20 से अधिक लड़कों से शादी, कांड पर कांड, 4 युवतियों की कहानी से पुलिस भी हैरान
यूपी के प्रयागराज में लुटेरी दुल्हन गैंग को पकड़ा है। पकड़ी गईं चार युवतियों ने बताया कि तीन साल दुल्हन बनकर 20 से अधिक लड़कों के साथ शादी की और कांड पर कांड किया। युवतियों की सच्चाई सुनकर पुलिस भी हैरान रह गई।
यूपी के प्रयागराज में शादी के नाम पर ठगी करने वाला एक गिरोह शनिवार को खुल्दाबाद पुलिस की गिरफ्त में आ गया। पकड़े गए अभियुक्तों में चार महिलाएं और तीन पुरुष शामिल हैं। यह गिरोह फर्जी रिश्तेदार और कूटरचित दस्तावेजों के जरिए लोगों को ठगता था। पुलिस पूछताछ में गिरोह में शामिल चार युवतियों ने तीन साल में दुल्हन बनकर 20 से अधिक लड़कों से शादी के बाद लूटने की बात कबूली है। युवतियां पहले युवकों को फंसाती थीं, फिर शादी के बाद दूल्हे से घर से सारा कीमती सामान लेकर फरार हो जाती थीं। कांड पर कांड करने वाली लुटेरी दुल्हनों की बात सुनकर पुलिस भी हैरान रह गई। पुलिस ने ठग गिरोह के पास से कूटरचित छह आधार कार्ड और ठगी के 35 हजार रुपये बरामद किया है। अभियुक्तों को जेल भेज दिया।
पुलिस के मुताबिक, राजस्थान के अलवर निवासी गोपाल गुर्जर ने खुल्दाबाद थाने में रिपोर्ट दर्ज कराई थी कि कुछ लोगों ने उनके बेटे की शादी का झांसा देकर उनसे एक लाख 75 हजार रुपये ठग लिए हैं। मुकदमा दर्ज करने के बाद पुलिस गिरोह की तलाश में जुटी थी। शनिवार को पुलिस को मुखबिर से गिरोह के बारे में सूचना मिली। इस पर पुलिस टीम ने घनश्याम नगर रेलवे क्रॉसिंग पैदल पुल के पास से करेली की शहाना, पीपलगांव की निशा कुमारी व प्रीति देवी, झूंसी की ममता भारतीय, शाहगंज के आसिफ व मो़ जैनुल और राजस्थान अलवर के श्रीराम गुर्जर को गिरफ्तार कर लिया। इंस्पेक्टर खुल्दाबाद ने बताया कि यह गिरोह बीते तीन वर्षों से प्रयागराज सहित कई जिलों में सक्रिय था। गिरोह के सदस्य सबसे पहले उन लोगों को अपना शिकार बनाते थे जो अविवाहित होते और शादी के लिए परेशान रहते थे। किसी तरह उनके परिजनों तक पहुंचते और शादी कराने की बात कहकर विश्वास में ले लेते। शादी होने के बाद मौका मिलते ही दुल्हनें नगदी और जेवर लेकर फरार हो जातीं थीं।
कई मामलों में विदाई के बाद फरार हुईं
पुलिस के मुताबिक, सबसे पहले गिरोह का एक सदस्य विवाह के इच्छुक लोगों के बारे में जानकारी जुटाकर गिरोह तक पहुंचाता था। इसमें मुख्य किरदार राजस्थान अलवर निवासी श्रीराम गुर्जर निभाता था। गिरोह फर्जी दस्तावेज व नकली रिश्तेदारों के जरिए पार्टी को फंसाता था। कुछ मामलों में शादी के बाद जब दुल्हन की विदाई होती तो दुल्हन बीच रास्ते में किसी बहाने उतर जाती और गिरोह के अपने साथियों के साथ फरार हो जाती थीं। कुछ मामलों में घर तक जाने के बाद मौका मिलते ही फरार हो गईं थीं। कभी-कभी गिरोह के सदस्य दूल्हे के घर पहुंच जाते और बहाने से दुल्हन की विदाई करा लेते थे। जब ससुरालवालों को पता चलता कि दुल्हन दोबारा नहीं आएगी और वह संपर्क करने का प्रयास करते तो उन्हें फर्जी मुकदमे में फंसाने की धमकी दी जाती थी। पुलिस की मानें तो गिरोह के नेटवर्क में कुछ सफेदपोश भी शामिल हैं।