एनिमल बर्थ कंट्रोल और डॉग केयर सेंटर का सीएम जल्द करेंगे लोकार्पण
Gorakhpur News - गोरखपुर में निराश्रित कुत्तों और बंदरों की बढ़ती संख्या पर नियंत्रण के लिए एनिमल बर्थ कंट्रोल सेंटर और डॉग केयर सेंटर का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जल्द लोकार्पण करेंगे। इस केंद्र में कुत्तों की...

गोरखपुर, मुख्य संवाददाता। गोरखपुर में निराश्रित डॉग्स एवं बंदरों की बढ़ती संख्या पर लगाम लगाने के लिए गुलरिहा के अमवा में संचालित एनिमल बर्थ कंट्रोल सेंटर (एबीसीएस) और डॉग केयर सेंटर का मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ जल्द ही लोकार्पण करेंगे। 1700 वर्ग मीटर में 2.55 करोड़ रुपये से बनने वाले एबीसीएस सेंटर के संचालन चैरिटेबल वेलफेयर सोसाइटी फॉर ह्युमन काइंड एण्ड एनिमल कर रही है। नगर निगम में तैनात मुख्य पशु चिकित्सा एवं कल्याण अधिकारी डॉ रोबिन चंद्रा ने अपना दायित्व भी संभाल लिया है। अपर नगर आयुक्त शिवपूजन यादव ने बताया कि संस्था अनुबंधन के मुताबिक काम शुरू हो गया है।
एनिमल बर्थ कंट्रोल सेंटर पर प्रतिदिन 41 डॉग्स की नसबंदी और डॉग्स केयर सेंटर में 30 डॉग्स की देखभाल हो सकेगी। चयनित फर्म की जिम्मेदारी है कि वार्षिक 6000 एबीसी-एआरबी सर्जरी का लक्ष्य हासिल करें। डॉग्स की मृत्यु दर 0.50 से अधिक नहीं होनी चाहिए। प्रत्येक 1,000 एबीसी-एआरवी सर्जरी के बाद मृत्यु दर जांची जाएगी। ज्यादा होने पर अनुबंध समाप्त हो जाएगा। एबीसी सेंटर एवं डॉग्स केयर सेंटर को आत्मनिर्भर बनाने के लिए पेट्स शॉप के साथ पेट्स सैलून बना है। डॉग्स पार्क भी बना है। सीएण्डडीएस की यूनिट 14 ने इस केंद्र का निर्माण किया है। हालांकि इस सेंटर तक बना पहुंच मार्ग अमवा गांव में काफी सकरा है। पहले इसका लोकार्पण 29 अप्रैल को होना था लेकिन अब मुख्यमंत्री के आसन्न दौरे में लोकार्पण की तैयारी है। ये सुविधाएं उपलब्ध: भूतल पर 10 सामुदायिक केनेल बनाए गए हैं जिनमें प्रत्येक केनेल 10-10 की संख्या में डॉग्स को रखने की क्षमता है। इसके अलावा 02 सिंगल केनेल बनाए गए हैं, जिनमें 2 कक्ष हैं। वहीं चिकित्सक कक्ष, सर्जन कक्ष, आपरेशन कक्ष, ड्यूटी कक्ष, औषधि भंडार, पेट सैलून एवं पेट शॉप, टॉयलेट एवं पार्किंग बनाई गई है। दूसरे तल पर पैंट्री और 05 बिस्तर के साथ शयनकक्ष, टॉयलेट एवं स्नानघर बनाए गए। 1127 निराश्रित कुत्तों को पकड़ 1114 की नसबंदी 19 मार्च से 16 मई तक 1127 निराश्रित कुत्ते पकड़े गए। शनिवार तक 1114 निराश्रित कुत्तों का नसबंदी और एंटी रैबिज का टीका लगा कर उनके पकड़े गए क्षेत्रों में वापस छोड़ा जा चुका है। वहीं, अब तक अभियान चला कर 1020 बंदरों को विभिन्न मोहल्लों से पकड़ कर सुरक्षित जंगल क्षेत्र में छोड़ा जा चुका है।
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