खालसा साजना दिवस पर सजाया गया दीवान
हजारीबाग में खालसा साजना दिवस और वैसाखी पर्व के अवसर पर, गुरु गोबिंद सिंह जी के संदेशों का सम्मान किया गया। गुरु साहब ने जात-पात और भेदभाव से परे मानवता, सेवा, और साहस के मूल्यों की नींव रखी। इस दिन...

हजारीबाग, वरीय संवाददाता। सिक्खों के दसवें गुरु श्री गुरु गोबिंद सिंह के खालसा पंथ की स्थापना के पावन अवसर खालसा साजना दिवस और वैसाखी पर्व पर देशभर में उल्लास और श्रद्धा का माहौल है। इस विशेष दिन पर देशवासियों को शुभकामनाएं देते हुए यह संदेश दिया गया कि गुरु गोबिंद सिंह जी ने जात-पात, वर्ग और भेदभाव से परे एक ऐसे पंथ की नींव रखी जो मानवता, सेवा, और साहस के मूल्यों पर आधारित है। गुरु साहब के जीवन और उनके संदेश आज भी प्रेरणा का स्रोत हैं। उन्होंने लोगों को सही राह पर चलने और अन्याय के खिलाफ डटकर खड़े होने की शिक्षा दी। खालसा पंथ की स्थापना केवल धार्मिक नहीं, बल्कि सामाजिक चेतना का भी प्रतीक है, जिसने लोगों को एक नई पहचान और आत्मबल प्रदान किया।
इस मौके पर वाहेगुरु जी से अरदास की गई कि सभी के जीवन में सुख, शांति और खुशहाली बनी रहे। साथ ही यह भी आह्वान किया गया कि हम सब गुरु साहब के दिखाए मार्ग पर चलकर समाज में समरसता और भाईचारे को मजबूत करें।
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