683 विद्यालयों का रोका गया वेतन बहाल करने सौंपा यूटा ने ज्ञापन
Jhansi News - झांसी में, बीएसए ने 683 विद्यालयों के 600 से अधिक शिक्षकों का वेतन रोक दिया है। यह कार्रवाई 80 फीसदी से कम छात्र उपस्थिति के कारण की गई है। यूटा ने बीएसए से मांग की है कि शिक्षकों का वेतन तुरंत बहाल...

झांसी, संवाददाता जनपद भर के छह सौ से अधिक विद्यालय स्टाफ का वेतन बीएसए ने रोक दिया है। जिससे शिक्षकों को परेशानी हो रही है। बीएसए ने चेतावनी के बाद शिक्षकों का वेतन रोका था। जिसमें कहा था कि यदि 80 फीसदी से कम उपस्थिति होती है तो वेतन रुकेगा। ऐसे छह सौ से अधिक विद्यालय रहे। यूटा ने कहा कि रोके गए शिक्षकों का वेतन बहाल किया जाए। यूनाइटेड टीचर्स एसोसिएशन यूटा के जिलाध्यक्ष अंकित बाबू राय के नेतृत्व में बीएसए विपुल शिव सागर को ज्ञापन सोपा। इसमें कहा गया कि 75 फीसदी से कम छात्र उपस्थिति वाले 683 विद्यालयों के समस्त स्टाफ प्रधानाध्यापक, सहायक अध्यापक, अनुदेशक एवं शिक्षामित्र का अप्रैल माह का वेतन/ मानदेय अवरुद्ध कर दिया।
साथ ही विद्यालय में अध्ययनरत बच्चों की उपस्थिति किसी भी दशा में 80 फीसदी से कम न हो,ऐसी चेतावनी भी दी गई। कहा कि कुछ खेतों में कटाई चल रही है,जिससे बच्चे खेतों में जा रहे। वहीं अत्यधिक गर्मी/ लू पड़ रही है,जिससे छात्र उपस्थिति प्रभावित हुई। यूटा ने कहा कि छात्र स्थिति के लिए पूर्ण रूप से शिक्षकों को जिम्मेदार ठहराया जाना ठीक नहीं है। इसके लिए कहीं न कहीं समय देशकाल स्थिति एवं अभिभावक भी जिम्मेदार हैं। बताया कि अधिकतर बच्चे अपने माता-पिता जो मजदूरी करने बाहर जाते हैं, उनके साथ भी चले जाते हैं, किंतु फिर भी शिक्षकों/ शिक्षिकाओं द्वारा उपस्थिति बढ़ाने हेतु घर-घर जाकर से संपर्क कर रहे। वित्त एवं लेखा अधिकारी बेसिक शिक्षा झांसी द्वारा एक पत्र जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी को पत्र लिखा। जिसमें कहा कि यदि वेतन/ मानदेय बहाल नहीं होता है तो शिक्षक आंदोलन के लिए बाध्य होंगे। ज्ञापन में जिलामंत्री प्रशांतदीप वाजपेई, अनिल कुशवाहा, रोहित सोनी,रूपेन्द्र अग्रवाल,आनंद कुशवाहा, गौरव तिवारी, दिनेश धूसिया, प्रभारी शैलेंद्र साहू, आसिफ खान,मदन मोहन, सीताराम ,राजेंद्र पाल, आदि मौजूद रहे।
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