Supreme Court committee investigating cash recovery controversy Delhi High Court judge Yashwant Verma जहां जलती मिली नोटों की गड्डी, वहां पहुंचे तीन जज; यशवंत वर्मा के घर आधे घंटे तक जांच, India Hindi News - Hindustan
Hindi Newsदेश न्यूज़Supreme Court committee investigating cash recovery controversy Delhi High Court judge Yashwant Verma

जहां जलती मिली नोटों की गड्डी, वहां पहुंचे तीन जज; यशवंत वर्मा के घर आधे घंटे तक जांच

  • जस्टिस यशवंत वर्मा के आधिकारिक आवास में 14 मार्च को रात करीब 11.35 बजे आग लग गई थी। इसके बाद अग्निशमन अधिकारी मौके पर पहुंचे और आग बुझाई। इस दौरान भारी मात्रा में नकदी बरामद हुई थी।

Niteesh Kumar भाषाTue, 25 March 2025 04:52 PM
share Share
Follow Us on
जहां जलती मिली नोटों की गड्डी, वहां पहुंचे तीन जज; यशवंत वर्मा के घर आधे घंटे तक जांच

सुप्रीम कोर्ट की ओर से गठित 3 सदस्यीय आंतरिक समिति ने दिल्ली उच्च न्यायालय के जज यशवंत वर्मा से जुड़े नकदी बरामदगी विवाद की जांच मंगलवार को शुरू कर दी। सूत्रों ने यह जानकारी दी। समिति में पंजाब व हरियाणा हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस शील नागू, हिमाचल प्रदेश उच्च न्यायालय के मुख्य न्यायाधीश जी एस संधावालिया और कर्नाटक उच्च न्यायालय की न्यायाधीश अनु शिवरामन शामिल हैं। सूत्रों ने बताया कि समिति के तीनों सदस्य न्यायमूर्ति वर्मा के 30, तुगलक क्रीसेंट स्थित आधिकारिक आवास पहुंचे। उन्होंने कहा कि तीनों जज करीब 30-35 मिनट तक न्यायमूर्ति वर्मा के आधिकारिक आवास के अंदर रहे और जांच किया।

ये भी पढ़ें:जस्टिस वर्मा के खिलाफ महाभियोग लाओ, HC बार एसोसिएशन की चीफ जस्टिस से मांग
ये भी पढ़ें:वकीलों के विरोध के बाद भी इलाहाबाद HC जाएंगे वर्मा! कामरा मामले में बड़ा ऐक्शन

जस्टिस यशवंत वर्मा के आधिकारिक आवास में 14 मार्च को रात करीब 11.35 बजे आग लग गई थी। इसके बाद अग्निशमन अधिकारी मौके पर पहुंचे और आग बुझाई। इस दौरान भारी मात्रा में नकदी बरामद हुई थी। इस घटना के बाद 22 मार्च को भारत के चीफ जस्टिस संजीव खन्ना ने न्यायमूर्ति वर्मा के खिलाफ आरोपों की आंतरिक जांच करने के लिए तीन सदस्यीय समिति गठित की। जस्टिस वर्मा ने नकदी के आरोपों का खंडन करते हुए कहा कि उनके या उनके परिवार के किसी भी सदस्य की ओर से स्टोररूम में कभी भी नकदी नहीं रखी गई।

यशवंत वर्मा ने अपने जवाब में क्या कहा

दिल्ली हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस डीके उपाध्याय को सौंपे गए अपने जवाब में न्यायमूर्ति वर्मा ने कहा कि उनके आवास पर नकदी मिलने के आरोप उन्हें फंसाने और बदनाम करने की साजिश मालूम होते हैं। वहीं, इस मामले को लेकर राज्यसभा के कुछ सदस्यों की ओर से संसद में चर्चा की मांग गई। इसे देखते हुए सभापति जगदीप धनखड़ ने मंगलवार को घोषणा की कि वे इस मुद्दे पर शाम साढ़े 4 बजे विभिन्न दलों के नेताओं के साथ बैठक कर कुछ निर्णय करेंगे। उच्च सदन की बैठक शुरू होने पर सभापति धनखड़ ने बताया कि उन्हें विभिन्न मुद्दों पर नियम 267 के तहत, नियत कामकाज स्थगित कर चर्चा करने के लिए 8 नोटिस मिले हैं जिन्हें उन्होंने खारिज कर दिया है। धनखड़ ने बताया कि उन्होंने सोमवार को सदन के नेता जेपी नड्डा और विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे से बहुत ही महत्वपूर्ण मुद्दे पर मुलाकात की थी। उन्होंने कहा, ‘यह मुद्दा निस्संदेह काफी गंभीर है।’