High Court decision in 69000 teacher recruitment economically backward class candidate will not get reservation 69000 शिक्षक भर्ती में हाईकोर्ट का फैसला, आर्थिक पिछड़ा वर्ग अभ्यर्थियों को आरक्षण का लाभ नहीं, अपीलें खारिज, Uttar-pradesh Hindi News - Hindustan
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69000 शिक्षक भर्ती में हाईकोर्ट का फैसला, आर्थिक पिछड़ा वर्ग अभ्यर्थियों को आरक्षण का लाभ नहीं, अपीलें खारिज

69000 शिक्षक भर्ती मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट ने आर्थिक पिछड़ा वर्ग (ईडब्ल्यूएस) को आरक्षण का लाभ देने की मांग नामंजूर कर दी है। हाईकोर्ट ने दाखिल अपीलें खारिज कर दी हैं।

Deep Pandey प्रयागराज, विधि संवाददाता।Tue, 13 May 2025 08:11 AM
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69000 शिक्षक भर्ती में हाईकोर्ट का फैसला, आर्थिक पिछड़ा वर्ग अभ्यर्थियों को आरक्षण का लाभ नहीं, अपीलें खारिज

इलाहाबाद हाईकोर्ट ने 69000 सहायक अध्यापक भर्ती में आर्थिक पिछड़ा वर्ग (ईडब्ल्यूएस) को आरक्षण का लाभ देने की मांग नामंजूर कर दी है। साथ ही इसे लेकर दाखिल अपीलें खारिज कर दी हैं। कोर्ट ने यह माना कि 69000 सहायक अध्यापक भर्ती की प्रक्रिया शुरू होने के समय प्रदेश में ईडब्ल्यूएस आरक्षण लागू किया जा चुका था और सरकार को इसका लाभ देना चाहिए था। अब नियुक्ति की प्रक्रिया पूरी हो चुकी है, चयनित अभ्यर्थी नियुक्त पा चुके हैं और इसे चुनौती नहीं दी गई है इसलिए इन परिस्थितियों में 69000 सहायक अध्यापक भर्ती में ईडब्ल्यूएस आरक्षण लागू करने का आदेश नहीं दिया जा सकता।

शिवम पांडेय व पांच अन्य और दर्जनों अन्य अपीलों पर एकसाथ सुनवाई करते हुए यह आदेश न्यायमूर्ति अश्वनी कुमार मिश्र एवं न्यायमूर्ति प्रवीण कुमार गिरि की खंडपीठ ने दिया है। अपीलों में एकल पीठ द्वारा आरक्षण का लाभ न देने के निर्णय को चुनौती दी गई थी। याचियों की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता अशोक खरे व जीके सिंह और एडवोकेट अग्निहोत्री कुमार त्रिपाठी, सीमांत सिंह आदि का कहना था की ईडब्ल्यूएस योजना 12 जनवरी 2019 को संविधान में 103वें संशोधन द्वारा लागू की गई। राज्य सरकार ने इसे 2020 में लागू किया लेकिन इससे पूर्व राज्य सरकार ने 18 फरवरी 2019 को कार्यालय ज्ञाप जारी कर ईडब्ल्यूएस आरक्षण योजना लागू करने की घोषणा कर दी थी। कहा गया कि 69000 सहायक अध्यापकों की नियुक्ति प्रक्रिया विज्ञापन जारी होने की तिथि 17 मई 2020 से आरंभ मानी जाएगी और उस समय प्रदेश में ईडब्ल्यूएस आरक्षण लागू हो चुका था इसलिए अभ्यर्थियों को ईडब्ल्यूएस आरक्षण का लाभ मिलना चाहिए।

खंडपीठ के समक्ष तीन प्रश्न थे कि ईडब्ल्यूएस योजना 18 फरवरी 2019 से लागू मानी जाएगी या 31 अगस्त 2020 को एक्ट लागू होने की तिथि से।खंडपीठ ने नियुक्ति प्रक्रिया विज्ञापन जारी होने की तिथि से मानने पर भी विचार किया। खंडपीठ के समक्ष तीसरा प्रश्न था कि याची कोई राहत पाने के हकदार हैं या नहीं। खंडपीठ ने ईडब्ल्यूएस आरक्षण 18 फरवरी 2019 से लागू माना और एकल पीठ के इस मत को स्वीकार नहीं किया कि आरक्षण एक्ट लागू होने की तिथि से लागू माना जाएगा। इसी प्रकार विज्ञापन जारी करने की तिथि 17 मई 2020 से नियुक्ति प्रक्रिया को आरंभ माना।

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खंडपीठ ने कहा कि इस हिसाब से नियुक्ति प्रक्रिया आरंभ होने के समय ईडब्ल्यूएस आरक्षण लागू हो चुका था और राज्य सरकार को 69000 सहायक अध्यापक नियुक्ति का विज्ञापन जारी करते समय इसे लागू करना चाहिए था। याचियों को वर्तमान परिस्थितियों में 10 प्रतिशत ईडब्ल्यूएस आरक्षण देने के प्रश्न पर खंडपीठ ने कहा कि नियुक्ति प्रक्रिया पूरी हो चुकी है। सभी 69000 नियुक्तियां की जा चुकी है। याचिकाओं में चयनित अभ्यर्थियों को पक्षकार नहीं बनाया गया है और न ही चयन प्रक्रिया को चुनौती दी गई है। कोर्ट ने यह भी कहा की 10 प्रतिशत आरक्षण का लाभ किसे दिया जाए, इसके लिए मेरिट लिस्ट बनानी होगी लेकिन रिकॉर्ड पर ऐसा कुछ नहीं है। आवेदन करते समय किसी भी अभ्यर्थी ने अपने ईडब्ल्यूएस स्टेटस का विवरण नहीं दिया इसलिए अब तय करना मुश्किल है कि कौन अभ्यर्थी ईडब्ल्यूएस में आएगा।