Haryana Faridabad land maping will be done using rovers taking help from satellite know all about it फरीदाबाद में सेटेलाइट की मदद से ‘रोवर्स’ करेगा जमीन की नपाई,जानिए इसके बारे में सबकुछ, Ncr Hindi News - Hindustan
Hindi Newsएनसीआर NewsHaryana Faridabad land maping will be done using rovers taking help from satellite know all about it

फरीदाबाद में सेटेलाइट की मदद से ‘रोवर्स’ करेगा जमीन की नपाई,जानिए इसके बारे में सबकुछ

हरियाणा में जमीन का सीमांकन जरीब की जगह अब उपग्रह की मदद से रोवर्स (उपकरण) करेगा। इससे जमीन विवाद खत्म होंगे। इसको लेकर शनिवार को हरियाणा सरकार ने गांव खेड़ी कला में डेमो किया। राजस्व मंत्री विपुल गोयल की निगरानी में इस डेमो को सम्पन्न करवाया गया।

Utkarsh Gaharwar हिन्दुस्तान, फरीदाबादSun, 11 May 2025 11:00 AM
share Share
Follow Us on
फरीदाबाद में सेटेलाइट की मदद से ‘रोवर्स’ करेगा जमीन की नपाई,जानिए इसके बारे में सबकुछ

हरियाणा में जमीन का सीमांकन जरीब की जगह अब उपग्रह की मदद से रोवर्स (उपकरण) करेगा। इससे जमीन विवाद खत्म होंगे। इसको लेकर शनिवार को हरियाणा सरकार ने गांव खेड़ी कला में डेमो किया। राजस्व मंत्री विपुल गोयल की निगरानी में इस डेमो को सम्पन्न करवाया गया। उपायुक्त विक्रम सिंह भी इस मौके पर मौजूद रहे। दरअसल, सर्वे ऑफ इंडिया के सहयोग से यह पहल हरियाणा सरकार द्वारा मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी के आदेश में शुरू की गई है। जिसके तहत भूमि सीमांकन को पारंपरिक तरीकों से हटकर आधुनिक डिजिटल तकनीक पर आधारित किया जाएगा। इसके लिए राज्य सरकार ने 300 रोवर्स मशीनों की खरीद को मंजूरी दी है।

प्रशिक्षण भी हो रहा सुनिश्चित

गोयल ने जानकारी दी कि राज्य भर में पटवारियों और कानूनगो को इस तकनीक के उपयोग के लिए प्रशिक्षण भी दिया जा रहा है, ताकि वे आधुनिक तकनीक के साथ कार्य कुशलता से कर सकें। इस तकनीक के उपयोग से न केवल प्रशासनिक प्रक्रिया में तेजी आएगी बल्कि राज्य सरकार की डिजिटल इंडिया अभियान के अनुरूप भूमि प्रबंधन में पारदर्शिता और जवाबदेही भी सुनिश्चित होगी।

डीसी विक्रम सिंह ने कहा कि पूर्व में भूमि का डिमार्केशन करने के लिए पटवारी चेन का इस्तेमाल कर जमीन की सीमा निर्धारित करते थे। अब हरियाणा में जमीन के सीमांकन के लिए सैटेलाइट इमेजरी,ड्रोन सर्वे सहित आधुनिक तकनीक अपनाई जा रही है। रोवर आधारित डिजिटल मैपिंग से प्रॉपर्टी के लेन-देन और जमीन के दाखिल-खारिज की प्रक्रिया आसान होगी,साथ ही बैंक लोन और आमजन को सरकारी योजनाओं का लाभ प्राप्त करने में आसानी होगी।

भूमि विवाद चिंता का विषय

राजस्व मंत्री विपुल गोयल ने कहा कि भूमि विवाद लंबे समय से आम जनता के लिए चिंता का विषय रहे हैं। रोवर्स तकनीक के माध्यम से अब सीमांकन वैज्ञानिक व पारदर्शी ढंग से होगा, जिससे राज्य में भूमि विवादों का स्थायी समाधान संभव होगा। उन्होंने बताया कि इस तकनीक से राज्य की शामलात भूमि की भी सटीक पैमाइश संभव होगी, जिससे राजस्व की हानि रोकी जा सकेगी और संपत्ति के रिकॉर्ड सुव्यवस्थित होंगे।

यमुना का जमीन विवाद भी खत्म करने की तैयारी

हरियाणा सरकार की नई तकनीक रोवर्स के इस्तेमाल से जमीन के विवाद खत्म करने की उम्मीद बढ़ रही है। राजस्व विभाग के अधिकारियों के मुताबिक जिला फरीदाबाद में यमुना के साथ लगती जमीन का विवाद हरियाणा और उत्तर प्रदेश के किसानों के बीच लंबे समय से बना हुआ है। नई तकनीक आने के बाद इसे विवाद खत्म होने की उम्मीद है। यमुना के अलावा गांवों में भी जमीन के विवाद काफी चल रहे हैं।

रोवर एक आधुनिक उपकरण है जो उपग्रह आधारित डिजिटल मैपिंग के माध्यम से अत्यंत सटीक और तेज भूमि सीमांकन करता है। इससे पारंपरिक जरीब विधि की तुलना में अधिक पारदर्शी,विवादमुक्त और भरोसेमंद परिणाम मिलते हैं। इस तकनीक से संपत्ति से जुड़े विवादों,म्यूटेशन,बैंक ऋण एवं सरकारी योजनाओं में पारदर्शिता सुनिश्चित होगी।