भारत में तैयार होंगे रफाल फाइटर जेट,दसॉल्ट का टाटा संग करार;इस शहर में लगेगा कारखाना
टीएएसएल ने कहा कि उसने दसाल्ट के साथ उत्पादन संबंधी चार हस्तांतरण समझौते किए हैं जिसमें विमान के पीछे के हिस्से का पूरा आवरण,पीछे का पूरा हिस्सा,बीच और आगे का ढांचा शामिल है। इस प्रकार चार हिस्सों में विमान का पूरा ढांचा टीएएसएल द्वारा तैयार किया जाएगा।

फ्रांस की लड़ाकू विमान बनाने वाली कंपनी दसाल्ट एविएशन ने पहली बार अपने रफाल लड़ाकू विमानों के फ्यूजलेज यानी ढांचे (बॉडी) का निर्माण फ्रांस से बाहर भारत में करने का फैसला किया है। कंपनी ने इसके लिए टाटा एडवांस सिस्टम लिमिटेड के साथ करार किया है। टाटा एडवांस सिस्टम लिमिटेड (TASL) फिलहाल एयरबस के साथ संयुक्त उपक्रम में वायुसेना के लिए सी-295 परिवहन विमानों का निर्माण कर रही है। अब वह राफेल लड़ाकू विमानों का ढांचा भी तैयार करेगी। भारत में सैन्य विमान उद्योग के विस्तार और मेक इन इंडिया के नजरिए से इस फैसले को बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है।
दसाल्ट एविएशन एवं टीएएसएल ने गुरुवार को यहां इस समझौते का ऐलान किया। टीएएसएल ने कहा कि वह रफाल विमानों के ढांचे के निर्माण के लिए हैदराबाद में एक नई अत्याधुनिक निर्माण इकाई स्थापित करेगा। वहां रफाल का पहला ढांचा 2028 तक बनकर तैयार होगा तथा उसके बाद हर महीने दो ढांचे तैयार होंगे। इस मौके पर डसॉल्ट एविएशन के अध्यक्ष और सीईओ एरिक ट्रैपियर ने कहा कि पहली बार रफाल के ढांचे का उत्पादन फ्रांस के बाहर किया जाएगा।
यह भारत में हमारी आपूर्ति शृंखला को मजबूत करने की दिशा में एक निर्णायक कदम है। वहीं,टीएएसएल के मुख्य कार्यकारी अधिकारी और प्रबंध निदेशक सुकरन सिंह ने कहा कि यह साझेदारी भारत की एयरोस्पेस यात्रा में एक महत्वपूर्ण कदम है। भारत में राफेल के पूरे ढांचे का निर्माण टाटा एडवांस्ड सिस्टम्स की क्षमताओं में बढ़ते भरोसे और दसाल्ट एविएशन के साथ हमारे सहयोग की मजबूती को दर्शाता है। दसाल्ट एविएशन से अब तक 62 विमानों की खरीद की जा चुकी है। इस खरीद के आफसेट क्लाज के तहत कुल सौदे की 30-50 फीसदी तक राशि को दसाल्ट एवं उसकी सहयोगी कंपनियों को भारत में निवेश करना होता है। इस लिहाज से भी यह करार अहम है।
टीएएसएल ने कहा कि उसने दसाल्ट के साथ उत्पादन संबंधी चार हस्तांतरण समझौते किए हैं जिसमें विमान के पीछे के हिस्से का पूरा आवरण,पीछे का पूरा हिस्सा,बीच और आगे का ढांचा शामिल है। इस प्रकार चार हिस्सों में विमान का पूरा ढांचा टीएएसएल द्वारा तैयार किया जाएगा।
समझौता कई मायनों में महत्वपूर्ण है। भारत ने कुछ साल पहले वायुसेना के लिए 2016 में 36 रफाल विमान खरीदे थे और अब नौसेना के लिए 26 विमानों की खरीद का ऑर्डर दिया है। वायुसेना के लिए 114 विमानों की खरीद की योजना है। इनमें भारत ने मेक इन इंडिया की शर्त रखी है। ऐसे में दसाल्ट एविएशन के टीएएसएल के साथ हुए करार को आगे के लिए भी महत्वपूर्ण माना जा रहा है। टाटा एडवांस सिस्टम लिमिटेड के साथ फ्रांस की लड़ाकू विमान बनाने वाली कंपनी दसाल्ट एविएशन का करार