गाजा में 'फाइनल वॉर' की आहट? नेतन्याहू ने विदेश दौरा रद्द कर फौजी ताकत झोंकी
गाजा में 18 महीने के भीषण रक्तपात के बाद अब फाइनल वॉर की तैयारी तेज हो गई है। नेतन्याहू ने विदेश दौरा रद्द कर दिया है और हजारों रिजर्व सैनिकों को गाजा में भेजा है।

गाज़ा में 18 महीने से जारी जंग के बीच इजरायली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने बड़ा कदम उठाया है। नरसंहार के आरोपों और अंतरराष्ट्रीय दबाव के बीच नेतन्याहू सरकार ने हजारों सैनिकों को मैदान में उतारते हुए ऑपरेशन विस्तार की तैयारी शुरू कर दी है। सुरक्षा कैबिनेट की अहम बैठक के बाद इस फैसले पर मुहर लगी है, वहीं हालात की गंभीरता को देखते हुए नेतन्याहू ने अपना विदेश दौरा भी रद्द कर दिया है।
ब्लूमबर्ग के मुताबिक, इजरायल की योजना है कि आने वाले दिनों में हजारों सैनिकों को युद्ध में उतारा जाए, जिसकी पुष्टि एक वरिष्ठ सूत्र ने की है। यह फैसला प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू की सुरक्षा कैबिनेट की बैठक के बाद लिया गया।
वर्तमान में इजरायली सेना और टैंक गाजा के लगभग एक-तिहाई हिस्से पर काबिज हैं और दो मिलियन से अधिक आबादी के लिए मानवीय सहायता में रुकावट बनी हुई है। दूसरी ओर, हमास अब भी गाजा में नियंत्रण में है और 59 बंधकों में से 24 जीवित बताए जा रहे हैं, जिन्हें 7 अक्टूबर 2023 के हमले में अगवा किया गया था।
अमेरिका और इजरायल में सांठगांठ
Axios की रिपोर्ट के अनुसार, अमेरिकी रक्षा मंत्री पीट हेगसेथ 12 मई को इजरायल पहुंच सकते हैं और नेतन्याहू व रक्षा मंत्री इज़राइल काट्ज़ से मुलाकात करेंगे। वहीं नेतन्याहू ने 7 मई से शुरू होने वाला अजरबैजान का दौरा रद्द कर दिया है, जिसकी वजह गाजा और सीरिया में बिगड़ते हालात बताए जा रहे हैं। इस बीच, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप 13 मई से मध्य पूर्व दौरे पर जाएंगे, जिसमें सऊदी अरब, क़तर और अबूधाबी शामिल हैं, लेकिन इजरायल नहीं।
गौर करने वाली बात यह भी है कि नेतन्याहू की गठबंधन सरकार के कट्टरपंथी नेता बेज़ालेल स्मोतरीच ने हमास को पूरी तरह खत्म करने की मांग की है — भले ही इसके लिए बंधकों की जान जोखिम में क्यों न पड़े। मगर कान न्यूज के हालिया सर्वे के मुताबिक, ज्यादातर इजरायली अब युद्ध का अंत और बंधकों की सुरक्षित वापसी चाहते हैं।
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