बोले बिजनौर : केंद्रीय विद्यालय का तोहफा तो मिला, निर्माण और पढ़ाई का सपना अधूरा
Bijnor News - बिजनौर में केंद्रीय विद्यालय की मांग कई वर्षों से चल रही है। सांसद चंदन चौहान के प्रयासों से स्वीकृति तो मिल गई, लेकिन इस साल भी कक्षाओं का प्रारंभ नहीं हो पाया है। प्रशासन ने अस्थाई कक्षाएं शुरू करने...
जनपद बिजनौर में केंद्रीय विद्यालय का सपना जनपदवासी लंबे समय से देख रहे हैं, ताकि उनके बच्चों को बेहतर पढ़ाई मिले। बिजनौर लोकसभा सीट से सांसद चंदन चौहान के विशेष प्रयासों तथा जनपद वासियों की मांग को देखते हुए केंद्रीय विद्यालय की स्वीकृत की घोषणा तो हो गई थी परंतु इस वर्ष भी कक्षा शुरू होती दिखाई नहीं दे रही हैं। ग्राम स्वाहेड़ी में मेडिकल कॉलेज के पास जगह चिन्हित कर ली गई परंतु भवन निर्माण अब तक शुरू नहीं हुआ। प्रशासन का प्रयास था कि इस वर्ष केंद्रीय विद्यालय की कक्षाएं अस्थाई तौर पर लेखपाल प्रशिक्षण केंद्र में शुरू कर दी जाएं, परंतु अब तक कक्षाओं का शुरू नहीं होना दर्शाता है कि इस वर्ष भी जनपद वासियों को केंद्रीय विद्यालय की सुविधाओं से महरूम रहना पड़ सकता है।
जनपद वासियों की मांग है कि जनपद के विकास के लिए जनप्रतिनिधियों, प्रशासन तथा अन्य सभी को मिलकर इस वर्ष ही केंद्रीय विद्यालय की कक्षाएं संचालित करानी चाहिए तथा जल्द से जल्द भवन निर्माण करा कर केंद्रीय विद्यालय का सपना पूरा करना चाहिए, ताकि जनपद के विद्यार्थियों को भी केंद्रीय विद्यालय के अनुशासित वातावरण में पढ़ाई कर अपने सपनों को पूरा करने का हक मिल सके। बिजनौर लोकसभा सांसद चंदन चौहान के अथक प्रयासों से जिले को केन्द्रीय विद्यालय का तोहफा मिल गया है। केन्द्रीय विद्यालय निर्माण के लिए गांव स्वाहेड़ी में करीब 60 बीघा भूमि चिन्हित कर ली गई है। गांव स्वाहेड़ी में केन्द्रीय विद्यालय का निर्माण होगा। जनपद में कई वर्षों से चली आ रही केंद्रीय विद्यालय की मांग आखिरकार पूरी तो हो गई, लेकिन इस शिक्षा सत्र में भी जिले के लोगों का अपने बच्चों को केन्द्रीय विद्यालय में पढ़ाने का सपना पूरा होता नजर नहीं आ रहा है। न तो केन्द्रीय विद्यालय का निर्माण ही शुरू हुआ और न ही अस्थाई रूप से केन्द्रीय विद्यालय की क्लास ही शुरू हुई। यह सेशन भी खाली जाता नजर आ रहा है जबकि जिले को केन्द्रीय विद्यालय का तोहफा मिलते ही जिले के लोगों को बच्चों को केन्द्रीय विद्यालय में पढ़ाने के सपने देखने शुरू कर दिए थे। बतादें कि केन्द्रीय विद्यालय की अस्थाई क्लास गांव स्वाहेड़ी में लेखपाल प्रशिक्षण केन्द्र में शुरू करने की बात हुई थी। जिला प्रशासन ने लेखपाल प्रशिक्षण केन्द्र में अस्थाई क्लास शुरू कराने के लिए काम भी शुरू करा दिया था, लेकिन अभी तक केन्द्रीय विद्यालय की अस्थाई क्लास शुरू नहीं हुई। जिले के लोगों का कहना है कि ऐसा प्रतीत होता है कि इस बार भी बच्चों को केन्द्रीय विद्यालय में नहीं पढ़ा पाएंगे। प्रभा शर्मा, गुलशन गुप्ता, दिपेन्द्र कुमार, सोमवती आदि का कहना है कि जिले में केन्द्रीय विद्यालय की अस्थाई क्लास शुरू होनी चाहिए थी और केन्द्रीय विद्यालय का निर्माण भी शुरू होना चाहिए था ताकि अभिभावकों का अपने बच्चों को अनुशासित वातावरण में पढ़ाई कराने का सपना पूरा हो सकता। रजनीश, राजकुमार, अमर हरि ने कहा कि जिले को केन्द्रीय विद्यालय तो मिल गया। केन्द्रीय विद्यालय का निर्माण जल्द शुरू होना चाहिए और निर्माण से पहले केन्द्रीय विद्यालय की अस्थाई क्लास शुरू होनी चाहिए। --------- 2003 में बिजनौर में केंद्रीय विद्यालय खुलने की जगी थी आस बिजनौर में केंद्रीय विद्यालय की मांग को लेकर जिले के लोग डीएम से लेकर जनप्रतिनिधियों के माध्यम से कई बार मांग कर चुके थे। बता दें कि पहले वर्ष 2003 में बिजनौर में केंद्रीय विद्यालय खुलने की आस जगी थी और जमीन भी ढूंढ ली गई थी, लेकिन जिले को केंद्रीय विद्यालय नहीं मिला। इस दौरान केन्द्रीय विद्यालय की टीम कई बार बिजनौर में आई और केन्द्रीय विद्यालय की अस्थाई क्लास चलाने की बात हुई, लेकिन क्लास नहीं चल सकी। टीम ने जिला मुख्यालय पर कई जगह बिल्डिंग देखी और मरम्मत कराने के भी निर्देश दिए। इस दौरान सांसद बदले और जिलेवासी केंद्रीय विद्यालय का सपना देखते रहे। वर्ष 2017 में फिर से केंद्रीय विद्यालय के लिए जमीन की तलाश शुरू हुई और आखिरकार केंद्रीय विद्यालय के लिए गांव स्वाहेड़ी में करीब 60 बीघा जमीन चिन्हित कर ली गई। इसके बाद दिल्ली से केंद्रीय टीम ने आकर जमीन देखी। केंद्रीय टीम ने सम्बंधित विभाग के अधिकारियों को दिशा निर्देश भी दिए। कक्षाएं चलाने के लिए राजकीय बेसिक कन्या विद्यालय किया गया था चिन्हित केंद्रीय विद्यालय की कक्षाएं चलाने के लिए जिला मुख्यालय पर राजकीय बेसिक कन्या विद्यालय चिन्हित किया गया था। केंद्रीय टीम ने स्कूल का निरीक्षण किया था और विभाग के अधिकारियों को स्कूल की मरम्मत कराने के निर्देश दिए थे ताकि केंद्रीय विद्यालय की कक्षाओं को चलाया जा सके। एक बार फिर लेखपाल प्रशिक्षण केन्द्र में कक्षाएं चलाने की बात हो रही है, लेकिन कक्षाएं कब चलेंगी किसी को नहीं पता? केंद्रीय विद्यालय में मिलती है गुणवत्तापरक शिक्षा केन्द्रीय विद्यालय में छात्रों को उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा मिलती है। बिजनौर में इस विद्यालय की स्थापना से यहां के छात्रों को राष्ट्रीय स्तर की शिक्षा और सुविधाएं प्राप्त होंगी। यह विद्यालय छात्रों के बौद्धिक, शारीरिक, और नैतिक विकास पर बल देता है, जिससे वे आत्मनिर्भर और सफल नागरिक बन सकें। केंद्रीय विद्यालय से न केवल शिक्षा के क्षेत्र में सुधार होगा, बल्कि यह स्थानीय समुदाय के समग्र विकास में भी सहायक सिद्ध होगा। नगर में शिक्षा का स्तर बढ़ेगा, और ग्रामीण क्षेत्रों से भी बच्चे गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए आकर्षित होंगे। केन्द्रीय विद्यालय में छात्रों को शिक्षा के साथ-साथ खेलकूद, सांस्कृतिक गतिविधियों और रचनात्मकता के क्षेत्रों में उत्कृष्टता प्राप्त करने के अवसर प्रदान करेगा। क्या बोले जिम्मेदार केंद्रीय विद्यालय का सत्र 2025-26 में प्रारंभ न होना बिजनौर वासियों के लिये अत्यंत पीड़ा दायक है। सांसद चंदन चौहान ने अथक प्रयासों द्वारा केंद्रीय विद्यालय को केंद्र सरकार से बिजनौरवासियो के लिये स्वीकृत कराया गया मगर यह विषय अभी तक धरा पर न आना बहुत निराशा जनक है। - अमर हरि गुप्ता एडवोकेट,संयोजक केंद्रीय विद्यालय संघर्ष समिति ,बिजनौर। हमारी भी बात सुनो मुख्यमंत्री और आला अधिकारियों से अनुरोध है कि सांसद चंदन चौहान के प्रयास से बिजनौर की जनता के कल्याण के लिए केंद्रीय विद्यालय के स्वीकृत होने के पश्चात केंद्रीय विद्यालय को धरातल पर लाकर लोक कल्याणार्थ स्थापित करें। - श्याम गुप्ता बिजनौर के लिए केंद्रीय विद्यालय शिक्षा को रोशन करती ज्योति के समान है। केंद्रीय विद्यालय में शिक्षण सत्र में देरी का कोई कारण नजर नहीं आता। जिला प्रशासन शीघ्र शिक्षण कार्य प्रारंभ कराये। जिससे बिजनौर के हजारों अभिभावकों की जेब कटने से बचे ओर उनके बच्चे अच्छी शिक्षा पा सके। - नृपेंद्र देशवाल। जनपद में लंबे समय से केंद्रीय विद्यालय की मांग चली आ रही थी। जिसे स्वीकार करते हुए केंद्रीय विद्यालय शासन द्वारा स्वीकृत कर दिया गया। अभिभावकों को बड़ी अपेक्षा थी कि इस बार केंद्रीय विद्यालय में उनके बच्चों को प्रवेश मिलेंगे लेकिन अभी तक निराशा ही मिली है। जल्द कक्षाएं चलनी चाहिए। - राकेश कुमार शर्मा बिजनौर में केंद्रीय विद्यालय का का स्वीकृत होना शिक्षा के क्षेत्र में एक नए युग की शुरुआत है । इसके लिए अभिभावकों और विद्यार्थियों को बहुत बहुत बधाई परन्तु शैक्षणिक सत्र की शुरुआत जितनी जल्दी हो उतना ही अच्छा होता। आशा है ये जल्द होगा और बिजनौर में शिक्षा के क्षेत्र में क्रांति का मार्ग प्रशस्त करेगा। -डा. चारुदत्त आर्य। केंद्रीय विद्यालय की कक्षाएं इसी सत्र में संचालित की जानी चाहिएं ताकि विद्यार्थियों को लाभ हो। अभिभावक अपने बच्चों को केन्द्रीय विद्यालय में पढ़ाने का सपना देख रहे हैं। - गुलशन गुप्ता केंद्रीय विद्यालय प्रारंभ होने से अच्छी शिक्षा सही फीस पर उपलब्ध होगी। विद्यार्थियों का भविष्य बनेगा। केन्द्रीय विद्यालय में कक्षाएं जल्द शुरू होनी चाहिए। -ललित कुमार शर्मा। लंबे समय से केंद्रीय विद्यालय की मांग की जा रही थी अब जल्द से जल्द निर्माण कार्य प्रारंभ होना चाहिए। निर्माण से पहले कक्षाएं शुरू की जानी चाहिए। -रजनीश कुमार। जिला प्रशासन को अस्थाई तौर पर भवन निर्माण होने तक इसी सत्र में कक्षाएं प्रारंभ कर देनी चाहिए ताकि छात्रों को लाभ मिलें। - सोमवती। अंग्रेजी माध्यम से सरकारी विद्यालय में शिक्षा लेना एक स्वागत योग्य कदम है। इससे प्राइवेट स्कूलों की महंगी शिक्षा से छुटकारा मिलेगा। इसी सत्र में कक्षाएं शुरू होनी चाहिए। - प्रभा शर्मा। केंद्रीय विद्यालय के बनने से गुणवत्तापूर्ण शिक्षा प्रशिक्षित शिक्षकों द्वारा दी जाएगी। जनपद के छात्रों को करियर बनाने में मदद मिलेगी। निर्माण कार्य जल्द शुरू होना चाहिए। - सविता। बिजनौर लोकसभा सांसद अन्य सभी जनप्रतिनिधियों तथा सरकार का जनपद को केंद्रीय विद्यालय देने के लिए आभार। अब बच्चों को केंद्रीय विद्यालय में पढ़ने का मौका मिलना भी चाहिए। - मिक्की। दशकों पुरानी मांग अब जाकर पूरी होती दिख रही है। केंद्रीय विद्यालय के होने से जनपद में शिक्षा को मजबूती मिलेगी। अब जल्द से जल्द केन्द्रीय विद्यालय में बच्चों को शिक्षा मिलनी भी चाहिए। - राजकुमार। केंद्रीय विद्यालय होने से सैन्य कर्मियों तथा केंद्र सरकार के कर्मचारी के बच्चों को सबसे बड़ा लाभ होगा। क्योंकि इनमें प्राथमिकता के आधार पर प्रवेश होंगे। बच्चों को इस विद्यालय में पढ़ाने का अभिभावकों का सपना पूरा होना चाहिए। - दीपेंद्र मोहन। स्थानांतरण पर आने वाले सरकारी कर्मचारियों तथा देश की रक्षा में जुटे सैनिकों के बच्चों को अब परेशान नहीं होना पड़ेगा। केंद्रीय विद्यालय की स्थापना एक स्वागत योग्य कदम है। जिले को केन्द्रीय विद्यालय तो मिल गया अब कक्षाएं भी शुरू हो जानी चाहिए। - शिखा छात्रों के हित में जल्द से जल्द इस पर निर्णय लेने की आवश्यकता है जिससे वर्तमान सत्र में केंद्रीय विद्यालय में प्रवेश के लिए प्रयत्नशील विद्यार्थी अपना भविष्य उज्जवल बना सकें। - डॉ. गोविन्द राम गुप्ता, पूर्व प्राचार्य वर्धमान डिग्री कालेज। सुझाव--- जल्द ही केन्द्रीय विद्यालय का निर्माण शुरू होना चाहिए। केन्द्रीय विद्यालय की अस्थाई क्लास चलनी चाहिए। दाखिलों की प्रक्रिया शुरू होनी चाहिए। केन्द्रीय विद्यालय की टीम आकर इस दिशा में कार्य करें। जिला प्रशासन केन्द्रीय विद्यालय की अस्थाई क्लास चलवाने में मदद करें। ----------- शिकायतें जिले को केन्द्रीय विद्यालय मिलने के बाद भी शुरू नहीं हुआ निर्माण। अभी तक केन्द्रीय विद्यालय की नहीं चली कक्षाएं। इस शिक्षा सत्र में भी शुरू नहीं हुई दाखिलों की प्रक्रिया। केन्द्रीय विद्यालय टीम ने आकर नहीं किया निरीक्षण। लेखपाल प्रशिक्षण केन्द्र में काम शुरू होने के बाद भी शुरू होती नहीं दिख रही कक्षाएं।
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