गाजी मियां की दरगाह पर नहीं लगा सालाना मेला, पीएसी तैनात
Gangapar News - सालाना मेले में होती है हजारों की भीड़, रोक के बाद लौटे दरगाह पहुंचने वाले
बहरिया विकास खंड के सिकंदरा में स्थित सैयद सलार मसऊद गाजी की दरगाह पर लगने वाला वार्षिक मेला इस बार नहीं लगा। प्रशासन ने सुरक्षा की दृष्टि से मेला और दुकान लगाने की अनुमति नहीं दी थी। दरगाह पर रविवार व बुधवार को हजारों की संख्या में श्रद्धालु आते हैं और जेष्ठ माह में लगने वाले सालाना मेले में प्रदेश के कई जिलों से श्रद्धालु आते हैं और रविवार भोर चार बजे से ही दर्शन करने वालों की कतार लग जाती है। यह सिलसिला रविवार शाम तक चलता रहता है। लेकिन इस वर्ष सालाना मेला का आयोजन नहीं हुआ। 23 मार्च को प्रशासन ने दरगाह में ताला बंद कर दिया था और दरगाह पर मेला और दुकान लगाने पर पूरी तरह से पाबंदी लगा दी गई थी।
इसी बीच रामनवमी के दिन कुछ लोगों ने दरगाह पर चढ़कर भगवा झंडा फहराया था जिससे क्षेत्र का माहौल और भी तनावपूर्ण हो गया था। तब से दरगाह पर मेला व दूकान लगाने पर रोक लगा दी गई थी। सुरक्षा के लिए पीएसी के जवान तैनात कर दिए गये थे। गुरुवार को एसडीएम फुलपुर दिग्विजय सिंह रविवार को लगने वाले सालाना मेले के लिए कमेटी से जुड़े लोगों और स्थानीय दुकानदारों को बुलाकर यह निर्देश दिया था कि सुरक्षा की दृष्टि को देखते हुए गाजी मियां के सालाना मेला पर पूरी तरीके से पाबंदी लगाई गई है और सालाना मेला नहीं लगेगा इसका अनुपालन न करनें वालों पर प्रशासन सख्त कार्रवाई की जाएगी। इसी निर्देश के बाद पूरे दरगाह को बहरिया प्रशासन ने छावनी में तब्दील कर दिया था। प्रयागराज की ओर से आने वाली सड़क पर बक्सेड़ा चौराहे के पास व फूलपुर की तरफ से आने वाले लोगों के लिए सिलोखरा चौराहे के पास और बहरिया की तरफ से आने वाले लोगों के लिए बीरगंज नहर के पास बैरिकेडिंग कर दी गई थी। मेला क्षेत्र में किसी तरीके से कोई वाहन को जाने से रोका गया था और मेला क्षेत्र में गंगापार के सभी थानों के फोर्स को जगह-जगह मुस्तादी से तैनात कर दिया गया था। गाजी मियां के इस मेले में लाखों की संख्या में लोग दर्शन करने आते थे लेकिन प्रशासन की सख्ती के बाद श्रद्धालुओं की संख्या बहुत कम हो गयी थी। इक्का दुक्का लोक गांव गलियों से घुस कर पहुंचे और दरगाह के बाहर से ही अपना माला फूल चढ़कर चले गये। प्रयागराज से बारात ले जाने की परंपरा पर भी रोक सिकंदरा स्थित गाजी मियां की दरगाह पर सालाना मेले से ही रविवार को शाम को सैकड़ों की संख्या में लोग बारात लेकर पैदल ही बहराइच के लिए निकलते हैं और पिछले रविवार तक वह पैदल बहराइच पहुंचते हैं लेकिन मेला ना लगने के बाद बारात जाने की परंपरा भी इस बार नहीं हो पायी। सालाना मेले पर रोक के कारण गली मोहल्ले से कुछ लोग पुलिस को धता बता कर दरगाह तक तो पहुंच गए लेकिन वहां लगी फोर्स की वजह से दरगाह पर वह दर्शन नहीं कर पाए बल्कि बाहर से ही माला फूल व चढ़ावे को दरगाह के कैंपस में फेंक कर चले गए। पांच किलोमीटर पैदल चलकर पहुंचे लोग गाजी मियां के सालाना मेले के लिए प्रशासन में जिस तरीके से चारों तरफ बैरिकेडिंग लगाकर श्रद्धालुओं को आने पर रोक लगाई थी लेकिन इन सभी रोक के बावजूद श्रद्धालुओं की आस्था भारी पड़ गई और बहुत से श्रद्धालु अपनी बाइक को पांच पांच किलोमीटर दूर बाइक व चार पहिया वाहन खड़ा करके दरगाह पर दर्शन के लिए पहुंचे थे। सालाना मेले पर रोक क्षेत्र में रहा चर्चा का विषय सिकंदरा स्थित गाजी मियां दरगाह पर का सालाना मेला सैकड़ों वर्षों से चला आ रहा है लेकिन कभी भी ऐसी स्थिति नहीं आयी कि सालाना मेले पर किसी तरीके से रोक लगाई गई हो। इस दरगाह पर लगने वाले सालाना मेले पर रोक पहली बार लगाई गई है। इसके लिए क्षेत्र को लोगों में बड़ी ही चर्चा रही की जिस जगह सालाना मेले में लाखों लोगों की भीड़ लगती थी तरह-तरह की दुकान व सर्कस व झूले लगते थे आज वहां पूरे क्षेत्र में सन्नाटा पसरा है।
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