वार्ड में जाकर पार्षदों के साथ समस्याओं पर चर्चा करेंगे निगम अधिकारी
गुरुग्राम नगर निगम ने वार्डों में समस्याओं को समाधान करने के लिए एक नई योजना शुरू की है। अब निगम अधिकारी, पार्षदों के कार्यालय में जाकर समस्याओं का समाधान करेंगे। इससे लोगों को निगम कार्यालय के चक्कर...

गुरुग्राम, कार्यालय संवाददाता। नगर निगम में अब निगम अधिकारी पार्षदों के पास जाकर उनके वार्डों में आ रही समस्याओं को जानेंगे। इसको लेकर निगम अधिकारी शाम पांच बजे के बाद अपने-अपने वार्ड पार्षदों के कार्यालय में जाकर उनकी समस्याओं को जानेंगे। निगम की इस योजना से अब लोगों को निगम कार्यालय के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। बता दें कि नगर निगम द्वारा शहर की समस्याओं को दूर करने के लिए अब पार्षदों की सहायता ली जाएगी। अब नगर निगम के एसडीओ और जूनियर इंजीनियर शाम पांच बजे के बाद अपने वार्ड के पार्षद के साथ चाय पर चर्चा करेंगे। इस दौरान वार्ड में होने वाले विकास कार्य और वार्ड में लोगों को रही समस्याओं को लेकर चर्चा की जाएगी।
इसके बाद अधिकारियों ने चर्चा में यह भी बताना होगा कि वह लोगों की समस्याओं का कब तक समाधान करवा देंगे। अब अगर किसी भी वार्ड के लोग मुख्य अभियंता के पास समस्याओं के लेकर शिकायत लेकर पहुंचेंगे तो संबधित जेई पर सख्त कार्रवाई होगी। ट्रायल के तौर पर तीन डिविजन में शुरू हुई है योजना नगर निगम की इंजीनियरिंग विंग ने इस योजना को लागू करने से पहले ट्रायल के तौर पर तीन डिविजन में इसको शुरू किया है। निगम के जोन-4 में डिविजन चार ए, चार-बी और एक-बी तीनों डिविजन में इस योजना को लागू करने की योजना बनाई है। इन तीनों डिविजन में जो भी वार्ड आ रहे हैं उनमें वार्ड अनुसार जिस भी जेई की ड्यूटी लगाई है वह जेई रोजाना शाम को वार्ड पार्षद के साथ उनके वार्ड की समस्याओं और उनके समाधान को लेकर चर्चा करेगा। इसके बाद जेई द्वारा पार्षद के साथ मिलकर पांच दिन में क्या काम किया है और कितनी समस्याओं का समाधान किया है इसको लेकर कार्यकारी अभियंता प्रत्येक शनिवार को सभी डिविजन के पार्षदों के साथ मिलकर बैठक करेंगे। उसमें अगर जेई या एसडीओ की कोई भी लापरवाही मिलती है तो उसी समय संबधित अधिकारी से जवाब मांगने के साथ कार्रवाई भी की जा सकती है। एक वार्ड में एक जेई को किया है नियुक्त नगर निगम की इंजीनियरिंग विंग ने पहली बार लोगों के हितों को ध्यान में रखते हुए योजना बनाई है। निगम ने हाल ही में इंजीनियरिंग विंग किए गए नए आदेशों में पहली बार ऐसा किया है कि अब एक वार्ड में एक ही जेई को तैनात किया गया है। एक पूरे वार्ड की जिम्मेदारी एक ही जेई पर रहेगी। अब जेई पर भी अतिरिक्त काम का बोझ और अतिरिक्त चार्ज का बोझ नहीं दिया गया है। अब जेई अपने वार्ड का खुद जिम्मेदार होगा। मुख्य अभियंता विजय ढाका ने सभी जेई को सख्त हिदायत दे दी है कि समस्याओं को लेकर अगर कोई भी व्यक्ति उनके पास पहुंचा तो संबधित जेई के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी। हालांकि इससे पहले निगम में एक जेई को कई-कई वार्ड का काम दिया हुआ था। इस कारण जेई कभी किसी वार्ड में तो कभी किसी वार्ड में घूमता रहता था। इस कारण वह किसी शिकायतकर्ताओं का फोन तक नहीं उठा पाते थे। लोगों को निगम दफ्तरों के नहीं लगाने होंगे चक्कर नगर निगम की इस योजना का सबसे बड़ा फायदा शहर के लोगों को मिलेगा। अब शहर के लोगों को अपनी समस्याओं के समाधान के लिए बार-बार निगम अधिकारियों की दफ्तरों के चक्कर नहीं लगाने पड़ेंगे। अब लोग अपनी समस्याओं को लेकर स्थानीय पार्षद के कार्यालय में अपनी शिकायतें दर्ज करवा सकेंगे। जब शाम को उस वार्ड का जेई वार्ड पार्षद के कार्यालय में चाय पर चर्चा के लिए आएगा तो उस समय पार्षद द्वारा उस समस्या का समाधान करवाया जाएगा। इसके अलावा वार्ड में किस प्रकार के विकास की आवश्कता है इसको लेकर भी चर्चा होगी। वहीं मुख्य अभियंता ने सभी जेई को निर्देश दिए है कि वह पार्षदों के साथ मिलकर शहर को विकास को गति दें। लोगों की समस्याओं के समाधान के लिए अब शाम पांच बजे के बाद जेई और एसडीओ अपने वार्ड के पार्षदों के साथ चाय पर चर्चा करेंगे। इस दौरान वहां वार्ड पार्षद और वार्ड के लोगों को हो रही समस्याओं का समाधान करवाना होगा। प्रत्येक शनिवार को हम भी डिविजन के सभी पार्षदों के साथ बैठक करेंगे। जिसमें विकास कार्यों और समस्याओं के समाधान को लेकर चर्चा होगी। इस योजना से लोगों के साथ पार्षदों को भी काफी सहूलियत मिलेगी। - अजय पंघाल, कार्यकारी अभियंता, मुख्यालय, नगर निगम, गुरुग्राम।
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