वार्ड पार्षदों के विरोध के बीच पारित नहीं हो पाया हिलसा नगर परिषद का बजट
वार्ड पार्षदों के विरोध के बीच पारित नहीं हो पाया हिलसा नगर परिषद का बजटवार्ड पार्षदों के विरोध के बीच पारित नहीं हो पाया हिलसा नगर परिषद का बजटवार्ड पार्षदों के विरोध के बीच पारित नहीं हो पाया हिलसा...

वार्ड पार्षदों के विरोध के बीच पारित नहीं हो पाया हिलसा नगर परिषद का बजट बजट प्रतियां न मिलने से भड़के पार्षद, कार्यपालक पर मनमानी का आरोप कार्यपालक पदाधिकारी के कक्ष में फर्श पर बैठकर दिया धरना फोटो: 02हिलसा02: हिलसा नगर परिषद के कार्यपालक पदाधिकारी के चैंबर में धरने पर बैठे नाराज पार्षद। हिलसा, निज प्रतिनिधि। हिलसा नगर परिषद की सामान्य बोर्ड बैठक बुधवार को हंगामे की भेंट चढ़ गई। वित्तीय वर्ष 2025-26 के बजट को लेकर बुलाई गई इस बैठक में पार्षदों ने कार्यपालक पदाधिकारी और मुख्य पार्षद की कार्यशैली पर जमकर विरोध जताया, जिसके चलते बजट पारित नहीं हो सका। पार्षदों ने कार्यपालक पदाधिकारी पर मनमानी और भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगाए। बैठक की शुरुआत से ही माहौल तनावपूर्ण रहा। नगर परिषद के सभागार कक्ष में आयोजित बैठक में बजट की प्रतियां समय पर उपलब्ध नहीं कराए जाने से नाराज पार्षदों ने हंगामा करना शुरू कर दिया। उन्होंने कहा कि पिछली बैठक में भी प्रतियां उपलब्ध नहीं कराई गई थीं, जिसके चलते उन्हें बैठक का बहिष्कार करना पड़ा था। पार्षदों ने आरोप लगाया कि बजट में कार्यपालक पदाधिकारी और मुख्य पार्षद की मिलीभगत से बड़े पैमाने पर धांधली किए जाने की आशंका है, इसलिए उन्हें बजट की प्रतियां बैठक से पहले नहीं दी जा रही हैं। उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि बैठक के बाद अधिकारी प्रोसिडिंग रजिस्टर को लॉक किए बिना भाग जाते हैं, ताकि बाद में मनमानी की जा सके। बैठक में मुख्य पार्षद धनंजय कुमार, उप मुख्य पार्षद दुर्गा कुमारी, कार्यपालक पदाधिकारी रविशंकर कुमार, प्रधान सहायक अलबेला प्रसाद सहित तमाम वार्ड पार्षद मौजूद रहे। बैठक समाप्त होने के बाद, नाराज पार्षद कार्यपालक पदाधिकारी के कक्ष में धरने पर बैठ गए और घंटों तक हंगामा किया। उन्होंने कार्यपालक पदाधिकारी पर नगर परिषद के विकास कार्यों और बजट में मनमानी करने के साथ-साथ पार्षदों से दुर्व्यवहार करने का आरोप लगाया। हालांकि, पुलिस अधिकारियों के हस्तक्षेप के बाद पार्षद शांत हुए। कार्यपालक पदाधिकारी रविशंकर प्रसाद ने पार्षदों द्वारा लगाए गए आरोपों को बेबुनियाद और मनगढ़ंत बताया। नगर परिषद हिलसा में कुल 26 वार्ड हैं, लेकिन वार्ड संख्या 9 के पार्षद के निधन के बाद पार्षदों की संख्या 25 रह गई है। बजट पारित करने के लिए एक तिहाई बहुमत यानी कम से कम 9 पार्षदों की आवश्यकता होती है। लेकिन मुख्य पार्षद के विरोध में 18 पार्षद एकजुट हो गए हैं, जिसके चलते पिछले बैठक में भी कोरम पूरा नहीं हो सका था और इस बार की बैठक हंगामे की भेंट चढ़ गई। मुख्य पार्षद धनंजय कुमार ने कहा कि बजट को लेकर बुलाई गई बैठक में पार्षदों के विरोध के कारण बजट पारित नहीं हो सका। उन्होंने आरोप लगाया कि कुछ पार्षद अपनी राजनीतिक महत्वाकांक्षाओं को पूरा करने के लिए अन्य पार्षदों को गुमराह कर नगर के विकास में बाधा डाल रहे हैं। उन्होंने कहा कि जल्द ही बैठक बुलाकर बजट पारित कराने का प्रयास किया जाएगा। जनप्रतिनिधियों की इस लड़ाई में हिलसा के विकास कार्यों पर गंभीर संकट पैदा हो गया है। स्थानीय लोग चिंतित हैं कि बजट पारित न होने से नगर का विकास कैसे होगा। वे चाहते हैं कि जनप्रतिनिधि अपने मतभेदों को भुलाकर नगर के विकास पर ध्यान दें।
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