कार्य योजना देने के लिए समय न दिए जाने से प्रभावित होगी गुणवत्ता
Lucknow News - -पीडब्ल्यूडी प्रशासन ने अभियंताओं से निर्माण कार्यों के लिए मांगी कार्य योजना -जल्दीबाजी में

-पीडब्ल्यूडी प्रशासन ने अभियंताओं से निर्माण कार्यों के लिए मांगी कार्य योजना -जल्दीबाजी में योजना देने पर निर्माण कार्य को लेकर जनता से नहीं कर पाएंगे इंसाफ
लखनऊ। प्रमुख संवाददाता
पीडब्ल्यूडी प्रशासन ने निर्माण कार्यों के लिए अभियंताओं को कार्य योजना देने का निर्देश दिया है। इसमें सड़क निर्माण प्रमुख है। एक सप्ताह में कार्य योजना जमा करने के निर्देश से अभियंताओं में नाराजगी है। कहना है कि जल्दीबाजी में कार्य योजना देने में निर्माण कार्य की गुणवत्ता प्रभावित हो सकती है। ऐसा होने पर जनता के साथ इंसाफ नहीं हो पाएगा।
अभियंताओं को अपने-अपने क्षेत्र की चार-चार कार्य योजनाओं को बना कर एक सप्ताह में देने का निर्देश पीडब्ल्यूडी प्रशासन ने दिया है। इसके लिए दी गई समय सीमा सोमवार तक थी। निर्देश आने के बाद ही अभियंताओं ने इसका विरोध करना शुरू कर दिया। उन्होंने कार्य योजना देने के लिए कम से कम 15 दिन का समय देने का अनुरोध किया है। डिप्लोमा इंजीनियर्स संघ के अध्यक्ष एनडी द्विवेदी ने भी इसे अव्यवहारिक करार दिया है। कहा कि नव निर्माण एवं मिसिंग लिंक आदि योजनाओं में प्रस्ताव प्रेषित किए जाने के पूर्व प्रस्तावित मार्ग का विस्तृत सर्वे कर डाटा एकत्रित किया जाना आवश्यक होता है। इसके लिए पर्याप्त समय की आवश्यकता होती है। जल्दीबाजी में कार्य योजना से कार्य के साथ इंसाफ नहीं हो पाएगा। उधर, अभियंताओं का तर्क है कि नव निर्माण कार्य के लिए यह देखना होता है कि कहां, क्या और कितना निर्माण कराना है। लागत कितनी आएगी। इसके लिए पर्याप्त समय चाहिए होता है। जल्दीबाजी में बनाई गई कार्य योजना में कोई भी कमी या गड़बड़ी होती है तो संबंधित कार्य गुणवत्तापूर्ण नहीं हो पाएगा। लागत को लेकर भी सवाल उठ सकते हैं। निर्माण कार्य में यदि कोई गड़बड़ी होती है तो संबंधित अभियंता को ही इसका जिम्मेदार ठहराया जाएगा। निर्माण कार्य खराब होने पर धनराशि भी बेकार जाएगी, जनता के साथ इंसाफ नहीं हो पाएगा। विभाग की छवि भी खराब होगी।
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