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हमारा शिप नहीं डुबा पाओगे, अमेरिका ने 25 सेकंड में हूतियों को किया तबाह; ट्रंप ने दिखाया वीडियो

  • डोनाल्ड ट्रंप ने एक वीडियो शेयर करते हुए दावा किया है कि एक ही हमले में इकट्ठे ही हूतियों के एक समूह को तबाह कर दिया गया। ट्रंप ने कहा कि अब ये हमारा शिप नहीं डुबो पाएंगे।

Ankit Ojha लाइव हिन्दुस्तानSat, 5 April 2025 08:42 AM
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हमारा शिप नहीं डुबा पाओगे, अमेरिका ने 25 सेकंड में हूतियों को किया तबाह; ट्रंप ने दिखाया वीडियो

अमेरिका इन दिनों हूती विद्रोहियों पर कहर बरपा रहा है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने एक वीडियो शेयर करते हुए हूतियों को फिर से चेतावनी दे दी है। वीडियो में दिखाया गया है कि कैसे 25 सेकंड में ही हूती विद्रोहियों के गुट को खत्म कर दिया गया। राजनीतिक और रणनीतिक लिहाज से यह वीडियो काफी मायने रखता है। हूती विद्रोहियों ने आंकड़े जारी करते हुए बताया था कि डोनाल्ड ट्रंप का कार्यकाल शुरू होने के बाद से ही अमेरिकी हमलों में कम से कम 67 लोग मारे गए हैं। हालांकि वास्तविक संख्या ज्यादा भी हो सकती है।

डोनाल्ड ट्रंप के वीडियो में देखा जा सकता है कि हूती गोलाकार बनाकर खड़े हुए हैं। इसके बाद अचानक विस्फोट होता है। तेज चमक के बाद पूरा इलाका धुएं और धूल के गुबार में समा जाता है। इसके बाद वीडियो जूमआउट होता है और बड़ा इलाका इस धुएं की गिरफ्त में दिखाई देता है। इसमें दो गाड़ियां भी दिखाई देती हैं। अनुमान है कि इन गाड़ियों का इस्तेमाल हमले के लिए किया गया होगा।

डोनाल्ड ट्रंप ने वीडियो शेयर करते हुए संदेश भी दिया। उन्होंने लिखा,ये हूती हमले की साजिश के लिए इकट्ठा हुए थे। अब हूती कोई हमला नहीं कर पाएंगे। अब वे हमारा शिप नहीं डुबो सकते। बता दें कि लाल सागर में हूती जहाजों को निशाना बनाते हैं। हमास का समर्थन करने के लिए हूती इजरायल और अमेरिका के जहाजों को ज्यादा निशाना बना रहे हैं। इसी का जवाब देने के लिए अमेरिका ने हूतियों के ठिकानों को तबाह कर दिया।

हूती विद्रोहियों ने अभी तक अपने किसी भी नेता की मौत की बात स्वीकार नहीं की है, उधर अमेरिका ने भी किसी भी मारे गए विद्रोही नेता का नाम उजागर नहीं किया है। हालांकि, ट्रंप प्रशासन के अधिकारियों के बीच हुई बातचीत के लीक होने पर यह जानकारी सामने आई है कि विद्रोहियों के मिसाइल बल के एक नेता को निशाना बनाया गया था। बता दें कि हूतियों को ईरान से समर्थन मिलता है। जानकारों का कहना है कि यह हमला ईरान के परमाणु कार्यक्रम का जवाब है। व्हाइट हाउस की प्रेस कॉन्फ्रेंस में भी कहा गया कि इन हमलों से ईरान कमजोर हो गया है।

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