pm modi in mann ki baat maha kumbh bastar olympic महाकुंभ में AI करेगा कमाल, साल के आखिरी 'मन की बात' में क्या बोले पीएम मोदी, India Hindi News - Hindustan
Hindi Newsदेश न्यूज़pm modi in mann ki baat maha kumbh bastar olympic

महाकुंभ में AI करेगा कमाल, साल के आखिरी 'मन की बात' में क्या बोले पीएम मोदी

  • साल के आखिरी मन की बात कार्यक्रम में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बस्तर ओलंपिक और महाकुंभ की व्यवस्ताओं पर चर्चा की। पीएम मोदी ने कहा कि महाकुंभ का संदेश एक हो पूरा देश और गंगा की अविरल धारा न बंटे समाज हमारा' का पूरा देश को संदेश देगा।

Ankit Ojha लाइव हिन्दुस्तानSun, 29 Dec 2024 01:06 PM
share Share
Follow Us on
महाकुंभ में AI करेगा कमाल, साल के आखिरी 'मन की बात' में क्या बोले पीएम मोदी

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि जिस नक्सली क्षेत्र में डर का माहौल रहता था वहां अब ''बस्तर ओलंपिक'' जैसे खेल कुंभ का आयोजन हो रहा है जो खेल प्रतिभाओं को सामने लाकर देश मे बदलाव का सबसे बड़ा प्रतीक बन गया है। पीएम मोदी ने आकाशवाणी से प्रसारित अपने मासिक कार्यक्रम 'मन की बात' की 117वीं कड़ी में रविवार को कहा कि देश में ऐसे अनोखे खेल कार्यक्रम आयोजित हो रहे हैं जो हमारे देश में बदलाव और युवा साथियों के जोश एवं जज्बे के प्रतीक हैं। प्रधानमंत्री ने प्रयागराज कुंभ का जिक्र करते हुए कहा कि यह न केवल विशाल और भव्य होगा बल्कि अनेकता में एकता का संदेश देते हुए पूरे कुंभ क्षेत्र में पहली बार डिजिटल व्यवस्था का प्रदर्शन होगा। पीएम मोदी ने कहा कि अगले माह प्रयागराज में महाकुंभ हो रहा है जो देश की विविधता और भव्यता को प्रदर्शित कर 'महाकुंभ का संदेश एक हो पूरा देश और गंगा की अविरल धारा न बंटे समाज हमारा' का पूरा देश को संदेश देगा।

उन्होंने कहा 'हमारे बस्तर में एक अनूठा ओलंपिक शुरू हुआ है। जी हाँ, पहली बार हुए बस्तर ओलंपिक से बस्तर में एक नई क्रांति जन्म ले रही है। मेरे लिए ये बहुत ही खुशी की बात है कि बस्तर ओलंपिक का सपना साकार हुआ है। आपको भी ये जानकार अच्छा लगेगा कि यह उस क्षेत्र में हो रहा है जो कभी माओवादी हिंसा का गवाह रहा है। बस्तर ओलंपिक का शुभंकर है – ''वन भैंसा'' और ''पहाड़ी मैना''। इसमें बस्तर की समृद्ध संस्कृति की झलक दिखती है। इस बस्तर खेल महाकुंभ का मूल मंत्र है–''करसाय ता बस्तर बरसाए ता बस्तर'' यानि ''खेलेगा बस्तर–जीतेगा बस्तर''।

पहली ही बार में बस्तर ओलंपिक में सात जिलों के एक लाख 65 हजार खिलाड़ियों ने भाग लिया है। यह सिर्फ एक आंकड़ा नहीं– हमारे युवाओं के संकल्प की गौरव-गाथा है। एथलेटिक, तीरंदाजी, बैडमिंटन, फुटबॉल, हॉकी, वेटलिफ्टिंग, कराटे, कबड्डी, खो-खो और वालीबाल –हर खेल में हमारे युवाओं ने अपनी प्रतिभा का परचम लहराया है।''

PM मोदी ने प्रतिभाओं की कहानी सुनाई और कहा 'कारी कश्यप जी की कहानी मुझे बहुत प्रेरित करती है। एक छोटे से गांव से आने वाली कारी जी ने तीरंदाजी में रजत पदक जीता है। वे कहती हैं–बस्तर ओलंपिक ने हमें सिर्फ खेल का मैदान ही नहीं, जीवन में आगे बढ़ने का अवसर दिया है। सुकमा की पायल कवासी जी की बात भी कम प्रेरणादायक नहीं है। भाला फेंक में स्वर्ण पदक जीतने वाली पायल जी कहती हैं–अनुशासन और कड़ी मेहनत से कोई भी लक्ष्य असंभव नहीं है।

सुकमा के दोरनापाल के पुनेम सन्ना जी की कहानी तो नए भारत की प्रेरक कथा है। एक समय नक्सली प्रभाव में आए पुनेम जी आज व्हीलचेयर पर दौड़कर मेडल जीत रहे हैं। उनका साहस और हौसला हर किसी के लिए प्रेरणा है। कोडागांव के तीरंदाज रंजू सोरी जी को ''बस्तर यूथ आईकॉन'' चुना गया है। उनका मानना है–बस्तर ओलंपिक दूरदराज के युवाओं को राष्ट्रीय मंच तक पहुंचाने का अवसर दे रहा है।'

उन्होंने कहा ''बस्तर ओलंपिक केवल एक खेल आयोजन नहीं है। यह एक ऐसा मंच है जहां विकास और खेल का संगम हो रहा है। जहां हमारे युवा अपनी प्रतिभा को निखार रहे हैं और एक नए भारत का निर्माण कर रहे हैं। मैं आप सभी से आग्रह करता हूँ कि अपने क्षेत्र में ऐसे खेल आयोजनों को प्रोत्साहित करें। खेलेगा भारत–जीतेगा भारत के साथ अपने क्षेत्र की खेल प्रतिभाओं की कहानियां साझा करें। स्थानीय खेल प्रतिभाओं को आगे बढ़ने का अवसर दें। याद रखिए, खेल से न केवल शारीरिक विकास होता है बल्कि ये खिलाड़ी की स्प्रिट से समाज को जोड़ने का भी एक सशक्त माध्यम है। तो खूब खेलिए-खूब खिलिए।''

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि इस बार प्रयागराज महाकुंभ न केवल विशाल और भव्य होगा बल्कि अनेकता में एकता का संदेश देते हुए पूरे कुंभ क्षेत्र में पहली बार डिजिटल व्यवस्था का प्रदर्शन होगा। पीएम मोदी ने कहा कि अगले माह प्रयागराज में महाकुंभ हो रहा है जो देश की विविधता और भव्यता को प्रदर्शित कर 'महाकुंभ का संदेश एक हो पूरा देश और गंगा की अविरल धारा न बंटे समाज हमारा' का पूरा देश को संदेश देगा।

उन्होंने कहा 'अगले महीने 13 तारीख से प्रयागराज में महाकुंभ होने जा रहा है। इस समय वहां संगम तट पर जबरदस्त तैयारियाँ चल रही हैं। मुझे याद है अभी कुछ दिन पहले जब मैं प्रयागराज गया था तो हेलिकॉप्टर से पूरा कुंभ क्षेत्र देखकर दिल प्रसन्न हो गया था। इतना विशाल, इतना सुंदर, इतनी भव्यता। महाकुंभ की विशेषता केवल इसकी विशालता में ही नहीं है, कुंभ की विशेषता इसकी विविधता में भी है। इस आयोजन में करोड़ों लोग एक साथ एकत्रित होते हैं। लाखों संत, हजारों परम्पराएँ, सैकड़ों संप्रदाय, अनेकों अखाड़े, हर कोई इस आयोजन का हिस्सा बनता है। कहीं भेदभाव नहीं दिखता, कोई बड़ा नहीं होता, कोई छोटा नहीं होता। अनेकता में एकता का ऐसा दृश्य विश्व में कहीं और देखने को नहीं मिलेगा। इसलिए हमारा कुंभ एकता का महाकुंभ भी होता है। इस बार का महाकुंभ भी एकता के महाकुंभ के मंत्र को सशक्त करेगा। मैं आप सबसे कहूँगा जब हम कुंभ में शामिल हों तो एकता के इस संकल्प को अपने साथ लेकर वापस आयें। हम समाज में विभाजन और विद्वेष के भाव को नष्ट करने का संकल्प भी लें। कम शब्दों में कहूँ-महाकुंभ का संदेश, एक हो पूरा देश। और अगर दूसरे तरीके से कहना है तो मैं कहूँगा...गंगा की अविरल धारा, न बँटे समाज हमारा।''

प्रधानमंत्री ने कहा 'इस बार प्रयागराज में देश और दुनिया के श्रद्धालु डिजिटल महाकुंभ के भी साक्षी बनेंगे। डिजिटल नेविगेशन की मदद से आपको अलग-अलग घाट, मंदिर, साधुओं के अखाड़ों तक पहुँचने का रास्ता मिलेगा। यही नेविगेशन सिस्टम आपको पार्किंग तक पहुँचने में भी मदद करेगा। पहली बार कुंभ आयोजन में ''एआई चैटबोट'' का प्रयोग होगा। इसके माध्यम से 11 भारतीय भाषाओं में कुंभ से जुड़ी हर तरह की जानकारी हासिल की जा सकेगी। इस चैटबोट से कोई भी टेक्स्ट टाइप करके या बोलकर किसी भी तरह की मदद मांग सकता है।''

उन्होंने कहा ''पूरा मेला क्षेत्र को आई पावरड कैमरों से कवर किया जा रहा है। कुंभ में अगर कोई अपने परिचित से बिछड़ जाएगा तो इन कैमरों से उन्हें खोजने में भी मदद मिलेगी। श्रद्धालुओं को डिजिटल आधारित खोया पाया केंद्र की सुविधा भी मिलेगी। श्रद्धालुओं को मोबाईल पर सरकार से मान्यता प्राप्त टूर पैकेज, ठहरने की जगह और होमस्टे के बारे में भी जानकारी दी जाएगी। आप भी महाकुंभ में जाएँ तो इन सुविधाओं का लाभ उठाएँ और हाँ एकता के महाकुंभ के साथ अपनी सेल्फी जरूर उपलोड करिएगा।''