रिलर से कम नहीं, जहां प्यार, धोखा, और साजिश का खतरनाक कॉकटेल सामने आया। राजा की पत्नी सोनम रघुवंशी, उनके कथित प्रेमी राज कुशवाहा, और तीन किराए के हत्यारों की गिरफ्तारी के बाद भी यह रहस्यमयी मामला पूरी तरह सुलझा नहीं है। मेघालय पुलिस अब इस जटिल केस को और गहराई से खंगालने की तैयारी में है। आइए जानते हैं कि इस हत्याकांड की गुत्थी सुलझाने के लिए पुलिस का अगला कदम क्या होगा।
सीन रीक्रिएशन: हत्या की कहानी को दोहराने की तैयारी
मेघालय पुलिस ने इस केस को 'ऑपरेशन हनीमून' का नाम दिया है और अब वे क्राइम सीन को रीक्रिएट करने की योजना बना रहे हैं। सूत्रों के मुताबिक, पुलिस सभी पांच आरोपियों सोनम रघुवंशी, राज कुशवाहा, आकाश राजपूत, विशाल सिंह चौहान और आनंद कुर्मी को शिलॉन्ग लाकर वेई सॉडोंग वॉटरफॉल के पास उस जगह ले जाएगी, जहां राजा की हत्या हुई थी। इस रीक्रिएशन का मकसद यह समझना है कि 23 मई को उस घातक ट्रेक के दौरान क्या हुआ, और कैसे साजिश को अंजाम दिया गया। पुलिस यह भी जांच करेगी कि क्या हत्या की जगह पहले से तय थी या यह मौके पर लिया गया फैसला था।
सबूतों की कड़ी को और मजबूत करना
पुलिस के पास पहले से ही कई अहम सबूत हैं खून से सना दाव, सोनम का मंगलसूत्र, एक स्मार्टवॉच और टूटा हुआ मोबाइल स्क्रीन। लेकिन अब पुलिस इन सबूतों को फॉरेंसिक जांच के जरिए और पुख्ता करने की कोशिश करेगी। इंदौर में विशाल चौहान के घर से जब्त किए गए कपड़ों को फॉरेंसिक लैब भेजा गया है ताकि यह पुष्टि हो सके कि उन पर राजा के खून के निशान हैं या नहीं। इसके अलावा, पुलिस कॉल रिकॉर्ड्स और लोकेशन डेटा की गहन जांच कर रही है ताकि सोनम और राज कुशवाहा के बीच की बातचीत और हत्यारों के मूवमेंट का पूरा टाइमलाइन तैयार हो सके।
सोनम और राज कुशवाहा का आमना-सामना
मेघालय पुलिस अब सोनम और राज कुशवाहा का आमना-सामना कराने की तैयारी में है। सूत्रों के अनुसार, सोनम ने दावा किया है कि वह निर्दोष है और उसे मेघालय में अगवा किया गया था, जबकि विशाल चौहान ने पुलिस को बताया कि हत्या का अंतिम आदेश सोनम ने ही दिया था। इस विरोधाभास को सुलझाने के लिए पुलिस दोनों के बयानों की तुलना करेगी और यह पता लगाएगी कि साजिश की असली मास्टरमाइंड कौन था। राज कुशवाहा, जो हत्या के समय मेघालय में मौजूद नहीं था, ने भी दावा किया है कि उसने आखिरी वक्त पर हत्या का समर्थन करने से इनकार कर दिया था। इस दावे की सच्चाई भी जांच का हिस्सा होगी।
मकसद की गुत्थी सुलझाने की चुनौती
हालांकि पुलिस ने प्रारंभिक तौर पर हत्या का मकसद सोनम और राज कुशवाहा के कथित प्रेम संबंध को बताया है, लेकिन इस कहानी में कई सवाल अभी अनसुलझे हैं। सोनम ने राजा से शादी क्यों की, अगर वह उसके साथ नहीं रहना चाहती थी? क्या यह सिर्फ सामाजिक स्वीकृति के लिए एक सुनियोजित योजना थी, ताकि बाद में वह राज से शादी कर सके? पुलिस अब सोनम के परिवार, खासकर उनके पिता देवी सिंह के बयानों की जांच करेगी, जो अपनी बेटी को निर्दोष मानते हैं और मेघालय पुलिस पर केस को गलत तरीके से पेश करने का आरोप लगाते हैं।
मल्टी-स्टेट कोऑर्डिनेशन और कानूनी प्रक्रिया
यह केस तीन राज्यों मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश और मेघालय के बीच समन्वय का एक जटिल मामला बन चुका है। मेघालय पुलिस ने इंदौर और गाजीपुर में छापेमारी कर कई सबूत जुटाए हैं, और अब वे इन सबूतों को कोर्ट में पेश करने की तैयारी कर रही है। सभी आरोपियों को शिलॉन्ग की स्थानीय अदालत में पेश किया जाएगा, जहां पुलिस उनकी रिमांड मांगेगी। इसके अलावा, मेघालय के मुख्यमंत्री कॉनराड संगमा ने पुलिस की तारीफ की है और कहा है कि उनके पास सोनम की संलिप्तता के 'ठोस सबूत हैं।