Gumla s Environmental Challenges Forest Growth vs Declining Groundwater Levels गुमला जिले में जंगल बढ़े, लेकिन जमीन के नीचे पानी घटा, Ghumla Hindi News - Hindustan
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गुमला जिले में जंगल बढ़े, लेकिन जमीन के नीचे पानी घटा

गुमला में विश्व पृथ्वी दिवस की थीम 'हमारी शक्ति, हमारा ग्रह' के तहत जंगलों को बढ़ाने के प्रयास हो रहे हैं, लेकिन भू-जल स्तर में कमी आ रही है। पिछले दो सालों में 1.26% वन क्षेत्र बढ़ा है और 5 लाख पौधे...

Newswrap हिन्दुस्तान, गुमलाTue, 22 April 2025 01:30 AM
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गुमला जिले में जंगल बढ़े, लेकिन जमीन के नीचे पानी घटा

गुमला, संवाददाता। इस साल विश्व पृथ्वी दिवस की थीम है हमारी शक्ति, हमारा ग्रह। यह थीम हमें बताती है कि धरती की सेहत हमारे अपने हाथ में है। लेकिन गुमला जिले की तस्वीर कुछ अलग ही कहानी बयां कर रही है। एक तरफ जिले में जंगलों को बढ़ाने की कोशिश हो रही है,तो दूसरी ओर भू-जल स्तर घटता जा रहा है। गुमला वैसे तो हरियाली के मामले में राज्य के आगे रहने वाले जिलों में से एक है। यहां करीब 1.35 लाख हेक्टेयर में जंगल फैले हुए हैं। पालकोट वन्य जीव अभ्यारण्य भी यहीं है,जो 183.18 वर्ग किमी में फैला हुआ है। वन विभाग का दावा है कि पिछले दो साल में जिले का वन क्षेत्र 1.26 प्रतिशत बढ़ा है। इसी दौरान पांच लाख से ज्यादा पौधे लगाए गए हैं। इसके अलावे प्रदान नाम की संस्था और वन विभाग ने मिलकर छह प्रखंडों गुमला, घाघरा, रायडीह, पालकोट,बसिया और कामडारा में सीड बॉल अभियान चलाया। इस अभियान में एक हजार से अधिक ग्रामीणों ने भाग लिया और जंगलों में छह लाख सीड बॉल वन क्षेत्रों में डाले गये हैं। इन सभी प्रयासों के बीच चिंता की बात यह है कि भूजल स्तर में लगातार गिरावट आ रही है। साल 2023 में गुमला का औसत जल स्तर 7.61 मीटर था,जो 2024 में बढ़कर 8.90 मीटर हो गया। यानी पानी और गहराई में चला गया।विशेषज्ञ मानते हैं कि इस गिरावट के पीछे कई वजहें हैं जैसे कि जरूरत से ज्यादा बोरिंग,पानी का बेतरतीब इस्तेमाल और वर्षा जल संचयन यानी रेन वॉटर हार्वेस्टिंग की कमी। गुमला वन प्रमंडल के डीएफओ बताते हैं कि विभाग लगातार पौधरोपण और पर्यावरण संरक्षण के लिए अभियान चला रहा हैं, लेकिन जल संरक्षण में लोगों की भागीदारी जरूरी है। दोनों साथ चलेंगे,तभी असर दिखेगा। वहीं बसिया प्रखंड की ग्रामीण महिलाएं बताती हैं, उन्होने जंगल में सीड बॉल डाले हैं। पेड़ लगाना जरूरी है, लेकिन गांव में पानी की कमी बहुत बढ़ रही है। बारिश का पानी कैसे बचाएं,ये सिखाया जाए तो अच्छा होगा।”

गुमला में कुल वन क्षेत्र- 1.35 लाख हेक्टेयर

• पालकोट वन्य जीव अभ्यारण्य- 183.18 वर्ग किमी

• बीते दो वर्षों में पौधरोपण- 5 लाख पौधे

• फैलाई गई सीड बॉल्स- 6 लाख

• भूजल स्तर 2023- 7.61 मीटर

• भूजल स्तर 2024- 8.90 मीटर

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