amazing coincidence on cm yogi adityanath s 53rd birthday dream of 3 generations of gorakshapeeth came true सीएम योगी के 53 वें जन्मदिन पर अद्भुत संयोग, गोरक्षपीठ की 3 पीढ़ियों का सपना हुआ साकार, Uttar-pradesh Hindi News - Hindustan
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सीएम योगी के 53 वें जन्मदिन पर अद्भुत संयोग, गोरक्षपीठ की 3 पीढ़ियों का सपना हुआ साकार

अपने 53 वें जन्मदिन पर गुरुवार को CM योगी भगवान श्रीराम का आशीर्वाद लेंगे। वह भगवान के प्राकट्य की पहली आरती करेंगे। इसके साथ तीन दिवसीय अनुष्ठान की पूर्णाहुति होगी। 5 जून को पर्यावरण दिवस भी मनाया जाता है। बता दें कि पर्यावरण संरक्षण को लेकर सीएम योगी ने कई कदम उठाए हैं।

Ajay Singh लाइव हिन्दुस्तानThu, 5 June 2025 08:15 AM
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सीएम योगी के 53 वें जन्मदिन पर अद्भुत संयोग, गोरक्षपीठ की 3 पीढ़ियों का सपना हुआ साकार

आज मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का 53 वां जन्मदिन है। इसी दिन अयोध्या में राम दरबार की प्राण प्रतिष्ठा का अद्भुत संयोग भी बना है। गुरुवार को भगवान रामेश्वरम की स्थापना के शुभ अभिजित मुहूर्त में सभी देव विग्रहों में प्राणों का आधान किया जाएगा। अयोध्या में श्री राम जन्मभूमि पर रामलला के भव्य मंदिर का निर्माण अब पूरा होने को है। इसी के साथ गोरक्षपीठ की 3 पीढ़ियों का सपना भी साकार हो रहा है। वर्तमान गोरक्षपीठाधीश्वर और यूपी के मुख्यमंत्री के तौर पर योगी आदित्यनाथ का नाम अयोध्या के इतिहास में स्वर्णिम अक्षरों में दर्ज होने जा रहा है। गुरुवार को सीएम योगी भगवान श्रीराम का आशीर्वाद लेंगे। वह भगवान के प्राकट्य की पहली आरती करेंगे। इसके साथ तीन दिवसीय अनुष्ठान की पूर्णाहुति होगी। 5 जून को पर्यावरण दिवस भी मनाया जाता है। बता दें कि पर्यावरण संरक्षण को लेकर सीएम योगी ने कई कदम उठाए हैं। गुरुवार को लखनऊ नगर निगम गोमती नदी की सफाई का विशेष अभियान भी चलाएगा।

योगी आदित्यनाथ और गोरक्षपीठ का अयोध्या से गहरा जुड़ाव है। उनके दादा गुरु ब्रह्रमलीन गोरक्षपीठाधीश्वर महंत दिग्विजय नाथ और गुरु महंत अवेद्यनाथ ने राम जन्मभूमि आंदोलन में बड़ी भूमिका निभाई थी। गुरु की राह पर चलते हुए योगी आदित्यनाथ ने भी रामजन्मभूमि आंदोलन में न सिर्फ बढ़चढ़कर हिस्सा लिया बल्कि इसे निर्णायक मुकाम तक पहुंचाने में बहुत बड़ी भूमिका भी निभाई। यह अद्भुत संयोग रहा कि सुप्रीम कोर्ट के आदेश से अयोध्या में भव्य राम मंदिर के निर्माण का मार्ग प्रशस्त हुआ तो योगी आदित्यनाथ मुख्यमंत्री के रूप में यूपी की कमान संभाल चुके थे। गुरुवार की सुबह-सुबह सीएम योगी ने ‘एक्स’ पर एक पोस्ट में लिखा-‘प्रभु श्री राम की पावन जन्मभूमि अयोध्या धाम में आज श्री राम जन्मभूमि मंदिर के प्रथम तल पर श्री राम दरबार सहित अष्ट देवालयों में पवित्र देव विग्रहों की प्राण-प्रतिष्ठा हेतु आयोजित कार्यक्रम का साक्षी बनने का परम सौभाग्य प्राप्त हो रहा है। यह पावन अवसर 'एक भारत-श्रेष्ठ भारत' की नूतन अभिव्यक्ति है। सियावर श्री रामचन्द्र की जय!’

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बताते हैं कि बीते 8 सालों में सीएम योगी आदित्यनाथ के मार्गदर्शन में अयोध्या में विकास की 32 हजार करोड़ रुपए से अधिक की परियोजनाएं पूरी हो चुकी हैं। अयोध्या के कई संत कहते हैं कि योगी सरकार ने सड़क, रेल, एयरपोर्ट, सौंदर्यीकरण सहित विभिन्न योजनाओं के जरिए अयोध्या को पर्यटन के अंतरराष्ट्रीय मानचित्र पर चमका दिया है। सरयू तट के सौंदर्यीकरण, रामकथा पार्क और राममंदिर परिसर के विकास को वे खासतौर पर रेखांकित करते हैं।

राम दरबार में पूजन करेंगे मुख्यमंत्री योगी

राम मंदिर के दूसरे प्राण-प्रतिष्ठा उत्सव के मुख्य पर्व में गुरुवार को सीएम योगी राम दरबार में पूजन के बाद सभी सातों मंदिरों में भी जाकर पूजन करेंगे। आज मुख्यमंत्री का जन्मदिन भी है तो इस मौके पर राजधानी लखनऊ में नगर निगम गोमती नदी की सफाई करेगा। इसके लिए बड़ा अभियान चलाया जाएगा। महापौर सुषमा खर्कवाल ने बताया कि पूरे गोमती और इसके किनारों की सफाई करायी जाएगी। जन जागरुकता अभियान भी चलाया जाएगा।

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सीएम योगी की संक्षिप्त कहानी

सीएम योगी आदित्यनाथ के बचपन का नाम अजय सिंह बिष्ट था। उनका जन्म 5 जून 1972 को उत्तराखंड के पौढ़ी गढ़वाल जिले के पंचूर गांव में हुआ था। सीएम योगी के पिता का नाम आनंद सिंह बिष्ट और माता का नाम सावित्री देवी है। उनकी शुरुआती शिक्षा-दीक्षा पौढ़ी में ही हुई। उन्होंने हेमवती नंदन बहुगुणा विश्वविद्यालय से स्नातक किया। बचपन से ही आध्यात्म के प्रति उनकी रुचि थी। राम जन्मभूमि आंदोलन के दौरान वह तत्कालीन गोरक्षपीठाधीश्वर महंत अवेद्यनाथ के संपर्क में आए। बाद में उन्हीं की प्रेरणा से 22 साल की उम्र में संन्यास लिया। महंत अवेद्यनाथ ने उन्हें अपना शिष्य बनाने के साथ ही धार्मिक और राजनीतिक उत्तराधिकार भी सौंप दिया। योगी आदित्यनाथ पहली बार सिर्फ 26 साल की उम्र में सांसद बने।

खुद अपना जन्मदिन नहीं मनाते योगी

संन्यास लेने के बाद उन्होंने कभी खुद अपना जन्मदिन नहीं मनाया। हालांकि उनके जुड़े लोग और लाखों समर्थक अपने-अपने ढंग से उनके जन्मदिन की खुशियां मनाते हैं और एक-दूसरे को शुभकामनाएं और बधाई देते हैं।

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