भीड़ के हिसाब से बसों का रूट बताएगा एआई, DTC यात्रियों के लिए रहा नया तकनीक
परिवहन विभाग के मुताबिक,इस योजना का मुख्य उदेश्य डीटीसी का डिजिटलीकरण करना भी है। मसलन यात्रियों के लिए डिजिटल टिकटिंग की सुविधा होगी तो विज्ञापनदाताओं के लिए मेट्रो की तर्ज पर विज्ञापन जैसी सुविधा भी मिलेगी। इससे डीटीसी को अपने राजस्व बढ़ाने में मदद मिलेगी।

दिल्ली परिवहन निगम (डीटीसी) बसों के बेहतर संचालन और सेवा सुधारों के लिए आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस (एआई) तकनीकी का इस्तेमाल करेगा। विभाग ने इस क्षेत्र में काम करने वाली कंपनियों को एक्सप्रेशन ऑफ इंटरेस्ट (ईओआई) की निविदा जारी करके अपने प्रस्ताव के साथ आगे आने की अपील की है। डीटीसी एआई के जरिये डिजिटल टिकटिंग को प्रभावी बनाने, बसों के फ्रीक्वेंसी बेहतर करने, रूट पर यात्रियों की संख्या के हिसाब से बसों को उपलब्ध कराने जैसे काम करेगा। अभी डीटीसी के पास कोई ऐसा व्यवस्था नहीं है, जहां यात्रियों की भीड़ के हिसाब से रूट पर बसों की संख्या घटाई या बढ़ाई जा सके।
परिवहन विभाग के मुताबिक,इस योजना का मुख्य उदेश्य डीटीसी का डिजिटलीकरण करना भी है। मसलन यात्रियों के लिए डिजिटल टिकटिंग की सुविधा होगी तो विज्ञापनदाताओं के लिए मेट्रो की तर्ज पर विज्ञापन जैसी सुविधा भी मिलेगी। इससे डीटीसी को अपने राजस्व बढ़ाने में मदद मिलेगी।
20-22 लाख लोग करते हैं सफर
डीटीसी बसों में प्रतिदिन 20-22 लाख लोग सफर करते है। वर्तमान में 3800 से अधिक बसें करीब साढ़े चार सौ रूट पर लोगों को अपने गंतव्य तक पहुंचाती है। हालांकि कुछ समय से सड़कों पर बसों की संख्या कम होने से यात्रियों की संख्या घटी है। उधर, दिल्ली सरकार ने दावा किया है कि बसों की संख्या लगातार बढ़ाई जा रही है।
तकनीक का क्रेडिट भी दें :आईआईटी
आईआईटी दिल्ली की ओर से सभी छात्रों के लिए कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) की पढ़ाई जहां अनिवार्य कर दी है,वहीं अकादमिक शुचिता बनाए रखने के लिए एआई द्वारा किए गए कार्य की पूरी जानकारी साझा करने के लिए कहा है। संस्थान ने सलाह दी कि अपने काम की सटीकता को सत्यापित करने की पूरी जिम्मेदारी लें और सत्यापन करें कि सामग्री साहित्यिक चोरी से मुक्त है।