Pensioners in Simri Bakhtiyarpur Demand Separate Banking Facilities and Pension Revisions बोले सहरसा : पेंशनरों की सुविधा के लिए बैंकों में हो अलग व्यवस्था, Bhagalpur Hindi News - Hindustan
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बोले सहरसा : पेंशनरों की सुविधा के लिए बैंकों में हो अलग व्यवस्था

सिमरी बख्तियारपुर, सलखुआ और बनमा ईटहरी प्रखंड के 200 से अधिक पेंशनरों ने अपनी समस्याएं साझा की हैं। पेंशन के लिए बैंकों में अलग काउंटर की कमी और ऑनलाइन जीवन प्रमाण पत्र जमा करने में कठिनाई का सामना...

Newswrap हिन्दुस्तान, भागलपुरFri, 30 May 2025 10:08 PM
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बोले सहरसा : पेंशनरों की सुविधा के लिए बैंकों में हो अलग व्यवस्था

अनुमंडल के सिमरी बख्तियारपुर, सलखुआ एवं बनमा ईटहरी प्रखंड के पेंशनर समाज की संख्या लगभग 2 सौ से अधिक है। इनका कहना है कि हमने जिंदगी भर सरकार की सेवा की, अब बुढ़ापे में हमारी कोई सुनवाई नहीं। हर माह की पहली तारीख को आंखें टिका कर बैंक की ओर देखते हैं। लेकिन बैंकों में पेंशनर धारकों के पेंशन भुगतान के लिए अलग से कोई काउंटर नहीं बनाया गया है। लाचार पेंशन धारक कई किलोमीटर दूर से चलकर अपने परिजन के साथ साइकिल या अन्य वाहन से बैंक पहुंचते हैं। यहां भी परेशानी होने पर दिक्कत होती है। हिन्दुस्तान के साथ संवाद के दौरान वृद्धजनों ने अपनी समस्याएं साझा की।

02 सौ से अधिक पेंशनरों की संख्या है सिमरी अनुमंडल में 01 तारीख को हर महीने पेंशन लेने के लिए बैंक में पेंशनरों को होती है परेशानी 70 की जगह आयुष्मान सेवा के लिए 60 वर्ष उम्र करने की मांग अनुमंडल के सिमरी बख्तियारपुर, सलखुआ एवं बनमा ईटहरी प्रखंड में सैकड़ों पेंशनर समाज के लोग हैं। इन लोगों की समस्या अलग है। इन लोगों का कहना कि हमने जीवन के 35 साल सरकार को दिए, आज दो वक्त की रोटी और दवा के लिए तरस रहे हैं। यह सिर्फ एक व्यक्ति नहीं बल्कि सिमरी बख्तियारपुर के सैकड़ो पेंशनरों की सामूहिक वेदना है। कभी स्कूलों में शिक्षा दी सरकार में योजनाएं चलाई अस्पतालों में सेवाएं दी, लेकिन आज के बुढ़ापे में पेंशन की प्रतीक्षा में उदास आंखों से बैंक की कतार में खड़े हैं। पेंशनर समाज के लोगों ने कहा कि कभी तकनीकी खामी, कभी प्रक्रिया की जटिलता हर बार पेंशनर ही त्रस्त होता है। हमें ना मोबाइल चलाना आता है, ना इंटरनेट समझ में आता है। फिर भी हर साल ऑनलाइन जीवन प्रमाण पत्र जमा करना पड़ता है। साइबर कैफे और प्राइवेट एजेंटों के भरोसे जीवन प्रमाण देना बुजुर्गों के लिए भारी पड़ रहा है। बुजुर्ग अवस्था में जहां मुफ्त इलाज और सुलभ दवाएं मिलनी चाहिए, वहीं सरकारी अस्पतालों की बदहाली और महंगी दवाओं की समस्या पेंशनरों की जेब पर भारी पड़ रही है। न बिजली बिल की भरपाई होती है, न दवा का खर्च निकलता है। नई अंशदायी पेंशन योजना से असंतोष है। पेंशनर समाज लगातार पुरानी पेंशन योजना की बहाली की मांग कर रहा है। यह केवल पेंशन नहीं, हमारे भविष्य की सुरक्षा है। पेंशनर समाज के लोगों ने कहा कि हम लोगों को 70 वर्ष के उम्र के बाद स्वास्थ्य लाभ दिया जाता है। उसे 60 वर्ष के उम्र तक किया जाएं। आयुष्मान भारत योजना के तहत सभी वृद्ध जनों का स्वास्थ्य कार्ड बनता है। हम लोगों का भी बनना चाहिए। सरकार ने इसे 70 वर्ष के उम्र निर्धारित किया गया है। जो गलत है। पेंशन पुनरीक्षण को 3.68 गुणक किया जाए पेंशन पुनरीक्षण के 2.7 गुणक के प्रावधान को बदलकर 3.68 किया जाए। पेंशनरों के उम्र को देखते हुए पेंशन में वृद्धि का प्रावधान करते हुए 80 वर्ष में किया गया है। जिसे 65 वर्ष से 5 साल के अंतराल पर 20% की बढ़ोतरी करते हुए 85 साल में 100 प्रतिशत किया जाए। अनुमंडल के जितने भी पेंशननर है जिसकी उम्र 80 वर्ष हो चुकी है। उसे 20 परसेंट का लाभ दिया जाए। लाचार पेंशनधारी को बैंक द्वारा सुविधा युक्त पेंशन का प्रावधान किया जाए। पेंशनधारी को बैंक में महीने में अंतिम एवं महीने के 1 तारीख को एक काउंटर पर भुगतान की व्यवस्था करना सुनिश्चित किया जाए। पेंशनरों के खाते से इनकम टैक्स कटौती पर लगे रोक बहुत से पेंशनरों के खाते में इनकम टैक्स द्वारा पेंशन से कटौती कर दी गई है जो इनकम टैक्स के दायरे के बाहर हैं। उसका समाधान किया जाए। कई समस्याएं विद्यमान हैं। पेंशन धारक कई किलोमीटर दूर से चलकर अपने परिजन के साथ या साइकिल या अन्य वाहन से चलकर बैंक पहुंचते हैं। लेकिन उनकी सुविधाओं का ख्याल यहां नहीं रखा जाता है। घंटों लाइन में खड़ा रहना पड़ता है। इसके अलावा भी पेंशनधारकों को सरकार की तरफ से कई अपेक्षाएं हैं। शिकायत 1. पेंशनधारकों को बैंक में अलग काउंटर नहीं रहने से घंटों लाइन में खड़े रहना पड़ता है। 2. हर वर्ष ऑनलाइन जीवन प्रमाण पत्र जमा करने में परेशानी । 3. महंगी दवा से पेंशनरों के महंगे इलाज ने मुश्किलें बढ़ा दी हैं। 4. इनकम टैक्स की अनुचित कटौती से पेंशनरों की बढ़ी परेशानी। सुझाव 1. पेंशनधारकों को पेंशन के लिए बैंकों में अलग से सुविधाजनक व्यवस्था हो । 2. आयुष्मान में वृद्धजनों को 60 वर्ष की उम्र से स्वास्थ्य लाभ मिले। 3. पेंशन पुनरीक्षण में बढ़ोतरी 2.7 स्थान पर 3.68 गुणक लागू हो । 4. माह के अंत व 1 तारीख को पेंशन के लिए अलग व्यवस्था हो। हमारी भी सुनें महिला पेंशनरों के लिए पेंशन भुगतान हेतु अलग से बैंक में काउंटर की अलग व्यवस्था की जाए। जिससे परेशानी कम हो। गीता देवी लाचार पेंशन धारकों को सुविधा पूर्वक पेंशन देने का प्रावधान किया जाए। बैंकों में उन्हें विशेष सुविधा प्रदान की जाए। ब्रह्मदेव यादव पेंशनर धारक उम्र के साथ परेशानी में रहते हैं। इसलिए घर तक जाकर भुगतान की व्यवस्था सुनिश्चित हो। मो. कलाम पेंशन में वृद्धि का प्रावधान जो 80 वर्ष में किया जाता है। उसे 65 साल करें। 5 साल के अंतराल पर 20 प्रतिशत की बढ़ोतरी, 85 साल में शत प्रतिशत हो। कालेश्वर प्रसाद पेंशनरों को पुरानी पेंशन व्यवस्था को हूबहू पूर्व की तरह लागू किया जाए। ताकि पेंशनर को आजीविका में सुविधा मिले । सुरेद्र प्रसाद पेंशनर के लिए बैंक में महीने के अंतिम दिनों में एक काउंटर पर अलग से भुगतान करने की व्यवस्था सुनिश्चित की जाए। लटुरन तांती पेंशनरों की समस्या का बैंक से लेकर सरकारी प्रतिष्ठान में प्राथमिकता के अनुसार समाधान किया जाना चाहिए। विधाननंद भगत बहुत से पेंशनरों के खाते से इनकम टैक्स द्वारा पेंशन से कटोती कर ली गई है। जो इनकम टैक्स के दायरे से बाहर हैं। उन्हें तुरंत खाते में लौटाने की व्यवस्था की जाए। नागेश्वर रजक पेंशनरों को कम से कम 26 हजार एवं न्यूनतम पेंशन कम से कम 18 हजार किया जाएं। जिससे उनकी स्थिति में सुधार हो सके। देवनारायण तांती बैंकों में पेंशनरों की सुविधा के लिए परिसर के नीचे स्टॉल लगाया जाए। ताकि बीमार लाचार को सुविधा हो सके। कमलेश्वरी प्रसाद यादव रेलवे में सीनियर सिटीजन की सुविधा में कटौती कर दी गई है। उसे पुनः पूर्व के अनुसार किया जाए। सुविधा मिले। जयनारायण साह सभी पेंशनरोंको आयुष्मान भारत योजना के तहत उम्र 60 वर्ष से शुरू किया जाए। जबकि पेंशनरों को यह योजना 70 वर्ष उम्र के बाद लागू की जाती है। बाल बोध प्रसाद सिंह पेंशन पुनरीक्षण की गणना 2.57 के गुणक करने के प्रावधान को बदल कर 3.68 करने का प्रावधान किया जाए। शत्रुघ्न प्रसाद सभी लाचार एवं बेबस पेंशनरों को बैंकों में रैंप की व्यवस्था की जाए। वहीं व्हील चेयर व अन्य सुविधा की भी व्यवस्था हो। दारोगा प्रसाद यादव पेंशनरों की सुविधा के लिए बस में आवाजाही के लिए न्यूनतम शुल्क का प्रावधान किया जाए। सरकारी बस चलायी जाए। मो. गयासुद्दीन बैंक में पेंशनरों के लिए अलग से बैठने की व्यवस्था की जाए। शाखा प्रबंधक द्वारा उनकी समस्याओं का समाधान प्राथमिकता से किया जाए। राजेंद्र कुमार बोले जिम्मेदार पेंशनरों की सुविधा के लिए सरकार की योजनाएं चल रही हैं। उनकी समस्या के समाधान के लिए प्रयास किया जाएगा। अगर पेंशनरों की कोई समस्या हो तो वह कार्यालय में आकर मिल सकते हैं। इस संबंध में बैंकों को भी निर्देशित किया जाएगा। बैंकों से उन्हें सुविधा देने को कहा जाएगा। -जयकिशन, प्रखंड विकास पदाधिकारी, सिमरी बख्तियारपुर।

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