CNG ट्रक का पाइप टूटा,जयपुर अजमेर हाईवे पर 10 मिनट तक रिसी गैस, जयपुर में टली भांकरोटा जैसी त्रासदी
जयपुर-अजमेर हाईवे पर गुरुवार देर रात एक बड़ा हादसा बाल-बाल टल गया। रात करीब 1:15 बजे भांकरोटा इलाके में उस समय अफरा-तफरी मच गई जब CNG सिलेंडरों से भरा एक ट्रक अचानक गैस लीक करने लगा।

जयपुर-अजमेर हाईवे पर गुरुवार देर रात एक बड़ा हादसा बाल-बाल टल गया। रात करीब 1:15 बजे भांकरोटा इलाके में उस समय अफरा-तफरी मच गई जब CNG सिलेंडरों से भरा एक ट्रक अचानक गैस लीक करने लगा। हाईवे पर मौजूद लोगों को कुछ समझ नहीं आया कि क्या हो रहा है, लेकिन ट्रक से उठती तेज़ सीटी जैसी आवाज़ और गैस की तीखी गंध ने माहौल को तनावपूर्ण बना दिया। अगर वक्त रहते कदम नहीं उठाए जाते, तो यह मामूली रिसाव भी भयावह विस्फोट में बदल सकता था।
हादसा टोरेंट कंपनी के एक करियर ट्रक में हुआ, जिसमें कई CNG गैस सिलेंडर लदे हुए थे। भांकरोटा में ओल्ड कार शोरूम के सामने से गुजरते वक्त अचानक ट्रक के मेन पाइप में लीकेज हो गया और सिलेंडर का वॉल लीक करने लगा। इससे करीब 10 मिनट तक हाई प्रेशर CNG गैस का रिसाव होता रहा। इस दौरान ट्रक ड्राइवर ने सूझबूझ का परिचय देते हुए न केवल ट्रक को किनारे खड़ा किया बल्कि कपड़े से गैस के रिसाव को कम करने की कोशिश भी की।
स्थिति की गंभीरता को भांपते हुए तुरंत भांकरोटा थाना पुलिस को सूचना दी गई। हाईवे पर मौजूद अन्य ट्रक चालकों और स्थानीय लोगों की मदद से दोनों तरफ का ट्रैफिक रोक दिया गया। कुछ ही देर में फायर ब्रिगेड, पुलिस और एम्बुलेंस की टीमें मौके पर पहुंच गईं। चीफ फायर ऑफिसर गौतम लाल ने खुद मौके की स्थिति का जायजा लिया और राहत कार्यों को मॉनिटर किया।
फायर ब्रिगेड कर्मियों और पुलिस ने मिलकर ट्रक को हाईवे से हटाकर बाईपास की सुनसान सड़क पर ले जाया, ताकि किसी भी तरह का बड़ा हादसा न हो। यहां गैस के रिसाव को रोकने के लिए करीब आधे घंटे तक मशक्कत की गई। आखिरकार लीकेज पाइप की मरम्मत कर CNG गैस का रिसाव रोका गया। ट्रक में भरे CNG सिलेंडरों की बड़ी मात्रा को देखते हुए यह पूरी प्रक्रिया बेहद जोखिम भरी थी, लेकिन टीमों की सूझबूझ और तत्परता के कारण कोई जनहानि नहीं हुई।
इस पूरे घटनाक्रम में सबसे राहत की बात यह रही कि रिसाव से निकली CNG गैस हवा में घुलती गई, जिससे विस्फोट जैसी स्थिति नहीं बनी। विशेषज्ञों के अनुसार, CNG अत्यधिक ज्वलनशील गैस होती है और अगर किसी कारण से इसमें चिंगारी आ जाती, तो पूरा ट्रक धमाके के साथ उड़ सकता था। इतना ही नहीं, आसपास मौजूद कई वाहन और लोग भी इसकी चपेट में आ सकते थे।
पुलिस और फायर ब्रिगेड की टीम ने जिस तेज़ी से मौके की गंभीरता को समझते हुए ट्रैफिक को नियंत्रित किया और ट्रक को अलग स्थान पर ले जाकर रिसाव को रोका, वह काबिले तारीफ है। अगर कुछ मिनट की भी देरी होती, तो यह मामूली लगने वाला गैस रिसाव एक भयावह हादसे में बदल सकता था।
इस हादसे ने एक बार फिर साबित कर दिया कि कैसे एक छोटी सी तकनीकी खराबी भी जानलेवा साबित हो सकती है। वहीं, ट्रक ड्राइवर की सतर्कता और आपातकालीन सेवाओं की तेजी ने मिलकर एक बड़ा संकट टाल दिया। फिलहाल पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है और यह पता लगाने की कोशिश की जा रही है कि ट्रक के पाइप में लीकेज किस कारण हुआ। साथ ही, गैस ट्रांसपोर्ट कंपनियों को भविष्य में इस तरह की चूक से बचने के निर्देश दिए जा सकते हैं।
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