हर साल लाखों स्टूडेंट्स नीट का फॉर्म भरते हैं। कुछ नीट क्वालीफाई करके एमबीबीएस में एडमिशन ले लेते हैं, लेकिन बहुत से ऐसे होते हैं, जो नीट क्वालीफाई नहीं कर पाते हैं। अगर आप भी नीट क्वालीफाई नहीं कर पाए हैं और मेडिकल में ही करियर बनाना चाहते हैं, तो यहां भी कई ऐसे ऑप्शन हैं जहां आप दमदार सैलरी पा सकते हैं। आइए जानें कौन से हैं ऐसे कोर्स-
नर्सिंग के काम से तो आप सभी वाकिफ होंगे, आपको बता दें कि नर्स का काम हेल्थ केयर डिपार्टमेंट में बहुत खास होता है। वह डॉक्टर को असिस्ट करती है, पैशेंट की केयर करती है। सर्जरी में मदद, वाइटल्स मॉनिटर करना और सभी जरूरी मेडिकल टास्क करती है। एक नर्स हॉस्पिटल, क्लिनिक, रिहैब सेंटर और कम्युनिटी हेल्थ सेंटर में काम करती है। इसकी रैसरी 2.5 लाख से 6 लाख और इससे अधिक भी हो सकती है।
बीएससी बायोटेक्नॉलाजी एक ऐसी फील्ड है. जिसमें एक या दो या अधिक के दो या अधिक एरिया से जुड़े लोग बायोलॉजिकल साइंस के लिए इनोवेटिव सोल्यूशन बनाते हैं। ये लोगबायोटेक्नोलॉजिस्ट फार्मास्यूटिकल्स, जेनेटिक इंजीनियरिंग और बायोइन्फॉर्मेटिक्स में काम करते हैं। हेल्थकेयर कपंनी, रिसर्च लैब, बायोटेक फर्म, एग्रीकल्टर इंडस्ट्री में ये लोग काम कर सकते हैं। इनकी सैलरी रैंज 2.5 लाख से 5 लाख के बीच होती है। एकस्पीरियंस के साथ यह 15 लाख तक जा सकती है।
मनोवैज्ञानिक अवसाद, चिंता और मेंटल डिस्ऑर्डर के लिए ट्रीटमेंट के लिए आपको इस तरह के विशेषज्ञ की जरूरत होती है। वे मनोवैज्ञानिक कल्याण को बेहतर बनाने के लिए व्यक्तियों, परिवारों और समूहों के साथ मिलकर काम करते हैं। ये लोग स्कूल, कॉर्पोरेट क्षेत्र, अनुसंधान संस्थान और प्राइवेट क्लीनिक में काम करते हैं। इनको 3 लाख रुपये प्रति वर्ष से 15 लाख रुपये प्रति वर्ष तक सैलरी शुरू में मिलती है।
फार्मासिस्ट डॉक्टरों द्वारा निर्धारित की गई दवाओं को देते हैं। उनका काम ग्रहकों को इसके सेफ इस्तेमाल को बताना भी है। वे लोग मेडिसिन को स्टोर करने और दवाओं के रिएक्शन के बारे में भी जागरुक करते हैं। ये लोग हॉस्पिटल, फार्मेसी, दवा कंपनियां और रिसर्च लैब में काम करते हैं। इनकी सैलरी 2.5 लाख रुपये सालाना से- 4 लाख रुपये प्रति वर्ष रहती है।