Action Against Secretaries for Delayed Payments to Panchayat Assistants in Kushinagar मानदेय भुगतान नहीं करने पर 68 सचिवों का रोका वेतन, Kushinagar Hindi News - Hindustan
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मानदेय भुगतान नहीं करने पर 68 सचिवों का रोका वेतन

Kushinagar News - कुशीनगर के विकास खंड क्षेत्रों में पंचायत सहायकों को समय पर मानदेय नहीं मिलने की शिकायतों पर प्रशासन ने सख्त कदम उठाया है। जिलाधिकारी के आदेश पर, लापरवाह सचिवों का वेतन रोक दिया गया है और उन्हें कारण...

Newswrap हिन्दुस्तान, कुशीनगरTue, 17 June 2025 08:35 AM
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मानदेय भुगतान नहीं करने पर 68 सचिवों का रोका वेतन

कुशीनगर। विकास खंड क्षेत्रों के विभिन्न ग्राम पंचायतों में तैनात पंचायत सहायकों को समय से मानदेय नहीं मिलने की शिकायतों पर प्रशासन ने कड़ा रुख अपनाया है। जिलाधिकारी के आदेश के बावजूद भुगतान में लापरवाही बरतने वाले सचिवों पर डीपीआरओ ने कार्रवाई करते हुए उनका जून माह का वेतन को रोक दिया है। डीपीआरओ ने इन सभी को कारण बताओ नोटिस भी जारी किया है। अगर सचिव तय समयसीमा में संतोषजनक जवाब नहीं देते और भुगतान नहीं करते हैं, तो आगे कठोर अनुशासनात्मक कार्रवाई की जायेगी। जिले के 68 ग्राम पंचायतों के पंचायत सहायकों का चार माह से लेकर 24 माह तक का मानदेय सचिवों द्वारा भुगतान नहीं किया गया है।

इसकी जानकारी होने पर डीएम महेंद्र सिंह तंवर ने कड़ा रुख अपनाते हुये डीपीआरओ को निर्देश दिया था कि ऐसे सचिवों का वेतन भुगतान न करें। डीएम के आदेश के बाद डीपीआरओ आलोक कुमार प्रियदर्शी ने जिन पंचायत सहायकों का चार माह से अधिक समय से मानदेय नहीं मिला, उनकी सूची तैयार करायी। इसमें विभिन्न गांवों के कुल 68 ऐसे पंचायत सहायक थे, जिन्हें 4 से लेकर 24 माह से मानदेया का भुगतान ही नहीं किया गया है। डीपीआरओ ने उन सभी संबंधित ग्राम पंचायतों के 68 सचिवों से जवाब तलब करते हुए स्पष्टीकरण मांगा है कि आखिर क्यों पंचायत सहायकों को उनका मानदेय अब तक नहीं दिया गया। साथ ही यह चेतावनी भी दी गई है कि यदि जल्द भुगतान नहीं किया गया तो आगे और कड़ी कार्रवाई की जायेगी। इसके अलावा डीपीआरओ ने संबंधित सचिवों का पंचायत सहायकों के भुगतान नहीं होने तक जून माह के वेतन भुगतान पर रोक लगा दी है। वहीं प्रशासन के इस कदम से पंचायत सहायकों में उम्मीद जगी है कि अब उन्हें समय से उनका बकाया मानदेय मिल सकेगा। पंचायत सहायकों का मानदेय समय पर किया जाना जरूरी है। इसमें देरी करना अनुचित है। सचिवों को समय से उनका भुगतान करना अनिवार्य है। जिन सचिवों ने लापरवाही की है, उनसे स्पष्टीकरण मांगा गया है और उनका वेतन रोक दिया गया है। -आलोक कुमार प्रियदर्शी, डीपीआरओ

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