बोले बेल्हा : खुशखुशवापुर मोहल्ले में हर मौसम में भरा रहता है गंदा पानी
Pratapgarh-kunda News - बेल्हा नगरपालिका के खुशखुशवापुर मोहल्ले के निवासी सड़क और जलनिकासी जैसी बुनियादी सुविधाओं से वंचित हैं। चुनावों में किए गए वादों के बावजूद प्रशासन ने समस्याओं का समाधान नहीं किया है। मोहल्ले की सफाई...
बेल्हा नगरपालिका के विस्तारित मोहल्ले ही नहीं कई पुराने मोहल्ले भी ऐसे हैं जहां रहने वाले सड़क और सफाई जैसी सुविधाओं से वंचित हैं। निकाय चुनाव में इस प्रत्याशी इन मोहल्लों में विकास कार्यों के बड़े-बड़े दावे करते हैं लेकिन चुनाव सम्पन्न होने के बाद कोई मुड़कर देखने भी नहीं आता। नतीजा सैकड़ों परिवार जलनिकासी, सड़क जैसी सुविधाओं का इंतजार कर रहे हैं। मोहल्ले वाले कहते हैं कि रास्ते और जलनिकासी की सुविधा की मांग करते करते कई पीढ़ियां गुजर गईं लेकिन हमारी समस्या का समाधान नहीं हो सका। मोहल्लेवाले कभी नगरपालिका कार्यालय तो कभी डीएम कार्यालय में रास्ते और जलनिकासी के लिए नाले की मांग करने के लिए प्रार्थना पत्र देते हैं लेकिन कोई सुनवाई नहीं होती।
इसी तरह की समस्याओं से जूझ रहे शहर के बलीपुर वार्ड के खुशखुशवापुर मोहल्ले के सैकड़ों परिवारों के लिए अपने घर से मुख्य सड़क तक पहुंचने के लिए रास्ता नहीं है। जिस रास्ते से मोहल्ले वाले मुख्य सड़क पर पहुंचते हैं वह ऊबड़-खाबड़ है और मकानों से निकलने वाला गंदा पानी इसी रास्ते पर जगह-जगह इकट्ठा रहता है। खास बात यह कि मोहल्ले के सभासद भी इन परिवारों को वर्षों से सिर्फ आश्वासन की घुट्टी पिला रहे हैं। जलनिकासी का नाला नहीं होने से बारिश के मौसम में मोहल्ले वाले घुटने भर गंदे पानी से होकर गुजरते हैं। जलभराव से बचने के लिए मोहल्ले के अधिकतर मकान काफी ऊंचाई पर बनाए गए हैं लेकिन आलीशान मकानों के सामने बजबजाती नालियां उनकी खूबसूरती बिगाड़ देती हैं। कमोवेश इस मोहल्ले में सफाई की स्थित बहुत बदतर है। सफाई कर्मचारी कभी कभार आते हैं और झाड़ू लेकर कुछ देर घूमने के बाद लौट जाते हैं। जिम्मेदारों की इस बेरुखी से मोहल्ले वाले परेशान हैं। आपके अपने अखबार हिन्दुस्तान ने खुशखुशवापुर मोहल्ले में रहने वाले परिवारों की समस्या जानने का प्रयास किया तो उनके आक्रोश बाहर आ गया और जिम्मेदारों को कोसते हुए लोगों ने अपनी समस्या गिनाईं। नगरपालिका परिषद के बलीपुर वार्ड के खुशखुशवापुर की अधिकतर आबादी भंगवाचुंगी से कचहरी जाने वाली रोड पर स्थित है। इसी रोड से निकला लिंक मार्ग मोहल्ले वालों का प्रमुख रास्ता है। भंगवा चुंगी से कचहरी जाने वाली रोड से महज चंद कदम तक लिंक मार्ग को बनाया गया है, इसके बाद रोड खस्ताहाल है। इस लिंक मार्ग पर मोहल्ले के तमाम परिवारों ने मकान बनाया है, इसमें कई आलीशान मकान भी हैं लेकिन पूरे मोहल्ले में जलनिकासी के लिए नालियां नहीं बनाई गई हैं। ऐसे में घरों से निकलने वाला गंदा पानी सड़क पर बहता रहता है। यह सिर्फ एक मकान के सामने की बात नहीं है ऐसा ही नजारा पूरे मोहल्ले में नजर आता है। इस मोहल्ले के अधिकतर मकान के सामने कूड़क करकट से पटी बजबजाती नालियां और गंदे पानी का जलभराव दिख जाता है। यह लिंक मार्ग इतना सकरा है कि आसानी से चारपहिया वाहन भी पार नहीं हो पाता। नतीजा लोग अपने चारपहिया वाहन मुख्य मार्ग पर छोड़कर एक किमी अंदर तक जाते हैं। मोहल्ले में जलभराव के यह हालात पहले नहीं थे। दरअसल मोहल्ले के बीचोबीच एक बड़ा तालब स्थित था, इसी तालाब में मकानों से निकलने वाला गंदा पानी भर जाता था। बीते कुछ वर्षों में भू माफियाओं ने सरकारी तालाब को पाटकर बेच दिया। अब मौके पर तालाब का महज कुछ अंश ही बचा है। इसी सरकारी तालाब के अवैध कब्जे को लेकर मोहल्ले वालों ने जोरदार प्रदर्शन किया था लेकिन कोई फायदा नहीं हुआ। तालाब का अस्तित्व खत्म के कारण मकानों से निकलने वाला गंदा पानी लोगों के घरों के सामने जमा रहता है। अहम बात यह कि नगरपालिका प्रशासन की ओर से मोहल्ले वालों की इस समस्या का समाधान करने का प्रयास आज तक नहीं किया गया। मोहल्ले में बिजली आपूर्ति के लिए आधा-अधूरा विद्युतीकरण कराया गया है ऐसे में तमाम लोग बांस-बल्ली के सहारे केबल खींचकर बिजली जलाते हैं, इससे शॉर्ट-सर्किट का खतरा बना रहता है। मोहल्ले में स्वच्छ भारत मिशन के तहत कई लाभार्थियों के दरवाजे पर शौचालय का निर्माण कराया गया है लेकिन वर्तमान में वह खस्ताहाल हैं। जिससे उनका उपयोग नहीं किया जा रहा है। इस मोहल्लें कागज पर होती है सफाई शहर के मोहल्लों की सफाई के नाम पर हर महीने लाखों रुपए का बजट खर्च किया जा रहा है, इसके बाद भी सफाई की व्यवस्था बदतर हालत में है। इसकी हकीकत खुशखुशवापुर मोहल्ले में जगह-जगह डंप कूड़े का ढेर देखकर जानी जा सकती है। मोहल्ले में जलनिकासी के लिए नालियां नहीं हैं नतीजा अधिकतर मकानों के सामने गंदा पानी बहता रहता है। घरों के सामने बह रहा पानी कूड़े करकट के चलते बजबजाता रहता है। मोहल्ले में सफाई करने के लिए नियुक्त सफाईकर्मियों के नहीं आने से लोग घरों से निकलने वाला कूड़ा लोग जगह-जगह डंप कर देते हैं। शहर के कई मोहल्लों में कूड़ा जमा करने के लिए पालिका की ओर से कूड़ेदान रखवाए गए हैं लेकिन इस मोहल्ले में एक भी कूड़ेदान नहीं रखवाया गया है। यही नहीं घरों से निकलने वाला कूड़ा उठाने के लिए नगरपालिका का वाहन भी कभी नहीं आता। मोहल्ले में फॉगिंग नहीं कराने से मच्छरों का जबरदस्त प्रकोप रहता है। नाले-नालियां कूड़े करकट से पटे होने के कारण मच्छरों का प्रकोप अधिक हो गया है। नगरपालिका की ओर से डोर टू डोर कूड़ा उठाने के लिए संस्था नामित की गई है लेकिन संस्था के कर्मचारी कहीं नजर नहीं आते। मामूली बारिश होते ही तालाब बन जाता है मोहल्ला नगर पालिका परिषद बेल्हा का खुशखुशवापुर मोहल्ले में जलनिकासी की समस्या नई नहीं है, इस समस्या को लेकर काफी पहले से है। खासतौर पर मुख्य सड़क से मोहल्ले वालों को जोड़ने वाले लिंक मार्ग पर जलनिकासी की सुविधा नहीं होने से लोग हर मौसम में परेशान रहते हैं। मामूली बारिश होने पर भी पूरा मोहल्ला तालाब सरीखे नजर आने लगता है। मोहल्ले वाले बताते हैं कि मोहल्ले को जोड़ने वाली सड़क खस्ताहाल होने के कारण बरसात होते ही तालाब में तब्दील हो जाती है। दरअसल जलनिकासी के लिए नाले-नालियों का निर्माण कराने की आज तक पहल ही नहीं की गई। नतीजा बारिश में पूरे मोहल्ले में पानी भर जाता है, कई परिवार ऐसे हैं जिनके घरों के अंदर तक बारिश का पानी प्रवेश कर जाता है लेकिन बार-बार शिकायत करने के बाद भी जिम्मेदार इस समस्या को समाधान नहीं कर रहे हैं। अधिक बारिश हो जाने पर लोग मुख्य सड़क तक नहीं पहुंच पाते। बहुत जरूरी काम होने पर बारिश के पानी से होकर जाते हैं। मोहल्ले की मुख्य सड़क पर छाया रहता है अंधेरा नगर पालिका के खुशखुशवापुर मोहल्ले को मुख्य सड़क से जोड़ने वाले रास्ते पर भी स्ट्रीट लाइटें नहीं लगवाई गई हैं। स्ट्रीट लाइटें सिर्फ भंगवा चुंगी से कचहरी जानेवाली सड़क तक ही लगाई गई है। ऐसे में शाम होते ही मोहल्ले की मुख्य सड़क पर अंधेरा छा जाता है। यही नहीं मोहल्ले के सार्वजनिक स्थलों पर भी स्ट्रीट लाइटें नहीं लगवाई गई है। इससे मोहल्ले के 60 फीसदी मकानों के सामने शाम होते ही अंधेरा छा जाता है। मोहल्ले में आधा अधूरा विद्युतीकरण कराने के कारण तमाम लोग बांस-बल्ली के सहारे केबल खींचकर बिजली का उपभोग कर रहे हैं जबकि इससे आसपास वाले परिवारों के लिए खतरा बना रहता है। बिजली निगम के अफसरों की लापरवाही किसी दिन बड़े हादसे का कारण बन सकती है। इसी खस्ताहाल रास्ते से निकलता है जुलूस खुशखुशवापुर मोहल्ले की खस्तहाल सड़क से ही हर वर्ष मोहर्रम का जुलूस का निकाला जाता है। मोहर्रम नजदीक आने पर हर वर्ष मोहल्ले वाले नगरपालिका और प्रशासनिक अफसरों से रास्ता दुरुस्त कराने की मांग करते हैं और अफसरों की ओर से आश्वासन भी दिया जाता है लेकिन कोई कार्रवाई नहीं होती। यह सिलसिला कई वर्षों से चल रहा है। शिकायतें 0 मोहल्ले में जलनिकासी की नालियां नही हैं। जो नालियां मोहल्ले वालों ने स्वयं बनाई है वह कूड़े करकट से पटी रहती हैं। 0 नगरपालिका प्रशासन की ओर से मोहल्ले की मुख्य सड़क को दुरुस्त कराने का कई बार आश्वासन दिया गया लेकिन सड़क अब भी खस्ताहाल है। 0 मोहल्ले के कई परिवार बांस-बल्ली के सहारे केबल खींचकर बिजली का उपभोग कर रहे हैं। इससे हादसे की संभावना बनी रहती है। 0 मोहल्ले को जोड़ने वाली मुख्य सड़क पर एक भी स्ट्रीट लाइट नहीं लगाई गई है जिससे शाम होते ही अंधेरा छा जाता है। 0 मोहल्ले में सफाई नियमित नहीं होने से कूड़े का ढेर लगा रहता है। डस्टबिन नहीं होने से लोग सड़कों पर कूड़ा फेंक देते हैं। सुझाव 0 नगर पालिका प्रशासन को मोहल्ले को जोड़ने वाली मुख्य सड़क के किनारे स्ट्रीट लाइटें लगवाना चाहिए, जिससे पर्याप्त रोशनी मिल सके। 0 मोहल्ले में बांस के सहारे खींचे गए केबल से निजात दिलाने के लिए बिजली निगम के जिम्मेदारों को पोल और तार लगाना चाहिए। 0 मोहल्ले के एक मात्र सरकारी तालाब पर किया गया अवैध कब्जा प्रशासन को प्राथमिकता से हटवाना चाहिए। 0 मोहल्ले का सीवेज सिस्टम सुधारने के लिए प्राथमिकता से नाली का निर्माण कराया जाए और उसे शहर के मुख्य नाले से जोड़ा जाए। 0 मोहल्ले में नियमित सफाई कराने के साथ कूड़ा उठाने की व्यवस्था कराई जाए, जिससे जगह जगह डंप कूड़े से राहत मिल सके। - जरा हमारी भी सुनिए नगर पालिका प्रशासन के जिम्मेदारों की लापरवाही का सबसे बड़ा नमूना मोहल्ले में बिखरी गदंगी और बजबजाती नालियां हैं। यह पालिका के स्वच्छ भारत अभियान का मखौल उड़ाता नजर आता है। सफाई के जागरूकता अभियान पर लाखों रुपये खर्च किए जा रहे हैं लेकिन जिम्मेदार इससे बेखबर है। मो. खालिद मोहल्ले में सफाई की व्यवस्था बदतर हालत में है। नामित किए गए सफाई कर्मचारी नियमित नहीं आते। यही नहीं डोर टू डोर कूड़ा उठाने के लिए नामित संस्था का वाहन नहीं आने से घरों से निकलने वाला कूड़ा मोहल्ले में ही जमा किया जाता है। विजय कुमार मोहल्ले में जलनिकासी की एक भी नाली नहीं है, जो बनी है वह मोहल्ले वालों ने स्वयं बनाई है। सफाई कर्मचारियों की लापरवाही के कारण यह नालियां भी कूड़े करकट से पटी रहती हैं। बजबजाती नालियों से उठने वाली दुर्गंध से आसपास रहने वाले परिवार के लोग परेशान रहते हैं। एहतेशाम मोहल्ले में बिजली निगम की ओर से पर्याप्त पोल और तार नहीं लगाए गए हैं जबकि कनेक्शन बांटने में कोई कोताही नहीं की गई है। ऐसे में लोग बांस और बल्ली के सहारे केबल खींचकर बिजली जला रहे हैं, इससे हादसे का अंदेशा बना रहता है। कलीम खुशखुशवापुर मोहल्ले में बिखरी गंदगी और सड़क पर बहता गंदा पानी नगरपालिका प्रशासन की सफाई व्यवस्था को मुंह चिढ़ा रहा है लेकिन जिम्मेदारों पर इसका कोई असर नहीं हो रहा है। सफाई कर्मचारी और सुपरवाइजर मोहल्ले में नियमित नहीं आते। सोनू कुमार मुख्य सड़क भंगवा चुंगी से कचहरी जाने वाली रोड से खुशखुशवापुर को जोड़ने वाली एकमात्र सड़क और सार्वजनिक स्थलों पर स्ट्रीट लाइटें नहीं लगाई गई हैं। बोर्ड की बैठक में कई बार प्रस्ताव तैयार किया गया लेकिन वह फाइलों तक सिमट कर रह जाता है। घनश्याम नगर के मोहल्लों में रहने वाले परिवारों को मच्छर जनित बीमारियों से बचाने के लिए नियमित फॉगिंग कराने का दावा जिम्मेदारों की ओर से किया जाता है। हकीकत यह है कि जिम्मेदार फाइलों में फॉगिंग करा कर बजट हजम कर लेते हैं। इससे मोहल्ले वाले मच्छरों का प्रकोप झेल रहे हैं। सज्जाद अली खुशखुशवापुर मोहल्ले में स्थित सरकारी तालाब के 90 फीसदी हिस्से को अवैध कब्जा कर बेच दिया गया है। शेष हिस्से पर भी भूमाफियाओं की नजर है। शिकायत के बाद भी जिम्मेदार तालाब पर अतिक्रमण करने वालों के खिलाफ कार्रवाई नहीं कर रहे हैं। प्रकाश खुशखुशवापुर मोहल्ले में रहने वाले परिवारों के शहर पहुंचने के लिए एकमात्र रास्ता है जो बेहद जर्जर है। इस सड़क पर हर मौसम में गंदा पानी भरा रहता है। कारण मकानों से निकलने वाले पानी की निकासी के लिए नालियों का निर्माण नहीं कराया गया है। इसका समाधान कराना चाहिए। फजल खुशखुशवापुर मोहल्ले से हर वर्ष मोहर्रम का जुलूस निकाला जाता है जिसमें सैकड़ों लोग शामिल रहते हैं। जिस रास्ते से जुलूस निकाला जाता है वह बेहद खस्ताहाल है। इस पर पैदल चलना भी मुश्किल होता है। इस सड़क को दुरुस्त कराया जाना चाहिए। अब्दुल सत्तार बोले जिम्मेदार नगरपालिका के मोहल्लों का सीवेल सिस्टम मजबूत करने के लिए दो बड़े नाले और कई नालियों का प्रस्ताव मंजूर हो चुका है। इनका निर्माण शीघ्र ही शुरू कराया जाएगा। जिने मोहल्लों की सड़कें खराब हैं, उनका सर्वे कराया गया है और उनकी मरम्मत कराने की तैयारी चल रही है। राकेश कुमार, ईओ नगरपालिका
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