DCP तक पर कुल्हाड़ी से हमला, नागपुर हिंसा में थी साजिश; फडणवीस ने क्या-क्या बताया
- महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस का कहना है कि नागपुर में पुलिस पर सोच-समझकर हमला किया गया था। इसके पीछे साजिश की आशंका है। उन्होंने कहा कि आखिर चुनिंदा घरों और प्रतिष्ठानों को निशाना क्यों बनाया गया।

नागपुर में सोमवार को हुई हिंसा को लेकर मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने विधानसभा में कहा कि यह सब साजिश के तहत हुआ है। उन्होंने कहा कि पुलिसकर्मियों पर योजना के तहत हमला किया गया है ताकि सामाजिक सौहार्द बिगड़ जाए। डीसीपी तक पर कुल्हाड़ी से हमला किया गया। उन्होंने कहा कि कुछ लोगों के गुट ने योजनागत तरीके से पुलिसकर्मियों पर हमला किया। वे सामाजिक सौहार्द को बिगाड़ना चाहते थे। 3 डीसीपी समेत 33 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं। वहीं पांच आग भी घायल हैं जिनमें से एक आईसीयू में हैं। बिना किसी धार्मिक भेदभाव के जिन लोगों ने भी पुलिसकर्मियों को निशाना बनाय है, उन्हें बख्शा नहीं जाएगा। उन्होंने कहा, विधानसभा में मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि नागपुर हिंसा के दौरान भीड़ ने कुछ चुनिंदा घरों और प्रतिष्ठानों को निशाना बनाया ऐसे में पूरी आशंका साजिश की है।
फडणवीस ने कहा कि छावा फिल्म की वजह से लोगों में औरंगजेब के प्रति नफरत है। इसी आक्रोश के चलते प्रदर्शन हो रहा था। तभी अफवाह फैलाई गई कि धार्मिक ग्रंथ को जलाया गया है जबकि ऐसा हुआ नहीं था। वहीं उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने कहा कि नागपुर हिंसा के पीछे साजिश है। किसी भी दंगाई को बख्शा नहीं जाएगा और पुलिस सख्त ऐक्शन लेगी। कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष ने देवेंद्र फडणवीस की तुलना औरंगजेब से की। फडणवीस ने तो आम लोगों को न्याय दिया है। गरीबों के लिए योजनाएं शुरू की हैं। उनकी तुलना कैसे औरंगजेब से की जा सकती है। औरंगजेब ने तो क्रूरता से लोगों को मारा था। वहीं संजय शिरसाट ने कहा कि मुसलमान तो औरंगजेब की कब्र ही नहीं चाहते। यह दंगा तो महाविकास अघाड़ी के लोगों ने कराया है। आम मुसलमानों को इन चीजों से कोई मतलब नहीं है।
45 की गिरफ्तारी
नागपुर के संरक्षक मंत्री चंद्रशेखर बावनकुले ने मंगलवार को कहा कि शहर में हुई हिंसा के सिलसिले में कम से कम 45 लोगों को गिरफ्तार किया गया है और हिंसा के दौरान 34 पुलिसकर्मी तथा पांच अन्य लोग घायल हुए हैं। उन्होंने नागपुर हवाई अड्डे पर संवाददाताओं से कहा कि घायलों में से दो को यहां एक अस्पताल की आईसीयू में भर्ती कराया गया है।
बावनकुले सोमवार को हुई घटना के बाद स्थिति की समीक्षा के लिए यहां पहुंचे हैं। मंत्री ने कहा कि हिंसा के दौरान 45 वाहनों में भी तोड़फोड़ की गई और उन्होंने सभी समुदायों के सदस्यों से शहर में शांति बनाए रखने तथा किसी भी असामाजिक तत्व का समर्थन नहीं करने की अपील की। उन्होंने कहा कि हिंसा करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। (भाषा से इनपुट्स के साथ)