विजय शाह को मंत्रिमंडल में बने रहने का कोई अधिकार नहीं!जानिए ऐसा क्यो बोले कांग्रेस नेता सचिन पायलट
सचिन पायलट ने मध्यप्रदेश के एक मंत्री विजय शाह की ओर से सेना पर की गई टिप्पणी की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि ऐसे व्यक्ति को मंत्रिमंडल में बने रहने का कोई अधिकार नहीं है।

पूर्व उपमुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने मंगलवार को मीडिया से रूबरू होते हुए देश की सुरक्षा, सेना के ऑपरेशन और अंतरराष्ट्रीय राजनीति पर केंद्र सरकार से जवाब मांगा। उन्होंने हाल ही में सेना द्वारा किए गए सफल ऑपरेशन की जानकारी देने वाले कर्नल कुरैशी और विंग कमांडर व्योमिका सिंह की सराहना करते हुए कहा कि “इन दोनों बहादुर योद्धाओं ने जिस कुशलता और संयम के साथ देश को ऑपरेशन की जानकारी दी, उस पर हम सबको गर्व है।’’
सचिन पायलट ने मध्यप्रदेश के एक मंत्री विजय शाह की ओर से सेना पर की गई टिप्पणी की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि ऐसे व्यक्ति को मंत्रिमंडल में बने रहने का कोई अधिकार नहीं है। उन्होंने भाजपा नेतृत्व से माफी की मांग करते हुए कहा, “कर्नल कुरैशी जैसे वीर सैनिक, जिनकी तीसरी पीढ़ी फौज में है, उनके प्रति अनादर बिल्कुल अस्वीकार्य है।’’
विदेश नीति को लेकर पायलट ने केंद्र सरकार पर निशाना साधा और अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर से सऊदी अरब में दिए गए बयान पर सवाल उठाया। उन्होंने कहा कि ट्रंप बार-बार व्यापार और सीजफायर की बात कर रहे हैं, लेकिन “आतंकवाद पर एक शब्द नहीं बोलते। पाकिस्तान, जो आतंकवाद को पाल रहा है, उस पर अमेरिका की चुप्पी हैरान करने वाली है।” पायलट ने कहा कि ट्रंप भारत और पाकिस्तान को एक ही तराजू में तौल रहे हैं, जो स्वीकार्य नहीं है।
उन्होंने जोर देकर कहा कि “भारत की तुलना कभी पाकिस्तान से नहीं हो सकती। पहले भारत की तुलना चीन से होती थी। ट्रंप द्वारा कश्मीर का मुद्दा उठाना अप्रत्याशित है। केंद्र सरकार को इसका स्पष्ट जवाब देना चाहिए।”
POK के मुद्दे पर पायलट ने संसद में 1994 के प्रस्ताव को दोबारा पारित करने की मांग की। उन्होंने कहा, “POK भारत का अभिन्न अंग है। सरकार को इस पर विशेष सत्र बुलाकर चर्चा करनी चाहिए।” उन्होंने यह भी कहा कि पूरा देश आतंकवाद के खिलाफ एकजुट है और अब और हमले सहन नहीं किए जा सकते।
सीजफायर पर पायलट ने सवाल उठाते हुए कहा कि “पाकिस्तान को IMF से जो लोन मिला है, क्या वह आतंक फैलाने में इस्तेमाल नहीं होगा? सीजफायर के तुरंत बाद गोलाबारी हुई, ऐसे में विश्वास कैसे करें?”
अंत में उन्होंने सेना के संयम और पराक्रम की सराहना करते हुए कहा, “सेना ने एयरस्ट्राइक में पूरा ध्यान रखा कि किसी आम नागरिक को नुकसान न पहुंचे। भारत की सेना ने एक बार फिर अपना शौर्य दिखाया है, और देश पूरी तरह सेना के साथ खड़ा है।