नवादा जिले में साइबर फ्रॉड का अनोखा मामला सामने आया है। जहां नि:संतान महिलाओं को गर्भवती करने के नाम पर लाखों की ठगी की जा रही थी। इस गैंग के 4 लोगों को गिरफ्तार किया गया है। जिसमें सेना के जवान का बेटा भी शामिल है।
शहीद मेजर की पत्नी का अश्लील वीडियो बनाकर यूट्यूब पर वायरल करने के मामले में हरियाणा पुलिस ने गोपालगंज में दो साइबर अपराधियों को शनिवार को गिरफ्तार किया। दोनों बाप-बेटे हैं।
चर्चा है कि जवान के घर से एके 56 और इंसास जैसे राइफल जब्त किए गए हैं। हालांकि, इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं की गयी है। सरोज सिंह उर्फ निमकी सिंह एक साल से सस्पेंड है।
पटना के एक डॉक्टर दंपति को 12 दिनों तक डिजिटल अरेस्ट करके रखा गया। साइबर अपराधियों ने खुद को सीबीआई अधिकारी बताकर उन्हें मनी लॉन्ड्रिंग के केस में फंसाने का झांसा देकर लगभग 2 करोड़ रुपये ठग लिए।
आय से अधिक संपत्ति मामले में स्पेशल विजिलेंस यूनिट ने मनिहारी की लोक शिकायत निवारण पदाधिकारी श्वेता मिश्रा के कटिहार स्थित आवास पर छापेमारी की है। बुधवार की सुबह पहुंची टीम ने कटिहार के फुटानी चौक स्थित उनके आवास पर कागजातों की जांच की।
पीड़ित न एक बार मीटर रिचार्ज किया और बार बार पैसा कटने लगा। कस्मर केयर से बात करने के बाद 95 हजार खाते से उड़ गए।
एक दर्जन से अधिक एटीएम फ्रॉड की घटनाओं में दोनों ने संलिप्तता स्वीकार की है। इस गिरोह में गया और नालंदा के अलावा अन्य जिलों के शातिर भी शामिल हैं जो अन्य राज्यों में घूम-घूम कर ठगी करते है।
अमित सिंह ने बताया कि उसने नौकरी तलाशने वाली बेवसाइट पर अपनी आईडी बनाई हुई है। बिहार पुलिस में सिपाही के लिए भी आवेदन किया था। लेकिन लिखित परीक्षा पास नहीं की। बीते सप्ताह उसे एक कॉल आया। खुद को जॉब कंसल्टेंट बताया। अपना एक बेवसाइट का नाम भी बताया, जो बिहार पुलिस से मिलता जुलता नाम से बना था।
साइबर अपराधियों पर प्रहार के लिए शुक्रवार को सी-डेक, पटना के सहयोग से आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) में साइबर सुरक्षा एवं साइबर फॉरेंसिक के अनुसंधान एवं विकास केंद्र (रिसर्च एंड डेवलपमेंट) का शुभारंभ किया गया।
सी-डेक पटना के सहयोग से आर्थिक अपराध इकाई (ईओयू) में साइबर सुरक्षा एवं साइबर फॉरेंसिक के अनुसंधान एवं विकास केंद्र (रिसर्च एंड डेवलपमेंट) का शुभारंभ किया गया। जिसका उद्घाटन आर्थिक अपराध इकाई के अपर पुलिस महानिदेशक नैयर हसनैन खान ने इस केंद्र का उद्घाटन किया। जो साइबर अपराध रोकने में अहम साबित होगा।