Severe Water Crisis Hits Smart City Faridabad Amid Rising Summer Heat कॉलोनियों के साथ पॉश सेक्टरों में गहराया पेयजल संकट, Faridabad Hindi News - Hindustan
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कॉलोनियों के साथ पॉश सेक्टरों में गहराया पेयजल संकट

गर्मी शुरू होते ही फरीदाबाद में पेयजल संकट गहरा गया है। पॉश सेक्टरों सहित कई कॉलोनियों में लोग प्राइवेट टैंकरों से पानी खरीदने को मजबूर हैं। नगर निगम द्वारा किए गए वादे और इंतजाम विफल साबित हुए हैं,...

Newswrap हिन्दुस्तान, फरीदाबादFri, 25 April 2025 11:00 PM
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कॉलोनियों के साथ पॉश सेक्टरों में गहराया पेयजल संकट

फरीदाबाद, वरिष्ठ संवाददाता। गर्मी शुरू होते ही स्मार्ट सिटी में पेयजल संकट गहराने लगा है। यह संकट सिर्फ कॉलोनियों तक सीमित नहीं रहा, बल्कि अब शहर के पॉश सेक्टर भी इसकी चपेट में आ गए हैं, जिससे लोग प्राइवेट टैंकरों से पानी खरीद कर पीने को मजबूर हैं। शहर में यमुना किनारे लगे 22 रेनीवेल ओर करीब 1750 ट्यूबवेलों से पानी की आपूर्ति की जाती है। फरीदाबाद महानगर विकास प्राधिकरण और नगर निगम ने गर्मियां शुरू होने से पहले दावा किया था की इस बार पेयजल की कोई समस्या नहीं होगी। इसके लिए खराब ट्यूबवेलों को ठीक कराया गया है। यमुना किनारे गांव में 15 नए ट्यूबवेल लगाए गए हैं। लेकिन तपती गर्मी शुरू होने से पहले ही पेयजल संकट बढ़ना शुरू हो गया है। पॉश इलाका सेक्टर-21सी स्थित सद्भावना और मानव रचना पॉकेट में करीब 500 परिवार रहते हैं। यहां पिछले 15 दिनाें से पानी की समस्या काफी बढ़ गई है। दो-दो दिन में पानी आ रहा है। ऐसे में लोग प्राइवेट टैंकरों से पानी खरीद कर पीने को मजबूर हैं। इसी प्रकार सेक्टर 37 के लोगों को पेयजल की गंभीर समस्या का सामना कर रहे हैं। यही हालत सेक्टर-3, 8, 10, 16 और आईपी कॉलोनी में बनी हुई है।

इन इलाकों में हालात सबसे खराब

शहर के सेक्टर 37 में हालात सबसे ज्यादा खराब हैं, जहां पिछले एक महीने से जल आपूर्ति बुरी तरह प्रभावित है। आरडब्ल्यूए की वरिष्ठ उपाध्यक्ष आशा शर्मा ने बताया कि कभी एक दिन छोड़कर, तो कभी दो दिन बाद पानी आता है, वो भी इतना कम कि एक परिवार की बुनियादी जरूरतें पूरी नहीं हो पातीं। इस संबंध में नगर निगम अधिकारियों को कई बार बार पत्र लिखा गया है। नगर निगम के कर्मचारी सेक्टर में आकर कई बार मौका मुआयना कर चुके हैं। लेकिन पानी की आपूर्ति में कोई सुधार नहीं हुआ। ऐसे में पेयजल के लिए यहां के निवासियों को रात-रात भर जगना पड़ रहा है , फिर भी पानी नहीं मिल पा रहे है। लोग पानी के टैंकर पर निर्भर हैं। पानी के लिए आपस में लड़ाई झगडों तक की नौबत आ जाती है।

आईपी कॉलोनी में सप्लाई हो रहा बंदा पानी

आईपी कॉलोनी में गंदा सप्लाई हो है। यह न तो पीने के तो काबिल है और न नहाने और बर्तन धोने के भी लायक है। लोगों ने बताया कि कई बार नरग निगम से शिकायत की, लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ। इससे लोगों के स्वास्थ्य पर भी खतरा मंडरा रहा है।

सैनिक कॉलोनी में बुरा हाल

सैनिक कॉलोनी में पेयजल संकट से लोगों को राहत नहीं मिल रही है। नलों में पानी नहीं आने के चलते लोगों को सुबह नौकरी पर निकलने से पहले पानी के इंतजाम में निकलना पड़ता है, जिससे लोग काफी परेशान है।

टैंकरों का सहारा, जेब पर भारी पड़ रहा पानी

पानी की नियमित आपूर्ति न होने की वजह से लोग अब प्राइवेट टैंकरों का सहारा ले रहे हैं। टैंकरों से पानी मंगवाने में एक बार में 1100 से 1400 रुपये तक खर्च हो रहे हैं, जिससे लोगों की जेब पर बोझ बढ़ गया है। खासकर उन सेक्टरों में जहां फ्लैट सिस्टम है, वहां टैंकर से पानी भरवाना और वितरण कराना और भी चुनौतीपूर्ण हो गया है।

इंतजाम नहीं आ रहे हैं काम

नगर निगम और एफएमडीए द्वारा किए गए तमाम वादे और इंतजाम जमीनी हकीकत पर खरे नहीं उतर पा रहे हैं। गर्मियों से पहले पाइपलाइन मरम्मत, पेयजल सप्लाई ऑडिट और वैकल्पिक स्रोतों से पानी उपलब्ध कराने की योजनाएं बनाई गई थीं, लेकिन अब तक इनमें से कोई योजना प्रभावी नहीं हो सकी है। लोगों का कहना है कि न तो कोई समय पर निरीक्षण करता है, न ही शिकायतों का समाधान होता है। पानी के लिए दिनभर मशक्कत करनी पड़ती है। कुछ कॉलोनियों में तो हालात इतने खराब हैं कि लोग सुबह 4 बजे से लाइन में लगकर पानी भरने की कोशिश करते हैं, लेकिन फिर भी खाली हाथ लौटना पड़ता है।

लोगों से बातचीत

सेक्टर में पानी की समस्या काफी ज्यादा है। इसलिए प्रशासन से मांग की है कि पेयजल संकट का स्थायी समाधान निकाला जाए। भूजल स्तर का अध्ययन कर नई बोरिंग्स की जाएं, पुराने पाइपलाइन सिस्टम की मरम्मत कराई जाए और जरूरत पड़ने पर टैंकरों की संख्या बढ़ाई जाए।-केतन सूरी, महासचिव, पंजाबी सभा आईपी कॉलोनी

सेक्टर में पेयजल आपूर्ति दुरुस्त करने के लिए नगर निगम से मांग की गई है। इसके लिए निगम को कई बार पत्र भी लिखा गया है। पेयजल

महेंद्र शर्मा, प्रधान, आरडब्ल्यूए सेक्टर-21सी

सेक्टर में पिछले एक महीने से पानी की गंभीर समस्या है। कभी दो दिन बाद पानी आ रहा है तो अभी पांच दिन बाद। नगर निगम का टैंकर एक आता है तो पर पानी भरने वालों की भीड़ उमड़ पड़ती है। समस्या का स्थायी समाधान होना चाहिए। - आशा शर्मा, वरिष्ठ उपाध्यक्ष, आरडब्ल्यूए-सेक्टर-37

पानी का प्रेसर बहुत धीमा है, जिससे टंकी नहीं भर पाती है। इसके अलावा कई बार दो-दो दिन पानी नहीं आता है, जिससे लोगों को काफी समस्या का समाना करना पड़ रहा है। -एनके शर्मा, अध्यक्ष, आरडब्ल्यूए- बीपीटीपी विला

हमारी तरफ से रोजाना करीब 230 एमएलडी की पेयजल आपूर्ति की जा रही है। सेक्टर व कॉलोनियों तक सप्लाई की जिम्मेदारी नगर निगम की होती है। हालांकि आपूर्ति बढ़ाने के लिए रेनीवेल सहित अन्य इंतजाम किए जा रहे हैं। - विशाल बंसल, मुख्य अभियंता, एफएमडीए

गर्मियों में पानी की खपत बढ़ जाती है, जिसकी वजह से कुछ इलाकों में दिक्कत होती है। लेकिन लगातार प्रयास किए जा रहे हैं कि सप्लाई व्यवस्था को सुधारा जाए। - वीरेंद्र कर्दम, मुख्य अभियंता

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