लाखों लेकर थमाई जा रहीं पुलिस की फर्जी नौकरियां, ट्रेनिंग से लेकर परीक्षा तक सब कुछ नकली
यूपी पुलिस में फर्जी नौकरियां लगवाई जा रही हैं। इसके लिए लाखों तक वसूले जा रहे। विज्ञापन, आवेदन से लेकर प्रवेश पत्र और मेडिकल परीक्षण से गुजरने के बाद नियुक्ति पत्र मिलने तक सब काम हो रहे। लेकिन ज्वाइनिंग के लिए संबंधित जनपद या कार्यालय में पहुंचकर सच्चाई सामने आ रही है।

अगर आपको यूपी पुलिस में सरकारी नौकरी की दरकार है और आपके पास खर्च करने को 15 लाख रुपये हैं, तो आपकी नौकरी सौ फीसदी पक्की। विज्ञापन, आवेदन से लेकर प्रवेश पत्र और मेडिकल परीक्षण से गुजरने के बाद नियुक्ति पत्र आपके हाथ होगा। और आप जैसे ही इस नियुक्ति पत्र के साथ ज्वाइनिंग के लिए संबंधित जनपद या कार्यालय में पहुंचेंगे, तो आपके होश फाख्ता हो जाएंगे और फिर अहसास होगा कि आप बड़ी ठगी का शिकार हो गए। फिरोजाबाद समेत ब्रज के कई जिलों से ऐसे मामले 'हिन्दुस्तान' तक पहुंचे हैं। इन सभी मामलों में ठगी का तौर-तरीका लगभग एक-जैसा ही है।
मक्खनपुर (शिकोहाबाद) स्थित नगला बाजदार निवासी राकेश कुमार पुत्र शौकीराम भी ऐसे ही पीड़ितों में से एक हैं। वो एनजीओ के जरिए स्कूल चलाते हैं। औरैया के एरवा कटरा निवासी परिचित के यहां गांव की ही एक दंपति से संपर्क हुआ। इस मुलाकात में रिश्तेदार ने मदद की। ये दंपति सरकारी और पुलिस विभाग में नौकरी दिलाने की बात करता था। दंपति ने फिरोजाबाद में युवकों को नौकरी दिलाने की बात की और राकेश कुमार के स्वयंसेवी संगठन से संपर्क किया। राकेश का आरोप है कि औरैया के दंपति ने एक विज्ञापन दिखाया जिसमें 386 पदों पर रिक्त पद थे।
इसमें से 361 पद पुलिस विभाग के थे। इस पद पर नियुक्ति के लिए हर अभ्यर्थी को 10 से 15 लाख रुपये खर्च करने की बात कही। बताया गया कि तीन महीने की ट्रेनिंग व परीक्षा की तैयारी कराई जाएगी। एडमिट कार्ड से लिखित और फिर साक्षात्कार होगा। नियुक्ति पत्र जारी होंगे। इसके बाद नौकरी का प्रशिक्षण मिलेगा। फर्रुखाबाद, सहारनपुर, झांसी, सीतापुर में परीक्षा केंद्र और तैयारी केंद्र की बात कही। 15 लाख देने के बाद जब परिजनों के साथ इटावा प्रशिक्षण केंद्र पर पहुंचे तो सब कुछ फर्जी और ठगी होने का पता चलता।
केस 1
उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती प्रोन्नति बोर्ड लखनऊ के अनु सचिव के नाम से एक प्रवेश पत्र जारी हुआ। अभ्यर्थी संध्या पुत्री अनिल कुमार निवासी रसूलपुर के प्रवेश पत्र में हरदोई के आरएस इंटर कालेज को परीक्षा केंद्र लिखा। जबकि इस केंद्र पर कोई परीक्षा नहीं हुई। शक होने पर उसने शिकायत की। अब खलबली मची हुई है।
केस 2
उत्तर प्रदेश पुलिस की सीधी भर्ती को लेकर आरक्षी पद के लिए आवेदन मांगे गए। इसमें नीलम पत्नी रामकिशन निवासी अरमराजट्ट शिकोहाबाद ने आवेदन किया था। परीक्षा केंद्र आदर्श इंटर कालेज फतेहगढ़ फर्रुखाबाद के नाम से जारी किया। इस पर अपर सचिव पुलिस भर्ती प्रोन्नति बोर्ड लखनऊ की मोहर लगाई लेकिन कोई परीक्षा नहीं हुई।ं
केस 3
उत्तर प्रदेश पुलिस की सीधी भर्ती को लेकर आरक्षी पद के लिए शिकोहाबाद के अरमराजट्ट निवासी शिवम कुमार पुत्र सुखलाल ने आवेदन किया। उसका परीक्षा केंद्र आदर्श इंटर कालेज फतेहगढ़ फर्रुखाबाद के नाम से जारी किया। सचिव उप्र पुलिस भर्ती प्रोन्नति बोर्ड लखनऊ की मोहर और हस्ताक्षर थे लेकिन कोई परीक्षा केंद्र पर नहीं हुई।
केस 4
उत्तर प्रदेश पुलिस की सीधी भर्ती को लेकर आरक्षी पद के लिए शिकोहाबाद के रैचटी दखिनारा निवासी नितिन सविता पुत्र अरुण कुमार ने आवेदन किया। उसका परीक्षा केंद्र आरएस इंटर कालेज हरदोई के नाम से जारी किया। सचिव उम्र पुलिस भर्ती प्रोन्नति बोर्ड लखनऊ की मोहर और हस्ताक्षर थे लेकिन कोई परीक्षा केंद्र पर नहीं हुई।
केस 5
उत्तर प्रदेश पुलिस की सीधी भर्ती को लेकर आरक्षी पद के लिए कन्नौज के छिवरामऊ के खानपुर निवासी सचिन सविता पुत्र प्रदीप सिंह ने आवेदन किया। उसका परीक्षा केंद्र आदर्श इंटर कालेज फतेहगढ़ फर्रुखाबाद के नाम से जारी किया। सचिव उप्र पुलिस भर्ती प्रोन्नति बोर्ड लखनऊ की मोहर और हस्ताक्षर थे लेकिन कोई परीक्षा केंद्र पर नहीं हुई।
होगी जांच तो खुलेंगे बड़े राज
हिन्दुस्तान' के पास ठगी का शिकार आधा दर्जन लोगों के नाम है। अभ्यर्थियों का यह दावा है कि बड़ी संख्या में लोग फर्जी पुलिस भर्ती की ठगी का शिकार हुए हैं। प्रत्येक अभ्यर्थी से 10 से 15 लाख तक वसूले गए। मामला दो करोड़ से अधिक की ठगी का है। एसएसपी फिरोजाबाद सौरभदीक्षित के मुताबिक, अभ्यर्थियों से ठगी मामले में शिकायती पत्र आया था। जांच सीओ शिकोहाबाद को सौंपी है। रिपोर्ट आने के बाद कार्रवाई की जाएगी।
सब कुछ फर्जी
पुलिस में भर्ती के लिए पहले तीन महीने की ट्रेनिंग होगी, इसके बाद परीक्षा की तैयारी कराई जाएगी। एडमिट कार्ड जारी होंगे और फिर लिखित परीक्षा होगी। साक्षात्कार का वीडियो वेबसाइट पर डाला जाएगा। फिर अभ्यर्थियों को नियुक्ति पत्र मिलेंगे। फिर प्रशिक्षण दिया जाएगा। इसमें फर्रुखाबाद, सहारनपुर, झांसी, सीतापुर में परीक्षा और तैयारी केंद्र बताकर लोगों को गुमराह किया।