ढाई हजार पुलिसवालों ने पैदल मार्च के बाद किसे किया जेल में दाखिल? अब लाई डिटेक्टर टेस्ट की तैयारी
मजिस्ट्रेट के सामने पेश कराने के बाद सुबह साढ़े 10 बजे जेल में दाखिल कर दिया गया। बवाल की आशंका पर रिमांड मजिस्ट्रेट ने पुलिस लाइन में ही दीनू को 14 दिन की न्यायिक रिमांड पर जेल भेजने का आदेश दिया। VIP रोड से जेल तक पुलिस दीनू को पैदल ले आई और जेल गेट से उसे जेल में दाखिल करा दिया।

पिंटू सेंगर की हत्या मामले में साढ़े चार साल बाद वकील दीनू उपाध्याय को पुलिस ने गिरफ्तार कर जेल भेजा। पुलिस लाइन से भारी फोर्स के सामने पैदल ले जाकर दीनू को जेल में दाखिल किया गया। प्राथमिक जांच में हत्याकांड में उसके शामिल होने के सबूत पुलिस को मिले हैं। पुलिस दीनू से सच उगलवाने के लिए लाई डिटेक्टर टेस्ट कराएगी। सुबह के समय कार्रवाई पर कानून व्यवस्था बिगड़ने के आसार थे।
इसके लिए वरिष्ठ अधिकारियों ने भारी संख्या में फोर्स की तैनाती कचहरी के चारों तरफ कर दी। आधा दर्जन एसीपी के अलावा इंस्पेक्टरों से लेकर सिपाही तक ढाई हजार पुलिस कर्मी लगाए गए। मजिस्ट्रेट के सामने पेश कराने के बाद सुबह साढ़े दस बजे जेल में दाखिल कर दिया गया। बवाल की आशंका पर रिमांड मजिस्ट्रेट ने पुलिस लाइन में ही दीनू को 14 दिन की न्यायिक रिमांड पर जेल भेजने का आदेश दिया। वीआईपी रोड से जेल तक पुलिस दीनू को पैदल ले आई और जेल गेट से उसे जेल में दाखिल करा दिया।
अधिवक्ताओं की भीड़ देख कई थानों में रखा
दीनू की गिरफ्तारी के बाद उसे जेल में दाखिल कराना बड़ी चुनौती था। कोहना थाना क्षेत्र से गिरफ्तार कर शुक्रवार रात वहीं थाने में रखकर लिखापढ़ी की जा रही थी। इसी दौरान दीनू के समर्थक एकत्र हो गए। पुलिस अधिकारियों ने एहतियात के तौर पर उसे वहां से हटा दिया। उसे कई थानों में रखा गया। पुलिस ने देर रात लगभग दो बजे एडवोकेट को जेल में दाखिल कराने का प्रयास किया और उसी के अनुसार लिखापढ़ी भी कराई, मगर किन्हीं कारणों की वजह से रात में रिमांड नहीं मिल सकी जिसके कारण रात भर पुलिस अलग-अलग थानों में रखे रही।
‘कर लो जितना फर्जी कर सकते हो’
दीनू को जेल में दाखिल करते वक्त उसके समर्थन में गेट पर पहुंचे लोगों ने पुलिस अफसरों को धमकी दी। एक समर्थक ने चिल्लाकर कहा कि आग लगेगी कचहरी में। कर लो जितना फर्जी कर सकते हो। याद रखना सब बाल बच्चेदार हो। अफसर वापस निकले तो जेल परिसर से सड़क पर आते ही एक महिला समर्थक ने कहा अंतिम संस्कार वहीं होता है सबका...सबको भगवान के घर जाना है। एक बात ध्यान रख लेना।
फर्जी मार्कशीट से वकील बनने पर भी है रिपोर्ट दर्ज
पिंटू के भाई धर्मेंद्र सेंगर ने एक महीना पहले दीनू पर फर्जी मार्कशीट के सहारे वकील बनने के मामले में रिपोर्ट दर्ज कराई थी। दीनू उर्फ धीरज उपाध्याय क्राइस्ट चर्च कॉलेज से वर्ष 1992 में बीए थर्ड डिवीजन पास हुआ था। वह एलएलबी करने के योग्य नहीं था लेकिन दीनू ने आपराधिक गतिविधियों को आवरण देने के उद्देश्य से वकालत की फर्जी कूटरचित डिग्री बनवाकर बार कौंसिल ऑफ उप्र में वकील के रूप में अपना पंजीकरण करवा लिया।
अरिदमन पर भी लटक रही गिरफ्तारी की तलवार
बार के पूर्व मंत्री अरिदमन सिंह का भी मामले में नाम आया था। सेटिंग-गेटिंग से उसे भी मुकदमे से बाहर कर दिया गया था। अब पुलिस दोबारा जांच कर रही है। ऐसे में दीनू के बाद अरिमदन पर भी गिरफ्तारी की तलवार लटक रही है।
वकील दीनू और तीन डॉक्टरों पर रिपोर्ट
सिविल लाइंस में डॉ.राहुल कपूर का क्लीनिक कब्जाने और उनके पिता को पीटकर मकान कब्जे के प्रयास में अधिवक्ता दीनू उपाध्याय और तीन डॉक्टरों समेत 29 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है। ग्वालटोली पुलिस को मिले सीसीटीवी फुटेज में दीनू और उनके दो साथी आते-जाते दिखे हैं। पुलिस पूरे मामले की जांच कर रही है।
मकान नंबर 14/116-बी निवासी पंकज कपूर की पत्नी रश्मि कपूर के मुताबिक उनका जेठ डॉ. पीएन कपूर, उनके दामाद डॉ. भरत मेहरोत्रा और भरत की पत्नी डॉ. आंचल कपूर से संपत्ति को लेकर विवाद चल रहा है। मकान पर कब्जा करने की नीयत से तीनों आरोपियों ने परिवार के अन्य लोगों के साथ मिलकर मकान पर कब्जा करने का प्रयास किया। पंकज कपूर को प्रताड़ित करना शुरू कर दिया। रश्मि के मुताबिक 13 जुलाई 2018 की शाम पांच बजे पीएन कपूर, भरत और आंचल 10-15 गुंडों को लेकर मेरे घर के भीतर घुस आए। गाली-गलौज करने के साथ मारपीट शुरू कर दी। उसमें से तीन लोग वकील की ड्रेस में थे। पीएन कपूर के कहने पर आरोपियों ने मेरे पति को लात-घूंसों से पीटा। गाली-गलौज कर जान से मारने की धमकी दी। भरत ने पंकज का गला दबा दिया। किसी तरह उन्होंने हाथ-पैर जोड़कर जान बचाई। आरोपियों ने 30 लाख रुपये की रंगदारी मांगी और धमकाते हुए कहा कि रुपया नहीं दोगे तो यहां रह नहीं पाओगे।
सभी ने मिलकर मकान के अगले हिस्से में स्थित क्लीनिक पर कब्जा कर लिया और डॉ. राहुल कपूर को बाहर कर दिया। मारपीट की वजह से रश्मि के कान में चोट आ गई थी। आरोपियों ने धमकाते हुए कहा था कि कहीं शिकायत की तो सभी की हत्या कर देंगे। रश्मि का आरोप है कि ग्वालटोली थाने में शिकायत की पर आरोपियों के रसूख के चलते सुनवाई नहीं हुई। आरोपियों ने कचहरी में भी उन लोगों को पीटा, फिर भी पुलिस ने सुनवाई नहीं की। एडीशनल सीपी हरीश चंदर ने बताया कि दीनू, डॉ. पीएन कपूर, डॉ. भरत मेहरोत्रा और डॉ. आंचल समेत 29 के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।
क्या बोली पुलिस
एडीशनल सीपी हरीश चंदर ने कहा कि दीनू उपाध्याय खुद को बेकसूर बता रहा है। इसलिए उसका लाई डिटेक्टर टेस्ट किया जाएगा। मामले की जांच चल रही है। अन्य आरोपियों और पुलिस कर्मियों की भूमिका देखने के बाद उनके खिलाफ कार्रवाई का निर्णय लिया जाएगा।