बलरामपुर में मंदिर के पुजारी की गोली मारकर हत्या, एक दिन पहले ढूंढते हुए आए थे 2 युवक, जांच में जुटी पुलिस
बलरामपुर के नगर कोतवाली क्षेत्र अन्तर्गत एक गांव में गुरुवार सुबह मंदिर पुजारी का शव पड़ा मिला। पुजारी की हत्या गोली मारकर की गई है। शव मिलने से मोहल्ले में सनसनी फैल गई। पुजारी को दो लोग बुधवार शाम के वक्त ढूंढने मंदिर गए थे।

यूपी के बलरामपुर में एक सनसनीखेज मामला सामने आया है। जहां नगर कोतवाली क्षेत्र अन्तर्गत दिपवा बाग बांध निकट गुरुवार सुबह मंदिर पुजारी का शव पड़ा मिला। पुजारी की हत्या गोली मारकर की गई है। शव मिलने से मोहल्ले में सनसनी फैल गई। पुजारी को दो लोग बुधवार शाम के वक्त ढूंढने मंदिर गए थे। वे पुजारी का फोन नंबर उसके भाई से लाये थे। पुलिस मामले की छानबीन में जुटी है। मौके पर फॉरेंसिक टीम ने वैज्ञानिक तरीके से साक्ष्य जुटाए हैं। पुजारी के भाई ने तहरीर में एक व्यक्ति को नामजद किया है। जबकि घटना में कई लोगों के शामिल होने की संभावना जताई जा रही है। कातिलों की गिरफ्तारी के लिए तीन पुलिस टीम बनाई गई है। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के लिए भेजा है।
कोतवाली नगर के मोहल्ला खलवा के रहने वाले 28 वर्षीय शत्रोहन द्विवेदी उर्फ बाबू झारखंडी मंदिर स्थित राधाकृष्ण मंदिर में पुजारी थे। उनके पिता कृष्ण कुमार व भाई सेवक दास उर्फ मुन्ना पंडित भी वहीं पुजारी का काम करते हैं। सेवक दास के मुताविक बुधवार शाम दो लोग मंदिर आए थे। जो बाबू के बारे में पूछताछ कर रहे थे। बाबू का मोबाइल नम्बर मांग रहे थे। उनका परिचय और बाबू से क्या काम है पूछने पर बिना बताए चले गए। सेवक दास ने उन्हें बाबू का फोन नंबर दे दिया था। रात में बाबू घर नहीं लौटे तो खोजबीन शुरू हुई लेकिन उनका कुछ पता नहीं चल सका।
बुधवार रात बाबू के पिता कृष्ण कुमार द्विवेदी की तबीयत खराब हो गई थी उन्हें अस्पताल ले जाना था। सेवक दास ने रात डेढ़ बजे बाबू को फोन मिलाया तो स्वीच ऑफ मिला। खलवा मोहल्ला से दिपवाबाग की दूरी बमुश्किल 200 मीटर है। खलवा मोहल्ले के लोग दिपवाबाग निकट खेती किसानी का काम करते हैं। सुबह कुछ लोग खेत की ओर घूमने गए थे तो वहां उन्होंने बाबू का शव पड़ा देखा। घटना की सूचना सेवक दास को दी गई। बाबू के मृत पाए जाने की सूचना पर उनके परिवारीजन रोने विलखने लगे। मौके पर जाकर देखा तो शव का बाबू का ही था। सीने में सुराख था, उसके चारो ओर जलने के निशान थे। घटना की सूचना पुलिस को दी गई। शव को पोस्टमार्टम भेज पुलिस कातिलों की तलाश कर रही है।
24 घंटे के भीतर घटना राजफाश कर गिरफ्तारी का निर्देश
सूचना मिलते ही प्रभारी कोतवाल संतोष कुमार, उप निरीक्षक अजीत कुमार, अर्जुन सिंह व अन्य पुलिस कर्मी मौके पर पहुंचे। थोड़ी ही देर में सीओ सिटी ज्योति श्री फोरेंसिक टीम के साथ घटना स्थल पर पहुंच गईं। फोरेंसिक टीम ने घटना स्थल से वैज्ञानिक साक्ष्य एकत्रित किए। वरिष्ठ नेता भुवन प्रताप सिंह व प्रवेश दूबे मोनू भी मौके पर पहुंच गए। घटना की सूचना पुलिस अधीक्षक विकास कुमार को दी गई। उन्होंने घटना राजफाश के लिए पुलिस की तीन टीमें गठित की हैं। 24 घंटे के भीतर घटना राजफाश कर गिरफ्तारी का निर्देश दिया है।
315 बोर तमंचे को सीने से सटाकर दागी गई गोली
पुलिस टीम ने झारखंडी मंदिर के निकट कई सीसीटीवी कैमरों के फुटेज निकाले हैं। जो लोग बाबू को बुलाने गए थे, उनकी पहचान भी पुलिस ने कर ली है। बताया जाता है कि अभियुक्तों ने बाबू को फोन किया तो पता चला कि वह मेजर चौराहे पर हैं। वहीं से उन्हें जबरदस्ती मोटरसाइकिल पर बैठाकर दिपवाबाग की ओर लेकर चले गए। घटना क्यों की गई इसका पता अभी तक नहीं चल सका है। बाबू को करीब से गोली मारी गई है। जानकारों की मानें तो 315 बोर के तमंचे को सीने से सटाकर फायर किया गया है। मौके पर काफी खून बिखरा पड़ा मिला है। पुलिस अधीक्षक विकास कुमार ने बताया कि अभियुक्तों की शीघ्र ही गिरफ्तारी कराई जाएगी।
पोस्टमार्टम रिपोर्ट आने के बाद कार्रवाई आगे बढ़ेगी। वहीं मुन्ना ने बताया कि उनके भाई की किसी से दुश्मनी नहीं थी। उसके बेगुनाह होने के बावजूद बेरहमी से कत्ल किया गया है। कृष्ण कुमार द्विवेदी के चार पुत्र थे, जिसमें से दो की पहले ही मौत हो चुकी है और तीसरे का कत्ल कर दिया गया है। अब केवल परिवार में मुन्ना ही बचे हैं। बाबू का यज्ञोपवीत संस्करण हो चुका था, विवाह होना शेष था।