संजय मिश्रा की पत्नी के साथ लिव-इन में रहे पंचायत के प्रधान जी रघुबीर यादव, पहली पत्नी ने लगाए थे आरोप
- पंचायत के प्रधान जी रघुबीर यादव को एक्टर संजय मिश्रा की पत्नी से प्यार हो गया था और दोनों लिव-इन में रहने लगे। एक्टर की पहली पत्नी ने कई गंभीर आरोप लगाए थे।

पंचायत के प्रधान जी एक्टर रघुबीर यादव, बॉलीवुड और थिएटर की दुनिया का एक ऐसा नाम हैं, जिन्होंने अपनी जबरदस्त एक्टिंग से ऑडियंस के दिलों में खास जगह बनाई। ‘लगान’, ‘पीपली लाइव’ और ‘सलाम बॉम्बे’ जैसी फिल्मों में दमदार परफॉर्मेंस देने वाले रघुबीर की प्रोफेशनल लाइफ जितनी सफल रही, उनकी पर्सनल लाइफ उतनी ही विवादों से भरी रही। उनकी पहली शादी, फिर अलगाव, और उसके बाद संजय मिश्रा की पहली पत्नी रोशनी अचरेजा के साथ उनका रिश्ता, यह एक ऐसा अनसुना किस्सा है, जो कम ही लोगों को पता है।
पहली पत्नी पूर्णिमा खरगा से शादी और विवाद
रघुबीर यादव की पहली शादी एक्ट्रेस और इंटरनेशनल कत्थक डांसर पूर्णिमा खरगा से हुई थी। शादी के बाद दोनों की जिंदगी में कई उतार-चढ़ाव आए। पूर्णिमा ने दावा किया कि जब रघुबीर स्ट्रगल कर रहे थे, तब उन्होंने अपना करियर छोड़कर उनके सपनों को पूरा करने में मदद की। लेकिन जब रघुबीर सफल हुए, तो उन्होंने अपनी पत्नी को छोड़ दिया।
पूर्णिमा ने स्पॉटबॉय को दिए एक इंटरव्यू में बताया था कि जब रघुबीर राज बरोत के एक टीवी सीरियल में काम कर रहे थे, तब उन्हें दूसरी महिला से प्यार हो गया। यही नहीं, उन्होंने यह भी दावा किया कि रघुबीर का मशहूर एक्ट्रेस नंदिता दास के साथ भी अफेयर था।
संजय मिश्रा की पत्नी रोशनी अचरेजा संग रिश्ता
पूर्णिमा के अनुसार, रघुबीर यादव और संजय मिश्रा एक ही बिल्डिंग में रहते थे। इसी दौरान संजय मिश्रा की पत्नी रोशनी अचरेजा और रघुबीर के बीच नजदीकियां बढ़ीं, जो बाद में एक रिश्ते में बदल गईं। जब संजय मिश्रा और रोशनी का तलाक हुआ, तब रघुबीर और रोशनी लिव-इन में रहने लगे। यह मामला तब और चौंकाने वाला हो गया, जब रघुबीर ने कोर्ट में यह स्वीकार किया कि उनका और रोशनी का 14 साल का बेटा भी है। इस खुलासे ने उनकी पहली पत्नी पूर्णिमा को पूरी तरह से तोड़ दिया।
तलाक, भरण-पोषण और कानूनी लड़ाई
पूर्णिमा ने मुंबई मिरर की एक रिपोर्ट में बताया था कि उन्होंने रघुबीर के खिलाफ तलाक और भरण-पोषण का केस दर्ज किया था। उन्होंने 10 करोड़ रुपए के मुआवजे और हर महीने 1 लाख रुपए की मांग की थी। कथित तौर पर उन्हें हर महीने 40 हजार रुपए गुजारा भत्ता मिलता है, लेकिन यह भी समय पर नहीं दिया जाता।
गिरफ्तारी और जेल जाने की नौबत
भरण-पोषण से जुड़े मामले में रघुबीर यादव को गिरफ्तार भी किया जा चुका है। जब उन्होंने अपनी पूर्व पत्नी को समय पर गुजारा भत्ता नहीं दिया, तो उन्हें दो दिन जेल में रहना पड़ा। बाद में उन्होंने बकाया राशि का भुगतान करने के बाद जमानत ली और बाहर आए।
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