बेंगलुरु भगदड़ केस में CM सिद्धारमैया की अजीब दलील- मुझे दो घंटे देरी से मौत का पता लगा, नया बवाल
बेंगलुरु भगदड़ केस में सीएम सिद्धारमैया का कहना है कि उन्हें अस्पताल में मौतों की पुष्टि के दो घंटे बाद पता चला। उनके बयान ने राज्य में नया राजनीतिक बवाल खड़ा कर दिया है।

आईपीएल के 18 साल के इतिहास में पहली बार जीत दर्ज करने वाली आरसीबी टीम का बेंगलुरु के चिन्नास्वामी स्टेडियम में जश्न मनाया जा रहा था। स्टेडियम के बाहर हुजूम इतना पहुंच गया कि भगदड़ मच गई और 11 लोगों की जान चली गई। 56 से अधिक लोग घायल भी हुए। इस घटना को लेकर कर्नाटक की सिद्धारमैया सरकार ऐक्शन ले चुकी है। अब उनका मामले में अजीबो-गरीब बयान आया है। सिद्धारमैया का कहना है कि उन्हें घटना की जानकारी शाम 5 बजकर 45 मिनट पर मिली। यह बयान इसलिए भी हैरान करने वाला है, क्योंकि इससे दो घंटे पहले 3:50 मिनट तक अस्पतालों में मौतें दर्ज हो चुकी थी। उनके इस बयान ने राज्य में नया राजनीतिक बवाल पैदा कर दिया है।
कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने रविवार को दावा किया कि उन्हें 4 जून की शाम 5:45 बजे ही इस घटना की जानकारी मिली, जबकि अस्पताल में 3:50 बजे तक मौतें दर्ज हो चुकी थीं। सीएम ने मीडिया से बातचीत में कहा, “मैंने तुरंत कार्रवाई की है, जिनकी गलती थी उन पर कदम उठाए हैं।” सीएम ने यह भी कहा कि उनका आयोजन से कोई लेना-देना नहीं था और उन्हें क्रिकेट एसोसिएशन द्वारा आमंत्रित किया गया था। कहा, “घटना स्टेडियम के पास हुई। न मैंने आयोजन किया, न योजना बनाई थी। यह सिर्फ एक औपचारिक आमंत्रण था।”
BJP ने की इस्तीफे की मांग
वहीं भाजपा ने इस घटना को "सरकारी हत्या" करार देते हुए कड़ी निंदा की है। नेता प्रतिपक्ष आर अशोक और विधायक प्रभु भामला चव्हाण ने CM सिद्धारमैया, डिप्टी CM DK शिवकुमार और गृहमंत्री G परमेश्वर के इस्तीफे की मांग की। अशोक ने कहा, “सच्चे दोषी यही तीनों हैं। 11 मौतें हो चुकी थीं, फिर भी पटाखे जलाए गए। यह अमानवीयता है।” उन्होंने यह भी मांग की कि मृतकों के परिजनों को ₹1 करोड़ का मुआवजा दिया जाए और मंत्रियों को नैतिक जिम्मेदारी लेनी चाहिए।
भाजपा का तंज- "नए RCB"
RCB के नाम को तोड़ते हुए BJP ने तंज कसा कि अब RCB का मतलब "Real Culprits of Bengaluru" है — यानी CM और DyCM ही असली दोषी हैं। अशोक ने कहा, “पहले RCB को विजय माल्या प्रमोट करते थे, अब ये नए RCB हैं — CM और DyCM।”
सरकार ने क्या ऐक्शन लिया
घटना के बाद कई पुलिस अधिकारियों को निलंबित किया गया, जिसमें बेंगलुरु के तत्कालीन पुलिस कमिश्नर बी. दयानंद भी शामिल हैं। भाजपा ने इसका विरोध करते हुए कहा कि "पुलिस को बलि का बकरा बनाया जा रहा है।" भाजपा ने ऐलान किया है कि वह राज्यपाल थावरचंद गहलोत से मिलकर सरकार को बर्खास्त करने की मांग करेगी।