600-700 रन बनाने का क्या मतलब है, जब...रोहित शर्मा ने बोल दी विराट कोहली के फैंस का दिल तोड़ देने वाली बात
IPL के एक सीजन में 600-700 रन बनाने का क्या मतलब है, जब आपकी टीम ट्रॉफी ना जीते। ये बात रोहित शर्मा ने कही है, जो विराट कोहली और केएल राहुल के फैंस का दिल तोड़ देने वाली है। वही बल्लेबाज हैं, जो ज्यादा रन बनाते हैं।

हर सीजन बात होती है कि मुंबई इंडियंस के पूर्व कप्तान और मौजूदा ओपनर रोहित शर्मा आईपीएल के सीजन में बड़े स्कोर नहीं बनाते या ऑरेंज कैप हासिल नहीं करते हैं। हालांकि, रोहित शर्मा का इससे लेना-देना नहीं है। वह चाहते हैं कि वह भले ही सीजन में 400 रन बनाएं, लेकिन टीम ट्रॉफी जीतनी चाहिए। उन्होंने साफ कहा है कि आप 500-600 रन बनाए और टीम हार जाए तो इसका कोई फायदा नहीं है। एक तरह से रोहित शर्मा ने विराट कोहली और केएल राहुल के फैंस के दिल तोड़ने वाली बात बोल दी है, क्योंकि यही वो बल्लेबाज हैं, जो लगभग हर सीजन 500-600 या इससे ज्यादा रन बनाते हैं, लेकिन टीम नहीं जीतती।
रोहित शर्मा ने विमल कुमार को दिए इंटरव्यू में कहा, "रन बनाना किसको पसंद नहीं है? ये बात मैं इतने सालों से बोलते आ रहा हूं। निराशा बिल्कुल होती है, जब आप अच्छा नहीं करते। अगर आपका कंट्रीब्यूशन नहीं है टीम में तो दुख होता है। मैं अपने खेलने का तरीका नहीं बदल सकता। मुझे पता है कि उसमें रिस्क है, लेकिन मैं कोशिश करता हूं कि बार-बार एक ही गलती को ना दोहराऊं। मैं पहले छह ओवर में, मैं बहुत चांसेस लेके खेलता हूं और मुझे पता है कि पहले छह ओवर खेल गया तो मुझे पता है कि उसके बाद क्या करना है। मुझे गेम को चलाना है और मैं ऐसे ही पागलों की तरह पूरी इनिंग नहीं खेल सकता हूं, लेकिन शुरुआत में चांस लेना पसंद करता हूं। यह मेरा गेम है।"
सीजन में 500-600 रन बनाने वाले सवाल पर हिटमैन ने कहा, "मुझे इम्पैक्ट वाली पारी खेलनी होती है। मेरा लक्ष्य कभी ऐसा नहीं रहा है कि मेरे को इतना रन बनाना है सीजन में। मैं मैच जिताने की कोशिश करता हूं। 600 रन बनें, 700 रन बनें या 800 रन बनें, उससे कोई मतलब नहीं है अगर आप ट्रॉफी नहीं जीतोगे मैच नहीं जीतोगे उससे कोई मतलब नहीं है यह सीख मैंने 2019 में ले लिया है। वर्ल्ड कप में आप फाइनल तक नहीं जाते हो और फाइनल नहीं जीतते हो तो मैं वह 500 या 600 रनों का का क्या करूंगा? ठीक है अपने लिए अच्छा है, पर टीम के लिए नहीं अच्छा है ना, लेकिन मैं यह नहीं बोल रहा हूं कि मेरे 20-30 रन बनाने से भी टीम जीत रही है। ऐसा नहीं मैं बोल रहा हूं। मेरा फोकस रहता है कि मैं कैसे टीम के लिए कंट्रीब्यूट करूं। ऐसा कंट्रीब्यूशन जहां से टीम को फायदा हो। उसी चीज के बारे में मैं सोचता हूं। देखो मुंबई इंडियंस ने जब भी ट्रॉफी जीती है कोई हमारे टीम में से कोई ऑरेंज कैप किसी ने नहीं लिया है।"