तलाशी अभियान के दौरान रोका तो छीनने लगा हथियार, जम्मू-कश्मीर के राजौरी में जवानों संग झड़प
- भारतीय सेना का कहना है कि पूरे मामले की जांच शुरू कर दी गई है। अगर कोई व्यक्ति गलत आचरण का दोषी पाया जाता है, तो मौजूदा कानून के अनुसार सख्त कार्रवाई की जाएगी।

जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले में सेना के जवानों के साथ दुर्व्यवहार का मामला सामने आया है। इंडियन आर्मी की ओर से बताया गया, 'सेना को आतंकवादियों की संभावित गतिविधियों की सूचना मिली थी जो इस संवेदनशील इलाके में एक गाड़ी में घूम रह थे। इसके तुरंत बाद, तलाशी अभियान शुरू किया गया। शुरुआती जानकारी से पता चला कि रोकने पर एक व्यक्ति ने ड्यूटी पर तैनात सैनिकों के हथियार छीनने की कोशिश की। इस दौरान उनके साथ झड़प हो गई।' सेना का कहना है कि पूरे मामले की जांच की जा रही है। अगर कोई व्यक्ति गलत आचरण का दोषी पाया जाता है, तो मौजूदा कानून के तहत सख्त कार्रवाई की जाएगी।
कुछ दिनों पहले, कठुआ में हथियारों और गोला-बारूद का जखीरा बरामद किया गया था। एक अधिकारी ने बताया, 'पिछले एक महीने में कठुआ जिले में सुरक्षा बलों और आतंकवादियों के बीच 4 मुठभेड़ हुई हैं। राजबाग मुठभेड़ से हथियार, गोला-बारूद और अन्य युद्ध जैसे भंडार के अलावा मादक पदार्थ बरामद हुए। इससे यह स्पष्ट हो गया कि आतंकवादियों ने बड़ी योजना बनाई थी।' गौरतलब है कि मुठभेड़ में 2 आतंकवादी मारे गए जबकि जम्मू-कश्मीर पुलिस के 4 जवान भी शहीद हो गए थे।
आतंक मामले में एनआईए का ऐक्शन
दूसरी ओर, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने जम्मू-कश्मीर के पुंछ क्षेत्र में हथियार और गोला-बारूद जब्त करने से जुड़े आतंकी साजिश के मामले में 2 आरोपियों के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया। अधिकारियों ने बताया कि जिन तीन आरोपियों के खिलाफ आरोपपत्र दायर किया गया है, उनमें एक पाकिस्तान में रह रहा आतंकियों का आका भी शामिल है। जम्मू में एनआईए की एक विशेष अदालत के समक्ष दायर आरोपपत्र में अब्दुल अजीज, मुनव्वर हुसैन और नजीर हुसैन उर्फ नजीर अहमद उर्फ शाहीन को मामले में आरोपी बनाया गया है। जांच एजेंसी के मुताबिक, नजीर हुसैन वर्तमान में पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर (PoK) में सक्रिय है और प्रतिबंधित जम्मू-कश्मीर गजनवी फोर्स (JKGF) आतंकवादी संगठन से जुड़ा है।