आर अश्विन ने बताया भारतीय टीम के अगले टेस्ट कप्तान का नाम, बोले- आप इस प्लेयर को क्यों भूल गए?
जसप्रीत बुमराह या शुभमन गिल नहीं, बल्कि आर अश्विन ने सीएसके के स्टार ऑलराउंडर रविंद्र जडेजा को भारत की टेस्ट कप्तानी का एक अच्छा उम्मीदवार बताया है। जडेजा टेस्ट में लंबे समय से एक्टिव हैं।

रोहित शर्मा ने टेस्ट क्रिकेट से रिटायरमेंट ले लिया है। उनके साथ-साथ विराट कोहली ने भी इस फॉर्मेट को छोड़ दिया है। इंग्लैंड के अहम दौरे से पहले अब सिलेक्टर्स के सामने बड़ी सिरदर्दी भारतीय टेस्ट टीम का कप्तान चुनने की है। तमाम रिपोर्ट्स में बताया जा रहा है कि शुभमन गिल को टेस्ट टीम की कप्तानी मिलने वाली है, जबकि उनके अलावा जसप्रीत बुमराह भी इस रेस में हैं, जो पहले से ही तीन मैचों की कप्तानी कर चुके हैं। हालांकि, इस बीच पूर्व स्पिनर रविचंद्रन अश्विन ने एक और खिलाड़ी का नाम बताया, जिसे टेस्ट कप्तानी दी जा सकती है।
तमिलनाडु के पूर्व सलामी बल्लेबाज विद्युत शिवरामकृष्णन के साथ अपने यूट्यूब चैनल पर बात करते हुए दोनों इस बात पर चर्चा कर रहे थे कि भारतीय टेस्ट टीम की कमान संभालने के लिए संभावित उम्मीदवार कौन-कौन है? जिस तरह अश्विन अपनी गेंदबाजी में अपरंपरागत समाधान ढूंढते हैं, उसी तरह उन्होंने कप्तानी के संबंध में भी कुछ ऐसा ही सुझाव दिया। शुभमन गिल और जसप्रीत बुमराह के बीच चल रही रेस के बीच अश्विन ने रविंद्र जडेजा के नाम का जिक्र किया और कहा कि वे कप्तान क्यों नहीं बन सकते? जडेजा लंबे समय से नंबर वन टेस्ट ऑलराउंडर हैं।
अश्विन ने सवाल किया, "हर कोई कह रहा है कि गिल कप्तान हैं। हर कोई उसी दिशा में जा रहा है, लेकिन जसप्रीत बुमराह के रूप में एक बड़ा विकल्प है और हम रविंद्र जडेजा को क्यों भूल गए?"अश्विन का मानना है कि अगर गिल को इस भूमिका के लिए चुना जाता तो बेहतर होता कि कोई और अनुभवी खिलाड़ी इस पद पर आसीन होता और गिल को उपकप्तान बनाकर इस भूमिका के लिए तैयार किया जाता। यह बात इस बात पर भी विचार करती है कि गिल ने अभी तक खुद को उतना स्थापित नहीं किया है, जितना उन्होंने खुद को वनडे सेटअप में किया है।
उन्होंने आगे कहा, "अगर आप कप्तान के तौर पर किसी नए व्यक्ति को चुनने के लिए तैयार हैं, तो मैं कहूंगा कि उसे पूर्णकालिक आधार पर काम सौंपने से पहले दो साल के लिए किसी अनुभवी व्यक्ति का उपकप्तान क्यों ना बनाया जाए, लेकिन मैं कहूंगा कि क्यों ना सभी 3-4 उम्मीदवारों को बुलाया जाए और उनसे एक प्रेजेंटेशन करवाया जाए और उनसे टीम के लिए विजन के बारे में विस्तार से पूछा जाए। ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों में ऐसा होता है, और हम उस रास्ते पर क्यों नहीं चलते?"