निजी क्षेत्र में निवेश से तेज आर्थिक विकास संभव: वित्त मंत्रालय
भारतीय अर्थव्यवस्था वैश्विक तनाव के बीच मजबूत स्थिति में है। वित्त मंत्रालय की रिपोर्ट के अनुसार, 2024-25 में विकास दर 6.5 प्रतिशत रहने की संभावना है। निजी गतिविधियों में सुधार, निर्यात में वृद्धि, और...

नई दिल्ली, विशेष संवाददाता। मौजूदा वैश्विक तनाव के बीच भारतीय अर्थव्यवस्था मजबूत स्थिति में है। वित्त मंत्रालय ने मासिक आर्थिक समीक्षा रिपोर्ट में माना है कि वित्त वर्ष 2024-25 में काफी बाहरी बाधाओं के बावजूद भारत की आर्थिक विकास दर 6.5 प्रतिशत रहेगी। चालू वित्तीय वर्ष की तीसरी तिमाही में आर्थिक गतिविधियों में तेजी आई है। निजी गतिविधियों में सुधार देखने को मिला है। वस्तुओं और सेवाओं के निर्यात में वृद्धि के कारण भी सुधार हुआ है। समीक्षा में कहा गया है कि फरवरी में कृषि गतिविधियों में तेजी से ग्रामीण मांग को समर्थन मिला है। चालू वित्त वर्ष की चौथी तिमाही में बेहतर विकास होने की संभावना है क्योंकि ई-वे बिल में वृद्धि दहाई अंक में है और पीएमआई सूचकांक में विस्तार जारी है। खाद्य वस्तुओं की कीमतों में नरमी आई है। खुदरा मुद्रास्फीति फरवरी में सात महीने के निचले स्तर 3.6 प्रतिशत पर आ गई। सकल एफडीआई प्रवाह चालू वित्त वर्ष में अप्रैल से जनवरी के दौरान 12.4 प्रतिशत बढ़ा है। श्रम बाजार की स्थिति स्थिर है लेकिन आने वाले तिमाही में रोजगार के अवसरों में वृद्धि के अच्छे संकेत हैं। विदेशी मुद्रा भंडार के मामले में देखा जाए तो 7 मार्च तक विदेशी मुद्रा भंडार 11 महीने से अधिक के आयात को कवर करने के लिए पर्याप्त है। सेवा क्षेत्र का प्रदर्शन मजबूत बना हुआ है। निर्यात वृद्धि, चुनावों के बाद सरकारी पूंजीगत व्यय में तेजी और कुंभ मेले से जुड़ी आर्थिक गतिविधियों में आई तेजी के कारण चालू वित्त वर्ष की चौथी तिमाही में आर्थिक गतिविधियों में तेजी आने की संभावना है।
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