30 साल से रतनपुर के ग्रामीणों को बेहतर स्वास्थ्य सेवा का इंतजार
करजाईन बाजार, एक संवाददाता । स्वास्थ्य सेवा के नाम पर लंबे-चौड़े दावों के बीच

करजाईन बाजार, एक संवाददाता । स्वास्थ्य सेवा के नाम पर लंबे-चौड़े दावों के बीच बसंतपुर प्रखंड की रतनपुर पंचायत स्थित उपस्वास्थ्य केंद्र बदहाली के दौर से गुजर रहा है। व्यवस्था के लापरवाही से यह उपस्वास्थ्य केंद्र खुद वर्षों से बीमार पड़ा हुआ है। कोरोना वायरस के फैलने के बाद स्वास्थ्य सेवा की बेहतरी के लिए बड़े -बड़े दावे किए जाते थे, लोगों को बेहतर स्वास्थ्य सुविधा मिले। फिर भी यहां सुविधा नहीं मिल पा रही है। लाचार लोग अधिकारियों के दरवाजे खटखटाते रहते हैं, लेकिन उनकी समस्याओं का समाधान नहीं हो पा रहा है। वसंतपुर के ग्रामीण क्षेत्रों में स्थित स्वास्थ्य सेवा की उपेक्षा से बदहाल है।
आलम यह है कि समय पर इलाज न मिलने से कई लोग बेमौत काल का ग्रास हो जाते हैं। वहीं भगवानपुर पंचायत के साहेबान स्थित स्वास्थ्य उपकेंद्र का भवन अब खंडहर का रूप ले चुका है। स्थानीय लोगों की मानें तो साल 1994 में भगवानपुर स्वास्थ्य केंद्र की नींव रखी गयी थी। लेकिन लोगों को स्वास्थ्य सुविधा नसीब नहीं हो सकी है। कुछ वर्ष पहले स्वास्थ्य केंद्र के चारों तरफ चहारदीवारी का नर्मिाण कराया गया। लेकिन चकाचक चहारदीवारी के बीच जर्जर भवन व्यवस्था को मुंह चिढ़ी रही है। यह स्वास्थ्य उपकेंद्र बदहाली पर आंसू बहाने को मजबूर है। व्यवस्था के डंक के चलते यहां के लोगों को स्वास्थ्य सुविधा नसीब नहीं हो पा रही है। सालों से यहां चिकत्सिकों की तैनाती नहीं हुई है। स्थानीय ग्रामीण देवेंद्र दास, संजय मेहता, सुरेश यादव, लखन मेहता, विशुनदेव मेहता व रामदेव मेहता ने कहा कि हर समय खतरे का डर बना रहता है। कहीं अचानक तबियत खराब हो जाने पर भीमनगर बीरपुर ले जाने की मजबूरी हो जाएगी। इतनी घनी आबादी रहने के बावजूद यहां एक अस्पताल तक नही है। ग्रामीणों ने स्थानीय जनप्रतिनिधियों तथा स्वास्थ्य विभाग के आलाधिकारी से अविलंब स्वास्थ्य उपकेंद्र की स्थिति सुधारने की मांग की है।
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